मिज़ोरम की सरछिप सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ने वाले पूर्व आईपीएस अधिकारी लालदुहोमा पर आरोप था कि उन्होंने निर्दलीय चुनाव लड़ा था, जबकि वह ज़ोराम पीपुल्स मूवमेंट नाम के राजनीतिक दल के शीर्ष नेता थे. वह राज्य के पहले ऐसे विधायक बन गए हैं जिन्हें अयोग्य क़रार दिया गया है.
मिज़ोरम में भाजपा पहली बार अपना खाता खोलने के साथ अपने कांग्रेस-मुक्त पूर्वोत्तर के राजनीतिक मिशन में कामयाब तो हुई, लेकिन राज्य के ईसाई बहुल मतदाताओं ने उसे पूरी तरह नकार दिया.
एमएनएफ प्रमुख जोरामथांगा का मुख्यमंत्री के बतौर यह तीसरा कार्यकाल है. पांच कैबिनेट और छह राज्य मंत्रियों ने भी ली पद और गोपनीयता की शपथ.
मिज़ोरम की 40 सदस्यीय सीट में से मिज़ो नेशनल फ्रंट ने 26 सीटों पर जीत दर्ज की. ज़ोरामथांगा को एमएनएफ विधायक दल का नेता चुना गया.