पहलू ख़ान लिंचिंग: बेटों की अपील पर राजस्थान हाईकोर्ट ने बरी हो चुके छह आरोपियों को समन भेजा

एक अप्रैल, 2017 को पहलू ख़ान, उनके दो बेटे और दो अन्य लोग जयपुर में लगे पशु मेले से लौट रहे थे, तब अलवर के बहरोड़ में कथित गोरक्षकों ने उन्हें रोका और बुरी तरह से पिटाई की. हमले में बुरी तरह से घायल पहलू ख़ान की मौत हो गई थी. अगस्त 2019 में अलवर की निचली अदालत ने मामले के छह आरोपियों को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया था.

पहलू ख़ान लिंचिंग: दोनों दोषी किशोरों को तीन साल के लिए सुधार गृह भेजा गया

पहलू खान मॉब लिंचिंग मामले से जुड़े अधिकारियों ने कहा कि जब अपराध हुआ उस समय दोनों दोषी नाबालिग थे. अब वे 18-21 वर्ष आयु वर्ग के हैं इसलिए उन्हें किशोर सुधार गृह भेजने की सजा सुनाई गई है.

पहलू खान लिंचिंग: किशोर न्याय बोर्ड ने दो नाबालिगों को दोषी करार दिया

साल 2017 में पहलू खान की भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या करने के मामले में यह पहली दोषसिद्धी है. पिछले साल अगस्त में अलवर की निचली अदालत ने मामले के छह अन्य आरोपियों को बरी कर दिया था.

पहलू ख़ान के ख़िलाफ़ गो-तस्करी में दर्ज केस राजस्थान हाईकोर्ट ने ख़ारिज किया

राजस्थान के अलवर में अप्रैल 2017 में कथित गोरक्षकों की भीड़ ने मवेशी ले जा रहे पहलू ख़ान, उनके दो बेटों और ट्रक चालक पर हमला कर दिया था. इस हमले के दो दिन बाद पहलू ख़ान की अस्पताल में मौत हो गई थी.

अलवर लिंचिंगः राजस्थान सरकार ने निचली अदालत के फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील दायर की

साल 2017 में गो-तस्करी के आरोप में 55 वर्षीय पहलू खान को राजस्थान के अलवर में भीड़ ने पीट-पीटकर मार दिया था. इस साल अगस्त महीने में निचली अदालत ने मामले में सभी छह आरोपियों को बरी कर दिया.

पहलू खान मामले की जांच करेगी एसआईटी, 15 दिन में रिपोर्ट सौंपने का आदेश

राजस्थान सरकार ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मामले की जांच में हुई खामियों और अदालत के निर्णय की समीक्षा के लिए बुलाई गई एक उच्चस्तरीय बैठक में यह फैसला लिया.

पहलू खान लिंचिंग: अदालत ने कहा, पुलिस ने वीडियो और तस्वीरों को पेश नहीं किया

राजस्थान की अदालत ने अपने फैसले में मामले की एफआईआर दर्ज करने में हुई देरी पर पुलिस को फटकार लगाई और कहा कि यह जांच अधिकारी की ओर से बरती गई गंभीर लापरवाही दिखाता है. इससे पहले बुधवार को अदालत ने मामले में छह आरोपियों को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया था.

पहलू खान लिंचिंग मामले में सभी छह आरोपी बरी

साल 2017 में गो-तस्करी के आरोप में 55 वर्षीय पहलू ख़ान को राजस्थान के अलवर में भीड़ ने पीट-पीटकर मार दिया था. मामले में पुलिस ने पहलू ख़ान द्वारा शिनाख्त किए गए सभी छह आरोपियों को क्लीनचिट दे दी थी.

पीट-पीटकर मार दिए गए पहलू ख़ान के बेटों के ख़िलाफ़ जांच के लिए पुलिस को मंज़ूरी

राजस्थान की अलवर पुलिस ने गोवंश की ढुलाई के मामले में पहलू ख़ान के दो बेटों- इरशाद और आरिफ़ तथा ट्रक ऑपरेटर ख़ान मोहम्मद के ख़िलाफ़ आगे जांच के लिए अदालत में प्रार्थना पत्र दिया था.

पीट-पीट कर मार दिए गए पहलू ख़ान के बेटे और दूसरे गवाहों पर कोर्ट जाने के दौरान फायरिंग

अलवर ज़िले के बहरोड़ स्थित अदालत में सुनवाई के लिए जा रहे थे गवाह. अलवर में राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या आठ पर हुआ हमला. पुलिस ने अज्ञात लोगों के ख़िलाफ़ केस दर्ज किया.

भाजपा सांसद बोले, गोरक्षा के नाम पर धंधा कर रहे हैं लोग

राजस्थान में सीकर से भाजपा सांसद सुमेधानंद सरस्वती के मुताबिक फ़र्ज़ी गोरक्षकों की वजह से वाकई में गोसेवा में लगे लोग और संत समाज बदनाम हो रहा है. उन्होंने ऐसे लोगों के ख़िलाफ़ सख़्त कार्रवाई की मांग की है.

मेवात के मुसलमानों का गायों से नाता हिंदुत्व की राजनीति में फिट नहीं बैठता

मेव समुदाय धार्मिक रूप से मुसलमान है लेकिन सांस्कृतिक रूप से हिंदू परंपराओं के क़रीब है. इनका गायों से एक सांस्कृतिक नाता है. कई ऐसे परिवार हैं, जिनके पास 500 से हज़ार गाएं हैं. यहां तक कि बेटियों की शादी में भी गाय देने की रीत है.

अकबर के गांव से ग्राउंड रिपोर्ट: यकीन की टूटती सांस और इंसाफ की आस

अकबर ख़ान अपने घर के अकेले कमाने वाले थे, अब उनके 60 साल के पिता पर बीमार बहू, बुज़ुर्ग पत्नी, 7 पोते-पोतियों और 5 गायों की ज़िम्मेदारी है. बेटे की मौत ने उन्हें इतना डरा दिया है कि वे किसी पर विश्वास नहीं कर पा रहे हैं. हर मिलने आने वाले से बस यही पूछ रहे हैं कि कहीं कोई जगह है जहां इंसाफ की फरियाद की जा सके.

अलवर लिंचिंग: भाजपा विधायक की मांग, ‘निर्दोष’ गोरक्षकों को रिहा किया जाए

रामगढ़ से भाजपा विधायक ज्ञानदेव आहूजा का कहना है कि जब पुलिस ने अकबर ख़ान की मौत पुलिस हिरासत में होना स्वीकार कर लिया है, तो आरोपी गोरक्षकों को तुरंत रिहा किया जाना चाहिए.

कोलगांव से ग्राउंड रिपोर्ट: ‘मीट ही बेचना होता तो अकबर 60 हज़ार की गाय नहीं ख़रीदता’

अकबर का नाम ‘रकबर’ नहीं, अकबर ही है. जब वह अपना आधार बनवाने गए थे, तो बनाने वाला मेवाती उच्चारण नहीं समझ पाया और उनका नाम ‘रकबर’ लिख दिया. चचेरे भाई ने बताया कि उसे आधार में नाम सुधरवाने का कभी ख्याल ही नहीं आया. सात बच्चों का पेट पालने वाले आदमी ने सिस्टम का दिया नाम स्वीकार लिया.