दो जुलाई की देर रात उत्तर प्रदेश में कानपुर के चौबेपुर थानाक्षेत्र के बिकरू गांव में पुलिस की एक टीम गैंगस्टर विकास दुबे को पकड़ने गई थी, जब विकास और उसके साथियों ने पुलिस पर हमला कर दिया था. इस मुठभेड़ में आठ पुलिसकर्मियों की मौत हो गई थी. बीते नौ जुलाई को पुलिस ने विकास दुबे को मध्य प्रदेश के उज्जैन शहर से गिरफ़्तार किया था.
कानपुर: उत्तर प्रदेश पुलिस ने शुक्रवार सुबह दावा किया कि उज्जैन से कानपुर लाने के दौरान भागने की कोशिश कर रहे विकास दुबे को एनकाउंटर में मार गिराया गया है.
मध्य प्रदेश में उज्जैन शहर स्थित महाकाल मंदिर में बीते नौ जुलाई को गिरफ्तारी के बाद आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के मुख्य आरोपी विकास दुबे को उत्तर प्रदेश की स्पेशल टास्क फोर्स (यूपी-एसटीएफ) का दल अपने साथ कानपुर ला रहा था, जब पुलिस दल की एक गाड़ी पलट गई.
Police stated this before gangster Vikas Dubey was declared dead by the hospital authorities. https://t.co/0F7eLznsEL
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) July 10, 2020
पुलिस का कहना है कि इस दौरान विकास दुबे भागने की कोशिश कर रहा था, तो पुलिस को गोली चलानी पड़ी.
समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत में कानपुर पश्चिम के पुलिस अधीक्षक ने बताया, ‘कार के हादसे के शिकार होने के बाद एक घायल पुलिसकर्मी से पिस्टल छीनकर विकास दुबे भागने की कोशिश कर रहा था. पुलिस ने उसे आत्मसमर्पण के लिए कहा, लेकिन इस दौरान उसने पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी. पुलिस की जबावी फायरिंग में वह घायल हो गया, जिसके बाद उसे अस्पताल ले जाया गया.’
पुलिस के अनुसार, अस्पताल में उसे मृत घोषित कर दिया गया.
Gangster Vikas Dubey killed in encounter when he tried to flee after road accident: IG, Kanpur Mohit Agarwal
— Press Trust of India (@PTI_News) July 10, 2020
आईजी कानपुर मोहित अग्रवाल ने समाचार एजेंसी पीटीआई से बातचीत में इस बात की पुष्टि की है कि सड़क हादसे के बाद भागने की कोशिश कर रहा विकास दुबे पुलिस एनकाउंटर में मारा गया.
पीटीआई ने अधिकारियों के हवाले से बताया है कि जिस गाड़ी में विकास दुबे को लाया जा रहा था वह कानपुर के बर्रा क्षेत्र में हादसे का शिकार हो गई थी.
Kanpur: One of the vehicles of the convoy of Uttar Pradesh Special Task Force (STF) that was bringing back #VikasDubey from Madhya Pradesh to Kanpur overturns. Police at the spot. More details awaited. pic.twitter.com/ui58XBbd82
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) July 10, 2020
गौरतलब है कि पिछले हफ्ते (दो और तीन जुलाई की दरमियानी रात में) कानपुर के चौबेपुर थाना क्षेत्र के बिकरू गांव में गैंगस्टर विकास दुबे को पकड़ने गई पुलिस टीम पर उसके साथियों ने घात लगाकर हमला किया था. इस वारदात में आठ पुलिसकर्मियों की मौत हो गई थी और कई लोग घायल हुए थे.
मुठभेड़ में जिन पुलिसकर्मियों की मौत हुई थी, उनमें बिल्हौर के क्षेत्राधिकारी डिप्टी एसपी देवेंद्र मिश्रा (54), थानाध्यक्ष, शिवराजपुर महेश कुमार यादव (42), सब इंस्पेक्टर अनूप कुमार सिंह (32), सब इंस्पेक्टर नेबू लाल (48), कॉन्स्टेबल जितेंद्र पाल (26), सुल्तान सिंह (34), बबलू कुमार (23) और राहुल कुमार (24) शामिल हैं.
मालूम हो कि हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे पर करीब 60 आपराधिक मामले दर्ज हैं. उत्तर प्रदेश पुलिस ने उस पर 2.5 लाख रुपये का इनाम रखा गया था, जिसे बढ़ाकर पांच लाख कर दिया गया था.
उत्तर प्रदेश में कानपुर के बिकरू गांव में हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे के साथ मुठभेड़ में आठ पुलिसकर्मियों मौत के बाद सवालों के घेरे में आए चौबेपुर थाने में तैनात सभी 68 पुलिसकर्मियों को भी कर्तव्यनिष्ठा पर संदेश के आरोप में सात जुलाई की रात लाइन हाजिर कर दिया गया था.
इसके अलावा कुछ समय पहले कानपुर के एसएसपी रहे एक पुलिस उपमहानिरीक्षक अनंत देव तिवारी को भी स्थानांतरित कर दिया गया है.
इसके अलावा कानपुर पुलिस ने चौबेपुर थाने के पूर्व प्रभारी विनय तिवारी और बिकरू इलाके के बीट प्रभारी (हल्का इंचार्ज) केके शर्मा को मुठभेड़ से पहले की सूचना बदमाशों को लीक करने के आरोप में बीते सात जुलाई को गिरफ्तार कर लिया.
पुलिस महानिरीक्षक मोहित अग्रवाल ने बुधवार को बताया कि तिवारी और शर्मा पर आरोप हैं कि दोनों ने मुठभेड़ से पहले ही सूचनाएं हिस्ट्रीशीटर बदमाश विकास दुबे को लीक कीं. दोनों पहले से निलंबित हैं.