समाजवादी पार्टी भी किसानों के आंदोलन में कूद पड़ी है. सपा ने ऐलान किया है कि 25 अक्टूबर तक किसानों की मांग नहीं मानी गई तो 28 अक्टूबर को जिला मुख्यालय पर धरना दिया जाएगा.
बीते सप्ताह सांप्रदायिक संघर्ष झेल चुके बहराइच में जिन 23 घरों पर अवैध निर्माण संबंधी नोटिस चिपकाए गए हैं, उनमें अब्दुल हमीद का घर भी शामिल है, जो हालिया हिंसा भड़काने के आरोपियों में से एक है. उक्त तेईस घरों में से 19 मुसलमानों तथा 4 हिंदुओं के हैं.
उत्तर प्रदेश सरकार ने एक बयान में कहा है कि जब पुलिस सुराग के आधार पर हत्या में इस्तेमाल हथियारों की बरामदगी के लिए गई तो बहराइच हिंसा के आरोपी मोहम्मद सरफराज़ और मोहम्मद तालिब ने गोलियां चलाना शुरू कर दीं. जवाबी कार्रवाई में दोनों घायल हो गए.
नीति आयोग के अनुसार, बहराइच उत्तर प्रदेश का सबसे गरीब ज़िला है, जिसमें कुल आबादी के 55 फीसदी लोग गरीबी में जीवन बसर करते हैं. लेकिन हाल के दशकों में निरंतर ताकतवर होते गए हिंदुत्ववादियों को यह त्रासद या अपमानजनक नहीं लगता.
उत्तर प्रदेश के बिजनौर से एक किशोरी के साथ भागे 16 वर्षीय किशोर की पुलिस हिरासत में मौत हो गई. एक पुलिस अधिकारी के मुताबिक, मामले में स्थानीय एसएचओ सहित चार पुलिसकर्मियों को लापरवाही के लिए निलंबित कर दिया गया है क्योंकि उपनिरीक्षक ने किशोर को बिजनौर लाने के बजाय अपने घर पर अवैध रूप से हिरासत में रखा था, जहां उसकी मौत हो गई.
आंबेडकर नगर ज़िले के कटेहरी विधानसभा क्षेत्र में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ख़ुद उपचुनाव की कमान संभाल रखी है, जिससे उत्साहित उनके समर्थक दावा कर रहे हैं कि इस बार सपा-बसपा आपस में लड़ती रह जाएंगी और वे ‘क से कटेहरी, क से कमल’ कर दिखाएंगे.
बीते 13 अक्टूबर को बहराइच के महाराजगंज इलाके में हुई सांप्रदायिक हिंसा में गोपाल मिश्रा नामक एक हिंदू युवक की गोली लगने से मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए. सोमवार को गुस्साई और उग्र भीड़ ने मिश्रा की मौत का विरोध किया और दुकानों, वाहनों, एक निजी अस्पताल और अन्य संपत्तियों को आग लगा दी. इस बीच, भाजपा विधायक ने सोशल मीडिया पर मुस्लिम पत्रकारों की एक सूची साझा करते हुए एक और सांप्रदायिक आग भड़का दी.
एक आरटीआई के जवाब में राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग ने जानकारी दी है कि साल 2020-21 में उन्हें 11,917 शिकायतें मिलीं, जिनमें अधिकतर मामले जातिगत अत्याचार से संबंधित थे. यह भी बताया गया है कि आयोग को सबसे ज़्यादा शिकायतें उत्तर प्रदेश से मिली हैं.
आरोप है कि लखनऊ के विकास नगर में हिरासत में लिए गए व्यक्ति अमन गौतम की पुलिस द्वारा गंभीर पिटाई की गई थी, जिसके चलते उनकी मौत हुई. पुलिस ने इससे इनकार किया है, हालांकि मृतक के परिजनों की शिकायत पर चार पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ केस दर्ज हुआ है.
उत्तर प्रदेश में अयोध्या ज़िले की मिल्कीपुर विधानसभा सीट के आसन्न उपचुनाव में भदरसा कस्बे की एक नाबालिग से कथित गैंगरेप के मामले को दूसरे चुनावी मुद्दों पर हावी करने की कोशिशें ख़त्म होने को ही नहीं आ रहीं, जबकि भदरसा मिल्कीपुर विधानसभा क्षेत्र का हिस्सा भी नहीं है.
उत्तर प्रदेश पुलिस ने यति नरसिंहानंद की सहयोगी उदिता त्यागी की शिकायत पर मोहम्मद जुबैर के ख़िलाफ़ एफआईआर दर्ज की है. त्यागी ने आरोप लगाया कि जुबैर ने 3 अक्टूबर को नरसिंहानंद के ख़िलाफ़ हिंसा भड़काने के लिए उनकी एक पुरानी क्लिपिंग पोस्ट की थी.
अवध क्षेत्र का दुर्भाग्य कि सूबे के रूप में उसे कुल साढ़े तीन सौ साल की उम्र भी नसीब नहीं हुई. यह और बात है कि इसी अवधि में उसने देश-दुनिया को ऐसी लासानी गंगा-जमुनी तहज़ीब दी, जिसकी महक है कि उसके दुश्मनों की तमाम कोशिशों के बावजूद जाती ही नहीं.
बीते जुलाई महीने में स्वयंभू बाबा नारायण साकार हरि उर्फ भोले बाबा के सत्संग में मची भगदड़ में 121 लोगों की मौत हो गई थी. अब तीन महीने बाद राज्य पुलिस द्वारा दायर चार्जशीट में 'भोले बाबा' का नाम नहीं है.
साईं बाबा की मूर्तियां हटाने का अभियान चला रहे संगठन ‘सनातन रक्षक दल’ का मानना है कि काशी में केवल शिव की पूजा होनी चाहिए. संगठन ने कहा 10 मंदिरों से पहले ही साईं बाबा की मूर्तियों को हटा दिया गया है, आने वाले दिनों में अगस्त्यकुंड और भूतेश्वर मंदिर से भी उनकी प्रतिमा हटा दी जाएंगी.
वीडियो: 22 सितंबर को देश के तीन राज्यों में तीन आरोपियों का कथित एनकाउंटर किया गया. उत्तर से दक्षिण तक पुलिस एनकाउंटर को मिली स्वीकार्यता पर द वायर के पॉलिटिकल एडिटर अजॉय आशीर्वाद और पत्रकार सौरव दास के साथ चर्चा कर रही हैं मीनाक्षी तिवारी.