आरोप है कि सुरक्षा बलों ने इन नाबालिगों को जम्मू कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा समाप्त करने संबंधी अनुच्छेद 370 के ज़्यादातर प्रावधानों को निरस्त करने के फैसले के बाद हिरासत में लिया था.
जम्मू कश्मीर हाईकोर्ट की जुवेनाइल जस्टिस समिति ने सुप्रीम कोर्ट में सौंपी अपनी रिपोर्ट में यह जानकारी दी है. रिपोर्ट में पुलिस ने किसी भी बच्चे को गैरकानूनी तौर पर हिरासत में लेने के आरोपों से इनकार किया है.
सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा ख़त्म करने बाद से कथित तौर पर ग़ैरक़ानूनी तरीके से नाबालिगों को हिरासत में रखे जाने को लेकर एक सप्ताह के भीतर जवाब देने को कहा है.