उत्तर प्रदेश के कानपुर में बीते 25 जून को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का काफ़िला के गुज़रने के दौरान ट्रैफिक में फंसी एक महिला की अस्पताल ले जाते समय मौत हो गई थी. मृतक की पहचान इंडियन इंडस्ट्रीज एसोसिएशन की कानपुर इकाई की महिला विंग की प्रमुख वंदना मिश्रा के रूप में हुई थी. वह कोविड-19 जटिलताओं से जूझ रही थीं. पुलिस के अनुसार, घटना को लेकर राष्ट्रपति ने भी खेद प्रकट किया है. चार पुलिसकर्मियों को निलंबित किया गया है.
कानपुर: उत्तर प्रदेश के कानपुर में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के दौरे के दौरान बीते 25 जून को ट्रैफिक रोके जाने से कोविड 19 संबंधी जटिलताओं से जूझ रही महिला की अस्पताल जाते समय रास्ते में मौत हो गई थी.
राष्ट्रपति का काफिला गुजरने के कारण वह करीब दो घंटे तक ट्रैफिक में फंसी रही थीं. इस घटना को लेकर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और उत्तर प्रदेश पुलिस दुख जताया है.
कानपुर के पुलिस कमिश्नर असीम अरुण ने इस घटना के लिए सार्वजनिक तौर पर माफी मांगी है और मामले में एसआई और तीन हेड कॉन्स्टेबल को निलंबित कर दिया है.
कानपुर पुलिस कमिश्नर ने बताया कि महामहिम राष्ट्रपति महिला के असामयिक निधन से व्यथित हैं और उन्होंने पुलिस आयुक्त और जिलाधिकारी को बुलाकर जानकारी ली एवं शोक संतप्त परिवार तक उनका संदेश पहुंचाने को कहा. दोनों अधिकारियों ने अंत्येष्टि में शामिल होकर परिवार तक महामहिम का संदेश पहुंचाया.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, मृतक महिला की पहचान इंडियन इंडस्ट्रीज एसोसिएशन (आईआईए) की कानपुर इकाई की महिला विंग की प्रमुख वंदना मिश्रा के रूप में हुई.
आईआईए की अध्यक्षा बहन वन्दना मिश्रा जी के निधन के लिए कानपुर नगर पुलिस और व्यक्तिगत रूप से मैं क्षमा प्रार्थी हूं। भविष्य के लिए यह बड़ा सबक है। हम प्रण करते हैं कि हमारी रूट व्यवस्था ऐसी होगी कि न्यूनतम समय के लिए नागरिकों को रोका जाए ताकि ऐसी घटनाओं की पुनरावृति न हो।
— POLICE COMMISSIONERATE KANPUR NAGAR (@kanpurnagarpol) June 26, 2021
कानपुर पुलिस कमिश्नर के ट्विटर हैंडल से किए गए ट्वीट में कहा गया, ‘आईआईए की अध्यक्षा वंदना मिश्रा के निधन के लिए कानपुर नगर पुलिस और व्यक्तिगत रूप से मैं क्षमा प्रार्थी हूं. भविष्य के लिए यह बड़ा सबक है. हम प्रण करते हैं कि हमारी रूट व्यवस्था ऐसी होगी कि न्यूनतम समय के लिए नागरिकों को रोका जाए, ताकि ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति नहीं हो.’
सुरक्षा के लिए नागरिकों को दिक्कत न हो, मेडिकल आपात स्थिति में तो बिल्कुल भी नहीं। व्यवस्था सुधारने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं ताकि ऐसी पुनरावृत्ति न हो। निर्देश से अधिक समय तक ट्रैफिक रोकने पर SI सुशील कुमार व 3 मुख्य आरक्षियों को निलंबित किया गया है, जांच Ad. DCP SOUTH करेंगे।
— POLICE COMMISSIONERATE KANPUR NAGAR (@kanpurnagarpol) June 26, 2021
कानपुर पुलिस कमिश्नर के ऑफिस से ट्वीट कर कहा गया, ‘सुरक्षा के लिए नागरिकों को दिक्कत न हो, मेडिकल आपात स्थिति में तो बिल्कुल भी नहीं. व्यवस्था सुधारने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं ताकि ऐसी पुनरावृत्ति न हो. निर्देश से अधिक समय तक ट्रैफिक रोकने पर एसआई सुशील कुमार और तीन मुख्य आरक्षियों को निलंबित किया गया है. जांच एडिशनल डीसीपी साउथ करेंगे.’
सुरक्षा के लिए नागरिकों को दिक्कत न हो, मेडिकल आपात स्थिति में तो बिल्कुल भी नहीं। व्यवस्था सुधारने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं ताकि ऐसी पुनरावृत्ति न हो। निर्देश से अधिक समय तक ट्रैफिक रोकने पर SI सुशील कुमार व 3 मुख्य आरक्षियों को निलंबित किया गया है, जांच Ad. DCP SOUTH करेंगे।
— POLICE COMMISSIONERATE KANPUR NAGAR (@kanpurnagarpol) June 26, 2021
बता दें कि महिला का वाहन कानपुर के नंद लाल चौराहे और गोविंदपुरी फ्लाईओवर के बीच ट्रैफिक में फंस गया था.
उनके पति शरद मिश्रा (58) ने कहा, ‘कानपुर में राष्ट्रपति कोविंद के दौरे की वजह से वहां बहुत ट्रैफिक था और कई सड़कें अवरुद्ध थीं. हमें अस्पताल पहुंचने में लगभग दो घंटे लग गए, जबकि सामान्य तौर पर 20 से 30 मिनट ही लगते हैं. कुछ पुलिसकर्मियों ने हमारी मदद करने की कोशिश भी की और हमारे वाहन को वहां से गुजरने दिया, लेकिन चूंकि जाम बहुत लंबा था, इसलिए हम जाम से बाहर नहीं निकल सके.’
उन्होंने कहा कि डॉक्टरों ने हमारे अस्पताल पहुंचने पर ही उन्हें मृत घोषित करते हुए कहा कि अगर उन्हें 20 मिनट पहले भी लाया जाता तो उनकी जान बच सकती थी.
कानपुर के पुलिस आयुक्त (यातायात) बीबीजीटीएस मूर्ति का कहना है कि घटना की जांच की जा रही है.
पुलिस अधिकारी का कहना है कि शुक्रवार को वीआईपी आगमन को लेकर कई सड़कें अवरुद्ध थीं. राष्ट्रपति कोविंद का स्वागत करने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और राज्यपाल आनंदीबेन पटेल कानपुर में ही थीं.
इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में आईआईए कानपुर प्रभार के चेयरमैन आलोक अग्रवाल ने बताया कि वंदना मिश्रा अप्रैल की शुरुआत में कोरोना संक्रमित पाई गई थीं और तभी से वह कोरोना के बाद की जटिलताओं से जूझ रही थीं.
उन्होंने बताया कि उन्हें 25 जून को कुछ टेस्ट के लिए अस्पताल ले जाया जा रहा था. वह शाम चार बजे घर लौटी थीं और उन्होंने शाम लगभग छह बजे चक्कर आने और बेचैनी की शिकायत की थी.
उन्होंने बताया कि उन्हें (मिश्रा) दोबारा अस्पताल ले जाया गया. ट्रैफिक की वजह से उन्हें देरी हो गई. इस बीच वाहन में ही उन्होंने उल्टी भी कर दी. उनके परिवार के एक सदस्य, जो डॉक्टर भी हैं, उन्होंने उन्हें सीपीआर (कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन) भी दिया था.
बता दें कि राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद उत्तर प्रदेश के तीन दिवसीय दौरे पर हैं. वह 25 जून को विशेष ट्रेन से अपने गृहनगर कानपुर पहुंचे थे.