उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक ओम प्रकाश सिंह समेत तमाम आला अधिकारियों ने दावा किया था कि किसी भी प्रदर्शनकारी की मौत पुलिस की गोली से नहीं हुई है. नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ चल रहे विरोध प्रदर्शन में देशभर में अब तक 25 लोगों की मौत हो चुकी है, इनमें से 18 लोग उत्तर प्रदेश के थे.
एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया का यह बयान उत्तर प्रदेश और कर्नाटक में संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों की रिपोर्टिंग कर रहे कई पत्रकारों को हिरासत में लेने के बाद आया है.
विवादित नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ चल रहे विरोध प्रदर्शन में अब तक देशभर में 25 लोगों की मौत हो चुकी है. 18 लोगों की मौत अकेले उत्तर प्रदेश में हुई है जिसमें एक आठ साल का बच्चा शामिल है. वहीं, असम में पांच लोगों की मौत हुई है जबकि मेंगलुरु में दो लोगों की मौत हुई है.
उत्तर प्रदेश में बीते चार दिनों में संशोधित नागरिकता क़ानून के विरोध में हुए प्रदर्शनों में अब तक कुल 16 लोगों की मौत हुई हैं. आठ जिलों के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने इसकी पुष्टि की है.
जिस वक्त रिपोर्टिंग की ज़रूरत है, जाकर देखने की ज़रूरत है कि फील्ड में पुलिस किस तरह की हिंसा कर रही है, पुलिस की बातों में कितनी सत्यता है, उस वक्त मीडिया अपने स्टूडियो में बंद है. वह सिर्फ पुलिस की बातों को चला रहा है, उसे सत्य मान ले रहा है.
उत्तर प्रदेश के उन्नाव ज़िले में पुलिस कार्यालय के सामने 16 दिसंबर को युवती ने ख़ुद को आग लगा ली थी. पीड़िता ने दो अक्टूबर को अवधेश नाम के शख्स पर बलात्कार का आरोप लगाकर उसके खिलाफ मामला दर्ज कराया था. इस मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट से उसे ज़मानत मिल गई थी.
उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों में नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में हुए हिंसक प्रदर्शनों में अब तक 288 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं.
शुक्रवार को नागरिकता संशोधन क़ानून के विरोध में हुए प्रदर्शनों में उत्तर प्रदेश के विभिन्न शहरों में कम से कम 15 लोगों की मौत हो गई थी. मेरठ में पांच लोगों की मौत हुई, कानपुर, बिजनौर और फ़िरोज़ाबाद में दो-दो लोगों की मौत और मुज़फ़्फ़रनगर, संभल और वाराणसी में एक-एक व्यक्ति की मौत हुई थी.
अंग्रेज़ी अख़बार ‘द हिंदू’ के पत्रकार उमर राशिद को लखनऊ में भाजपा दफ्तर के पास एक रेस्तरां से बीते शुक्रवार को पुलिस ने हिरासत में लिया था. पत्रकार के अनुसार, पुलिस ने उन पर नागरिकता क़ानून के विरोध में लखनऊ में हुई हिंसा की साजिश रचने का आरोप लगाया और उन पर सांप्रदायिक टिप्पणी भी की थी.
अदालत के आदेश के बाद हिरासत में लिए गए आठ नाबालिगों को शनिवार सुबह रिहा किया गया. दरियागंज में शुक्रवार को नागरिकता संशोधन क़ानून के ख़िलाफ़ हुए हिंसक प्रदर्शन के संबंध में भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर समेत अब तक 16 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. जामिया मिलिया इस्लामिया के बाहर हुआ प्रदर्शन.
नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में बीते शुक्रवार को उत्तर प्रदेश के गोरखपुर, बहराइच, फ़िरोज़ाबाद, कानपुर, भदोही, बहराइच, बुलंदशहर, मेरठ, फ़र्रूखाबाद, संभल आदि शहरों में बड़े पैमाने पर हिंसा हुई थी.
उत्तर प्रदेश के गोरखपुर, फ़िरोज़ाबाद, कानपुर, भदोही, बहराइच, बुलंदशहर, फर्रूखाबाद, बुलंदशहर, बिजनौर, संभल के अलावा कई अन्य ज़िलों में नागरिकता संशोधन विधेयक के विरोध में हिंसक प्रदर्शन हुए. कई बड़े शहरों में 45 घंटे के लिए इंटरनेट सेवा ठप. इंटरनेट बंद होने से टीईटी की परीक्षा रद्द.
नई दिल्ली के जामिया मिलिया इस्लामिया के बाहर नागरिकता संशोधन क़ानून के ख़िलाफ़ पांचवें दिन भी प्रदर्शन जारी. हिंसा के बाद उत्तरी-पूर्वी दिल्ली के सीलमपुर में फिर हुआ प्रदर्शन. उत्तर-पूर्वी दिल्ली के 12 थाना क्षेत्रों में धारा 144 लागू.
फैसला सुनाते हुए नई दिल्ली की तीस हज़ारी कोर्ट ने विधायक कुलदीप सेंगर पर 25 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है, जिसे सहायता राशि के तौर पर पीड़िता को दिया जाएगा.
कोर्ट ने कहा, क्या कोई लेखक या कलाकार शांतिपूर्ण विरोध नहीं कर सकता है, यदि वह सरकार के किसी निर्णय से असहमत है.