आरएसएस के मुख्य प्रवक्ता सुनील आंबेकर ने कहा है कि सभी कल्याणकारी गतिविधियों के लिए अगर सरकार को संख्या की ज़रूरत है, तो जाति जनगणना की जा सकती है लेकिन इसका इस्तेमाल चुनाव प्रचार में राजनीतिक औजार के रूप में नहीं किया जाना चाहिए.
पुरी के पूर्वाम्नाय गोवर्धन पीठ के 145वें जगद्गुरु शंकराचार्य निश्चलानंद सरस्वती ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा प्राण-प्रतिष्ठा पर नाराज़गी जताते हुए कहा कि ‘जब मोदी जी लोकार्पण करेंगे, मूर्ति का स्पर्श करेंगे, फिर मैं वहां क्या ताली बजाऊंगा... अगर प्रधानमंत्री ही सब कुछ कर रहे हैं तो अयोध्या में 'धर्माचार्य' के लिए क्या रह गया है.’
वीडियो: फ़ोर्स मैगज़ीन के संपादक प्रवीण साहनी बता रहे हैं कि किस तरह से भारतीय सेना का राजनीतिकरण हो गया है. किस प्रकार से सेना को राजनीतिक फायदे के लिए सत्ता द्वारा इस्तेमाल किया जा रहा है.