त्रिपुरा पुलिस विभाग ने 27 दिसंबर को कुल 2,200 में से 1,443 चयनित उम्मीदवारों की मेरिट सूची प्रकाशित की थी. इस घोषणा के बाद नौकरी न पाने वाले उम्मीदवारों ने भाजपा नेताओं पर वादाख़िलाफ़ी और रिश्वत लेकर नौकरी न देने का आरोप लगाते हुए कई स्थानों पर पार्टी कार्यालयों पर हमला किया.