पुलवामा आतंकी हमला: राज्यपाल ने माना- खुफिया विफलता के साथ हमारी भी गलती है

जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने कहा कि हम हाईवे पर घूम रही विस्फोटकों से भरी गाड़ी की पहचान कर पाने में विफल रहे. हमें यह बात स्वीकार करनी होगी कि हमसे भी गलती हुई है.

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Srinagar: Jammu and Kashmir Governor Satya Pal Malik during an Interview with PTI, in Srinagar, on Tuesday, October 16, 2018. ( PTI Photo/S Irfan)(Story No. DEL 66)(PTI10_16_2018_000159B)
सत्यपाल मलिक. (फाइल फोटो: पीटीआई)

जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने कहा कि हम हाईवे पर घूम रही विस्फोटकों से भरी गाड़ी की पहचान कर पाने में विफल रहे. हमें यह बात स्वीकार करनी होगी कि हमसे भी गलती हुई है.

Srinagar: Jammu and Kashmir Governor Satya Pal Malik during an Interview with PTI, in Srinagar, on Tuesday, October 16, 2018. ( PTI Photo/S Irfan)(Story No. DEL 66)(PTI10_16_2018_000159B)
राज्यपाल सत्यपाल मलिक (फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली: जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने कहा है कि बृहस्पतिवार को पुलवामा में हुआ हमला कुछ हद तक खुफिया विफलता का नतीजा था. उन्होंने कहा कि सबसे बड़ी विफलता यह थी कि सुरक्षा बल विस्फोटकों से भरी स्कॉर्पियो की पहचान कर पाने और उसकी गतिविधि का पता लगा पाने में विफल रहे.

इंडियन एक्सप्रेस की ख़बर के अनुसार, मलिक ने कहा, ‘हम यह स्वीकार नहीं कर सकते कि खुफिया विफलता हो. हम हाईवे पर घूम रही विस्फोटकों से भरी गाड़ी की पहचान कर पाने में विफल रहे. हमें यह बात स्वीकार करनी होगी कि हमसे भी गलती हुई है.’

उन्होंने स्वीकार किया कि सुरक्षा बलों द्वारा जैश-ए-मोहम्मद सहित स्थानीय आतंकियों का खात्मा करने के दौरान ऐसी कोई चेतावनी या खुफिया जानकारी नहीं मिली थी कि उनमें से किसी को भी आत्मघाती हमलावर बनाने के लिए प्रशिक्षित किया जा रहा है.

उन्होंने कहा, ‘यह भी खुफिया विफलता का नतीजा है कि हमें पता ही नहीं था कि उनमें से कोई फिदायीन है. मैं यह बात स्वीकार कर सकता हूं कि यह शख्स (आत्मघाती हमलावर जिसकी पहचान आदिल अहमद दार के रूप में की गई है) काफी हद तक हमारे संदिग्ध की सूची में था. लेकिन दवाब के कारण वे छुप गए थे और किसी ने भी उन्हें अपने घरों में पनाह नहीं दी थी. वह जंगलों या पहाड़ियों में कहीं छुप गया. हमें उसके बारे में पता था लेकिन हम उसका पता नहीं लगा सके. ऐसा बहुत कम होता है लेकिन वह हमारे हाथ से निकल गया. हालांकि बाकी सभी मार गिराए गए थे.

राज्यपाल ने कहा कि प्रधानमंत्री और गृहमंत्री दोनों ने उनसे फोन पर बात की है.

मलिक ने कहा, ‘सुरक्षा की समीक्षा के दौरान रणनीति तैयार की जाएगी लेकिन मैं यह बता सकता हूं कि तीन महीने के अंदर हम उन्हें खत्म कर देंगे. हमने पंचायत चुनाव और नगर पालिका के चुनाव कराए लेकिन एक चिड़ियां की भी जान नहीं गई. इससे पहले, चुनावों के दौरान बहुत ढेर सारे लोगों की मौत होती थी.

उन्होंने इस हमले को आतंकियों की खीझ का नतीजा करार दिया है. उन्होंने कहा, ‘पाकिस्तान की तरफ से आतंकियों पर लगातार कुछ बड़ा करने का दबाव बनाया जा रहा है. यह हमला उसी खीझ का नतीजा है.