आवश्यक वस्तु अधिनियम में होगा संशोधन, कृषि सुधार की दिशा में कानून लाएगी सरकार: वित्त मंत्री

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कोरोना वित्तीय पैकेज के तीसरे हिस्से का विवरण पेश करते हुए कृषि, डेयरी, मत्स्य पालन, पशुपालन, हर्बल कल्टीवेशन जैसे विभिन्न क्षेत्रों के लिए घोषणाएं की.

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कोरोना वित्तीय पैकेज के तीसरे हिस्से का विवरण पेश करते हुए कृषि, डेयरी, मत्स्य पालन, पशुपालन, हर्बल कल्टीवेशन जैसे विभिन्न क्षेत्रों के लिए घोषणाएं की.

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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण. (फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा घोषित कोरोना वित्तीय पैकेज के तीसरे हिस्से के विवरणों को साझा किया. इस दौरान उन्होंने कृषि, डेयरी, मत्स्य पालन, पशुपालन, हर्बल कल्टीवेशन जैसे विभिन्न क्षेत्रों के लिए योजनाओं की घोषणा की.

वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि किसानों के लिए बेहतर मूल्य प्राप्ति को आसान करने के लिए सरकार आवश्यक वस्तु अधिनियम में संशोधन करेगी. इससे अनाज, खाद्य तेल, तिलहन, दालें, प्याज और आलू को विनियमित किया जाएगा. विशेष परिस्थितियों के अलावा स्टॉक लिमिट लागू नहीं होगी.

इसके अलावा किसानों को मार्केटिंग विकल्प प्रदान करने के लिए कृषि विपणन सुधारों को लागू करने के लिए सरकार कानून लाने जा रही है. सीतारमण का दावा है कि ये कानून किसान को आकर्षक मूल्य पर उपज बेचने के लिए पर्याप्त विकल्प प्रदान करेगा.

वित्त मंत्री ने कहा कि लॉकडाउन के चलते दूध की मांग में 20-25 फीसदी की गिरावट आई है, जिसके चलते डेयरी किसान काफी प्रभावित हुए हैं. इस संकट से निकालने के नाम पर उन्होंने डेयरी को-ऑपरेटिव को वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान ब्याज पर दो फीसदी छूट देने की घोषणा की.

इसके अलावा जो लोग जल्द भुगतान करेंगे उन्हें अतिरिक्त दो फीसदी ब्याज छूट दी जाएगी. सीतारमण ने कहा कि इससे दो करोड़ किसानों को फायदा पहुंचेगा और इसका कुल 5,000 करोड़ रुपये का खर्च आएगा.

निर्मला सीतारमण ने मत्स्य पालन के क्षेत्र में काम कर रहे लोगों की सहायता करने के लिए कुछ योजनाओं की घोषणा की.

उन्होंने कहा कि समुद्री और अंतर्देशीय मत्स्य पालन के समेकित, सतत, समावेशी विकास के लिए प्रधानमंत्री मत्स्य योजना शुरू की जाएगी. सीतारमण ने कहा कि इस कदम से 55 लाख से अधिक व्यक्तियों को रोजगार मिलेगा और 1 लाख करोड़ रुपये का दोहरा निर्यात होगा.

वित्त मंत्री ने कहा कि कृषि में बुनियादी ढांचे को मजबूत करने की दिशा में फार्म-गेट और एकत्रीकरण बिंदुओं पर कृषि इन्फ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं के वित्तपोषण के लिए एक लाख करोड़ रुपये की सुविधा प्रदान की जाएगी. इसके लिए जल्द ही एक फंड तैयार किया जाएगा.

इसके अलावा सीतारमण ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘वोकल फॉर लोकल’ विजन को लागू करने के उद्देश्य से दो लाख माइक्रो फूड एंटरप्राइजेज की मदद के लिए एक योजना शुरू की जाएगी. इसमें स्वास्थ्य और सुरक्षा मानकों में सुधार, खुदरा बाजारों के साथ एकीकरण और अच्छी आय पर फोकस किया जाएगा.

वित्त मंत्री ने कहा कि इस कार्य के लिए 10,000 करोड़ रुपये आवंटित किए जाएंगे.

उन्होंने कहा कि भारत में गाय, भैंस, भेड़, बकरी और सुअर की 100 फीसदी आबादी के टीकाकरण के लिए 13,343 करोड़ रुपये के आवंटन के साथ राष्ट्रीय पशु रोग नियंत्रण कार्यक्रम शुरू किया गया है.

इसके अलावा सरकार ने 15000 करोड़ रुपये की एक पशुपालन इंफ्रास्ट्रक्चर विकास निधि की घोषणा की. इसके तहत डेयरी प्रसंस्करण, मूल्य संवर्धन और पशु चारा बुनियादी ढांचे में निजी निवेश का समर्थन किया जाएगा.

भारत में हर्बल खेती को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने 4000 करोड़ रुपये का आवंटन किया है. इसके तहत दो वर्षों में हर्बल खेती के तहत 10 लाख हेक्टेयर को कवर करने का लक्ष्य है. इसके जरिए गंगा के किनारों पर औषधीय पौधों का गलियारा बनाया जाएगा.

इसके अलावा वित्त मंत्री ने कहा कि मधुमक्खी पालन से संबंधित बुनियादी ढांचे के विकास के लिए सरकार एक योजना लागू करेगी. इसमें महिलाओं की क्षमता निर्माण पर विशेष जोर देने के साथ दो लाख मधुमक्खी पालकों के लिए आय बढ़ाने का लक्ष्य है. 

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