बीते 16 जुलाई को बेंगलुरु के एक मॉल में धोती पहने किसान को प्रवेश से रोक दिया गया था. अब बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका ने दिशानिर्देश तय किए हैं कि कोई मॉल, वाणिज्यिक परिसर आदि पारंपरिक पहनावे, भाषा, जाति, धर्म के आधार पर भेदभाव नहीं करेगा अन्यथा उसके ख़िलाफ़ कार्रवाई होगी.
नोएडा में अफ्रीकी छात्रों पर हमले की रिपोर्टिंग के दौरान जब हम एक छात्र जेसन से मिले तो उन्होंने बताया कि पड़ोस की महिला बच्चों को डराने के लिए उनका नाम लेती हैं. वो हैरान थे कि वह किसी को डराने की चीज़ कैसे हो सकते हैं. मतलब मां-बाप ट्रेनिंग दे रहे होते हैं कि वो काला है, वो तुम्हें नुकसान पहुंचाएगा.