उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर ज़िले में 2002 में हुए एक कथित एनकाउंटर मामले में एक दशक से अधिक समय तक सिर्फ़ एक पुलिसकर्मी की गिरफ़्तारी के बाद कोई और गिरफ़्तारी नहीं हुई थी. इतना ही नहीं एक फ़रार आरोपी पुलिसकर्मी इस दौरान सेवानिवृत्त भी हो गया, लेकिन उसे सेवानिवृत्ति का बकाया और अन्य लाभ बेरोक-टोक मिल रहे थे. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दो दशकों से न्याय से इनकार किया गया है.