एक वीडियो संदेश में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि केंद्र सरकार ने थोड़ी मदद की है लेकिन वह कोई राजनीतिक छींटाकशी नहीं करेंगे.
मुंबई: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने रविवार को कहा कि अचानक लॉकडाउन लागू किया जाना गलत था और अब इसे तुरंत नहीं हटाया जा सकता.
महाराष्ट्र में कोविड-19 के मामले बढ़ने के बीच ठाकरे ने यह भी कहा कि आने वाले बारिश के मौसम (मानसून) में अत्यधिक सतर्क होने की जरूरत है.
एक वीडियो संदेश में उन्होंने कहा, ‘अचानक लॉकडाउन लागू किया जाना गलत था. इसे तुरंत हटा देना भी उतना ही गलत होगा. हमारे लोगों के लिए यह दोहरा झटका होगा.’
उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस महामारी को फैलने से रोकने के लिए राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की थी.
इसका प्रथम चरण 25 मार्च से 14 अप्रैल था, जिसे 15 अप्रैल से बढ़ाते हुए तीन मई तक (दूसरा चरण) किया गया था. इसका तीसरा चरण चार मई से 17 मई तक था और अब लॉकडाउन 4.0 कुछ छूट के साथ 18 मई से 31 मई तक है.
CM Uddhav Balasaheb Thackeray addressing the State https://t.co/YA14xh2GWf
— CMO Maharashtra (@CMOMaharashtra) May 24, 2020
उद्धव ने कहा कि अगले 15 दिन काफी महत्वपूर्ण हैं. हम अभी लॉकडाउन नहीं हटा सकते हैं. विमान सेवा भी जरूरी है लेकिन अभी हमें इसके लिए समय चाहिए.
उन्होंने कहा, ‘हम यह नहीं कह सकते हैं कि 31 मई को लॉकडाउन खत्म हो जाएगा. हमें देखना होगा कि आगे कैसे बढ़ा जाए. आने वाला समय बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि वायरस के फैलने की रफ्तार तेजी से बढ़ रही है.’
ठाकरे ने कहा कि केंद्र सरकार ने थोड़ी मदद की है लेकिन वह कोई राजनीतिक छींटाकशी नहीं करेंगे. उल्लेखनीय है कि ठाकरे की पार्टी शिवसेना ने पिछले साल भाजपा से वर्षों पुराना अपना नाता तोड़ लिया था.
मुख्यमंत्री ठाकरे ने कहा, ‘महाराष्ट्र सरकार को अभी तक माल एवं सेवा कर (जीएसटी) की बकाया राशि नहीं मिली है. ट्रेन टिकट किराए (प्रवासी श्रमिकों को उनके गृह राज्य तक पहुंचाने के लिये) का केंद्र का हिस्सा मिलना अभी तक बाकी है. कुछ दवाइयों की अब भी कमी है. शुरूआत में, हमने पीपीई किट और अन्य उपकरणों की कमी का भी सामना किया.’
ठाकरे ने कहा, ‘लॉकडाउन में अभी भी तमाम लोग नियम का पालन नहीं कर रहे हैं. पहले कहा गया था की मई के अंत तक महाराष्ट्र में डेढ़ लाख तक कोरोना के मरीज हो सकते हैं. ऐसी चेतावनी दी गई थी. लेकिन हम इसे काबू कर पाए और इतना नहीं बढ़ने नहीं दिया. सभी लोग कोरोना से डटकर मुकाबला कर रहे हैं. आने वाले दिनों में कोरोना के और भी मरीज बढ़ेंगे. लेकिन डरने की जरूरत नहीं है.’
मजदूरों के पलायन पर उद्धव ने कहा, ‘मजदूरों को हमने कभी नहीं कहा कि चले जाओ. वे खुद जाने लगे. इसलिए केंद्र से ट्रेन की मांग की ताकि उनके घर उन्हें पहुंचाया जा सके. आज तक 481 ट्रेनों से सात लाख तक मजदूरों को उनके घर छोड़ा है. अब तक 85 करोड़ इस पर खर्च किया गया है. सही समय पर ट्रेन से भेजे जाने की सुविधा की परमिशन नहीं मिली वरना ये पहले भी जा सकते थे. रेलवे का अब तक पैसा केंद्र सरकार से नहीं आया है, जो प्रवासियों को दूसरे राज्यों तक भेजने में खर्च हुआ है.’
बता दें कि, महाराष्ट्र में अभी तक कोरोना वायरस के 47 हजार से अधिक मामले सामने आए हैं. 13 हजार से अधिक मरीज स्वस्थ हो चुके हैं. अभी राज्य में 33 हजार 786 सक्रिय मामले हैं.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)