‘एनजीओ को निशाना बनाने के लिए एफसीआरए लाया गया, तो पीएम केयर्स को लेकर पारदर्शिता क्यों नहीं’

कई ग़ैर सरकारी संगठनों और कार्यकर्ताओं का मानना है कि नए एफसीआरए संशोधनों के कारण उनके काम में बाधा आएगी और कई लोगों को अपनी नौकरी से हाथ धोना पड़ सकता है. इस विधेयक के प्रावधानों से छोटे एनजीओ के सामने अस्तित्व का संकट खड़ा हो जाएगा.

धर्म के आधार पर नागरिकता क़ानून बनाना जायज़ नहीं

वीडियो: पिछले कुछ समय से विपक्ष की आवाज़ को संसद और संसद से बाहर दबाने की कोशिश हो रही है. नागरिकता संशोधन क़ानून विरोधी प्रदर्शनों में भाग लेने वालों को जेल में डाला जा रहा है. उन्हें दिल्ली दंगों में फंसाया जा रहा है. इन मुद्दों पर पूर्व उप राष्ट्रपति मोहम्मद हामिद अंसारी से द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.

मोदी के इनकार के बावजूद क्यों डिटेंशन सेंटर बना रही है यूपी सरकार?

वीडियो: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिसंबर 2019 में कहा था कि कोई डिटेंशन सेंटर नहीं है. इसके बावजूद ग़ाज़ियाबाद के नंदग्राम में कथित तौर पर डिटेंशन सेंटर बनाया जा रहा था. बसपा प्रमुख मायावती के मुख्यमंत्रित्व काल में बने एक छात्रावास को डिटेंशन सेंटर बनाए जाने पर उन्होंने ट्वीट कर इसे दोबारा छात्रावास बनाने की मांग की. द वायर के शेखर तिवारी की यहां के छात्रों से बातचीत.

कैसे हो रही है जोधपुर की ऐतिहासिक बावड़ियों की हिफ़ाज़त

वीडियो: राजस्थान का जोधपुर शहर अपने प्राचीन कदम-कुओं के लिए जाना जाता है. इन कुओं की बिगड़ती दशा को देखते हुए कैरन रॉन्स्ले ने इनकी हिफ़ाज़त करने का फ़ैसला लिया.

एफसीआरए में संशोधन कैसे नौकरियों और एनजीओ को प्रभावित करेगा

वीडियो: बीते 20 सितंबर को विपक्ष ने लोकसभा में पेश किए गए एफसीआरए यानी विदेशी अंशदान (विनियमन) संशोधन विधेयक का विरोध यह कहते हुए किया कि सरकार इसके जरिये ‘आलोचकों पर निशाना’ साधना चाह रही है. इस क़ानून और इसके प्रभावों के बारे में बता रहे हैं द वायर के डिप्टी एडिटर गौरव विवेक भटनागर.

डिजिटल मीडिया से मोदी सरकार को क्यों डर लगता है?

वीडियो: सुदर्शन टीवी के विवादित कार्यक्रम को लेकर सुप्रीम कोर्ट में चल रही सुनवाई में मीडिया नियमन के प्रस्ताव पर केंद्र ने कहा है कि प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया की जगह ऐसा पहले डिजिटल मीडिया के लिए किया जाना चाहिए. इस मुद्दे पर द वायर के संस्थापक संपादक सिद्धार्थ वरदराजन से आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.

मीडिया बोल: बॉलीवुड की जगह नए ‘चलचित्रपुरम्’ की तैयारी!

वीडियो: सुशांत सिंह राजपूत की आत्महत्या-हत्या के लंबे चले विवाद के बाद अब सत्ताधारियों और टीवी चैनलों के निशाने पर सीधे बॉलीवुड है. इसी विषय पर फिल्म समीक्षक अजय ब्रह्मात्मज और टीवी पत्रकार डॉ. मुकेश कुमार से वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश की बातचीत.

सीमावर्ती क्षेत्रों में सैनिकों की संख्या और न बढ़ाने पर सहमत हुए भारत और चीन

सीनियर कमांडर स्तर की छठे दौर की बातचीत के एक दिन बाद भारत और चीन ने एक संयुक्त बयान जारी कर कहा कि वे सीमा पर सैनिकों की और अधिक संख्या न बढ़ाने और ज़मीन पर स्थिति में एकतरफ़ा बदलाव करने से बचने पर सहमत हुए हैं.

संसद से सड़क तक विपक्ष की आवाज़ दबा रही है मोदी सरकार?

वीडियो: राज्यसभा में पारित विवादित कृषि विधेयकों के विरोध में हंगामा करने वाले विपक्ष के आठ सांसदों के निलंबन के मुद्दे पर आप सांसद संजय सिंह और राजद सांसद मनोज कुमार झा से द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.

इब्राहिम अलकाज़ी, रंगमंच और अभिनय की बात, राजेंद्र गुप्ता के साथ

वीडियो: कुछ ही समय पहले भारतीय रंगमंच ने अपने शिखर व्यक्तित्वों में से एक इब्राहिम अलकाज़ी को खो दिया. वह रंगमंच की दुनिया में कलाकारों की एक ऐसी पीढ़ी तैयार कर गए हैं, जिन्हें अपने-आप में अभिनय का स्कूल कहा जाता है. रंगमंच, टेलीविज़न और फिल्मों में अपनी छाप छोड़ने वाले राजेंद्र गुप्ता से द वायर की दामिनी यादव की बातचीत.

पहले इनकार करने के बाद अब सरकार ने माना, श्रमिक ट्रेनों में 97 लोगों की मौत हुई

बीते 14 सितंबर को शुरू हुई संसद की कार्यवाही के दौरान लोकसभा में कुल 10 सांसदों ने प्रवासी श्रमिकों की मौत से जुड़े सवाल पूछे थे, लेकिन सरकार ने ये जानकारी सार्वजनिक करने से इनकार कर दिया. श्रम एवं रोज़गार मंत्रालय में राज्य मंत्री संतोष गंगवार ने कहा था कि​ ऐसा कोई आंकड़ा नहीं रखा जाता है.

कोविड-19 और लॉकडाउन के दौरान एक करोड़ से अधिक प्रवासी कामगार अपने राज्य लौटे: सरकार

लोकसभा में सरकार की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, कोरोना वायरस महामारी के चलते लागू लॉकडाउन के चलते सबसे ज़्यादा प्रवासी मज़दूर उत्तर प्रदेश, उसके बाद बिहार फिर पश्चिम बंगाल लौटे हैं.

लॉकडाउन: श्रमिकों की मौत का आंकड़ा सरकार ने इकट्ठा किया, फ़िर भी संसद को बताने से इनकार

वीडियो: द वायर द्वारा भारतीय रेल के 18 ज़ोन में दायर आरटीआई आवेदनों के तहत पता चला है कि श्रमिक ट्रेनों से यात्रा करने वाले कम से कम 80 प्रवासी श्रमिकों की मौत हुई है. केंद्र सरकार के रिकॉर्ड में ये जानकारी उपलब्ध होने के बावजूद उसने संसद में इसे सार्वजनिक करने से मना कर दिया.

लाखों बेरोज़गार युवाओं ने क्यों कहा, हैप्पी बर्थडे मोदी जी!

वीडियो: 17 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 70वें जन्मदिन के अवसर पर ट्विटर पर दिनभर कई ऐसे हैशटैग ट्रेंड करते रहे, जिनके माध्यम से लोगों ने देश में बढ़ती बेरोज़गारी और गहरे आर्थिक संकट की तरफ इशारा करते हुए प्रधानमंत्री से जवाब मांगा. इस पर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी का नज़रिया.

उमर ख़ालिद की गिरफ़्तारी से दिल्ली पुलिस की जांच पर उठते सवाल

वीडियो: इस साल फरवरी में उत्तर-पूर्वी दिल्ली में हुए दंगे में कथित भूमिका के आरोप में पुलिस ने जेएनयू के पूर्व छात्र नेता उमर ख़ालिद को ग़ैरक़ानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम के तहत गिरफ़्तार किया है. उन पर देशद्रोह और भारतीय दंड संहिता की 18 अन्य धाराओं के साथ हत्या और हत्या के प्रयास सहित कई आरोप लगाए गए हैं.

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