घटना जमशेदपुर के एमजीएम अस्पताल की है. महिला का कहना है कि वह गर्भवती थीं और अचानक शुरू हुई ब्लीडिंग के बाद अस्पताल पहुंची थीं, जहां फर्श पर ख़ून गिर जाने पर स्टाफ ने मारपीट की. इसके बाद वह एक निजी अस्पताल गईं, जहां बताया गया कि गर्भस्थ शिशु की मौत हो गई है.
क़ानून का राज होने के बाद भी भीड़ का राज क़ायम है. इस भीड़ को धर्म, जाति और परंपरा के नाम पर छूट मिली है. किसी औरत को डायन बताकर मार देती है, जाति तोड़कर शादी करने वालों की हत्या कर देती है. इसी कड़ी में अब यह शामिल हो गया है कि अपराध करने वाला या झगड़े की ज़द में आ जाने वाले मुसलमान को जय श्री राम के नाम पर मार दिया जाएगा.
जमशेदपुर के एमजीएम अस्पताल में पिछले 30 दिनों में 64 बच्चों की मौत हो चुकी है.
बच्चा चोर किसी ने नहीं देखा, न किसी का बच्चा चोरी हुआ. फिर भी महिलाओं-बच्चों को घरों में बंद कर रात भर पहरा देते हैं हथियारबंद ग्रामीण.