बीते छह जनवरी को निषेध प्रभाग के एसपी राकेश कुमार सिन्हा ने एक पत्र में कहा था कि भले ही सरकार ने शराबबंदी लागू की हो, लेकिन आबकारी विभाग के कर्मचारियों के सहयोग से सभी थानाक्षेत्रों में शराब की बिक्री धड़ल्ले से हो रही है. सिन्हा ने सभी ज़िलों के एसपी से इस पर तत्काल कार्रवाई का अनुरोध भी किया था.
क़ानून के दुरुपयोग के लंबे समय से आरोप लग रहे थे. पिछले दिनों मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसकी समीक्षा की बात की थी. शराबबंदी लागू होने के बाद से दो साल में करीब सवा लाख लोगों को जेल में डाला गया है.
बिहार के मुख्यमंत्री ने कहा कि शराबबंदी का सबसे अधिक फायदा गरीब और गांवों में रहने वालों को हुआ है. इसने कुछ लोगों को चोट पहुंचाई है लेकिन राज्य की 90 प्रतिशत जनसंख्या को लाभ पहुंचाया है.