पश्चिम बंगाल सीआईडी ने आसनसोल के हीरापुर से गिरफ्तार किया. बीते दिनों राज्य में हुई सांप्रदायिक हिंसा की फर्ज़ी तस्वीरें-वीडियो साझा करने का आरोप.
पश्चिम बंगाल में हुए सांप्रदायिक दंगों के बीच पश्चिम बंगाल सीआईडी ने बीजेपी आईटी सेल के सचिव तरुण सेनगुप्ता को आसनसोल में हीरापुर से हिरासत में लिया है. उन पर आरोप है कि उन्होंने फर्ज़ी वीडियो और फोटो सोशल मीडिया पर अपलोड किया था. ऐसे मामलों में सेनगुप्ता तीसरे ऐसे व्यक्ति हैं जिनके ख़िलाफ़ कार्रवाई की गई है.
Tarun Sengupta, Secretary BJP IT Cell, Asansol, WB, arrested today for spreading fake news and creating communal disharmony. pic.twitter.com/GRWSPPnMq5
— CID West Bengal (@CIDWestBengal) July 12, 2017
पश्चिम बंगाल सीआईडी ने अपने आधिकारिक ट्विटर अकाउंट से इस बात की जानकारी दी है. कोलकाता से नज़दीक उत्तर 24 परगना ज़िले में बीते दिनों हुए सांप्रदायिक हिंसा के चलते सोशल मीडिया पर कई ऐसी तस्वीर वायरल हो रही हैं.
सीआईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक आसनसोल-दुर्गापुर प्रमंडल के हीरापुर थानांर्गत राधानगर रोड निवासी तरुण सेनगुप्ता को बुधवार उनके घर से गिरफ्तार किया गया.
अधिकारी ने बताया, भाजपा के आसनसोल के आईटी प्रकोष्ठ के सचिव को फेसबुक पर फर्ज़ी वीडियो और प्रचार सामग्री पोस्ट करने को लेकर सुरी थाने में दर्ज मामले के सिलसिले में गिरफ्तार कर लिया गया.
उन्होंने बताया, सेनगुप्ता ने फेसबुक पर सांप्रदायिक दृष्टि से संवेदनशील वीडियो और प्रचार सामग्री पोस्ट की थी. उन पर गैर-जमानती धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है. सेनगुप्ता को बुधवार को सूरी कोर्ट में पेश किया जाना है.
सोमवार को भाजपा की प्रवक्ता नूपुर शर्मा पर भी गैर जमानती धाराओं के तहत कोलकाता पुलिस ने मुक़दमा दर्ज़ किया गया है. नूपुर ने गुजरात 2002 दंगों की तस्वीरों को पश्चिम बंगाल के दंगों की तस्वीर बताकर ट्वीट किया था.
स्क्रॉल के अनुसार, शनिवार को कोलकाता पुलिस की साइबर सेल में एक 38 साल के विजेता मलिक को गिरफ्तार किया. मलिक हरियाणा में भाजपा से जुड़े हुए हैं.
उन्होंने भोजपुरी फिल्म की एक तस्वीर को यह कहते हुए शेयर किया था कि देखिए, वास्तव में उत्तर 24 परगना ज़िले में क्या हो रहा है. इस तस्वीर में कुछ लोग एक महिला को प्रताड़ित करते नज़र आ रहे हैं. यह एक भोजपुरी फिल्म का सीन है.
आॅल्ट न्यूज़ के अनुसार वो तस्वीर भोजपुरी फिल्म का एक दृश्य है. भोजपुरी फिल्म ‘औरत नहीं खिलौना’ की तस्वीरों को पश्चिम बंगाल के दंगों की तस्वीर बताकर सोशल मीडिया पर वायरल किया जा रहा था.