बीते शनिवार को एक वेबिनार के दौरान विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा था कि गौतम बुद्ध और महात्मा गांधी दो महान भारतीय थे. नेपाल के विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह स्थापित और ऐतिहासिक प्रमाणों के आधार पर साबित अकाट्य तथ्य है कि बुद्ध का जन्म लुम्बिनी, नेपाल में हुआ था.
काठमांडू: विदेश मंत्री एस. जयशंकर द्वारा दो महान भारतीयों में महात्मा गांधी के साथ गौतम बुद्ध का नाम लेने के एक दिन बाद पड़ोसी देश नेपाल में राजनयिक विवाद ने जन्म ले लिया है.
इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार, सत्ताधारी नेपाल कम्युनिस्ट पार्टी (एसीपी) और विपक्षी नेपाल कांग्रेस के नेताओं ने जयशंकर के बयान पर आक्रोश प्रकट किया.
बीते शनिवार को एक वेबिनार के दौरान विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा था कि बुद्ध और महात्मा गांधी दो महान भारतीय थे.
उन्होंने कहा था, ‘अभी तक के दो महान भारतीय कौन हैं जिन्हें आप याद करते हैं. मैं कहूंगा एक गौतम बुद्ध और दूसरे महात्मा गांधी हैं. वे केवल ऐसे भारतीय नहीं हैं जिन्हें सिर्फ हम भारतीय याद करते हैं बल्कि वे ऐसे भारतीय हैं जिन्हें पूरी दुनिया याद करती है.’
एनसीपी नेता और पूर्व प्रधानमंत्री माधव कुमार नेपाल ने कहा कि जयशंकर का बयान शरारतपूर्ण है.
नेपाल के विदेश मंत्रालय ने कहा, ‘यह सु-स्थापित और ऐतिहासिक प्रमाणों के आधार पर साबित अकाट्य तथ्य है कि बुद्ध का जन्म लुम्बिनी, नेपाल में हुआ था. बुद्ध की जन्मस्थली और बौद्ध धर्म की स्थापना से जुड़े स्थानों में से एक लुम्बिनी, यूनेस्को के विश्व विरासतस्थलों में से एक है.’
मंत्रालय ने कहा, ‘साल 2014 में अपनी नेपाल यात्रा के दौरान नेपाल की विधायी संसद को संबोधित करते हुए खुद प्रधानमत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि नेपाल वह देश है, जहां विश्व में शांति के प्रतीक बुद्ध का जन्म हुआ था.’
वहीं, रविवार को भारत की ओर से गौतम बुद्ध की जन्मस्थली को लेकर उत्पन्न विवाद को खारिज करते हुए कहा गया कि विदेश मंत्री एस. जयशंकर की टिप्पणी ‘हमारी साझा बौद्ध विरासत’ के बारे में थी.
नई दिल्ली में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने रविवार को कहा कि शनिवार को एक कार्यक्रम में विदेश मंत्री की टिप्पणी ‘हमारी साझा बौद्ध विरासत के बारे में थी.’
उन्होंने कहा, ‘इसमें कोई संदेह नहीं है कि गौतम बुद्ध का जन्म लुम्बिनी में हुआ था, जो नेपाल में है.’
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)