तोशाखाना मामले में अदालत ने इमरान ख़ान और उनकी पत्नी बुशरा बीबी को 10 साल तक किसी भी सार्वजनिक पद पर रहने से भी रोक दिया गया है और प्रत्येक पर लगभग 23 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है. बीते 30 जनवरी को इमरान और उनकी पार्टी के उपाध्यक्ष शाह महमूद क़ुरेशी को साइफ़र मामले में 10-10 साल की सज़ा सुनाई गई थी.
भ्रष्ट आचरण का दोषी पाए जाने के बाद जेल में बंद पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान ख़ान ने ब्रिटिश अख़बार के लिए एक लेख लिखा है. इसमें उन्होंने पाकिस्तान की सेना और सुरक्षा एजेंसियों सहित सत्ता प्रतिष्ठान पर अमेरिका के दबाव में उनकी सरकार को हटाने की साज़िश रचने का आरोप लगाने के साथ चुनाव आयोग की भी कड़ी आलोचना की है.