उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों से कहा है कि यह सुनिश्चित किया जाए कि प्रत्येक किसान को उसकी जरूरत के अनुसार समय से खाद प्राप्त हो.
लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे खाद की कालाबाजारी करने वालों के विरुद्ध राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के तहत भी कार्यवाही करें.
एक सरकारी बयान के मुताबिक उन्होंने अधिकारियों से सोमवार को कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि प्रत्येक किसान को उसकी जरूरत के अनुसार समय से खाद प्राप्त हो. खाद की कालाबाजारी कर किसानों के हितों से खिलवाड़ करने वाले लोगों के खिलाफ प्रदेश सरकार सख्ती से पेश आएगी.
उन्होंने कहा कि खाद की कालाबाजारी करने वालों के विरुद्ध रासुका के तहत भी कार्यवाही करें.
गौरतलब है कि 23 अगस्त को उत्तर प्रदेश में खाद की बढ़ती किल्लत के बीच राज्य में खाद की दुकानों के औचक निरीक्षण कर अब तक 623 विक्रेताओं का लाइसेंस निलंबित करने के साथ-साथ उनमें से 35 के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था.
राज्य सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया था कि राज्य में अब तक खाद की कुल 9,747 दुकानों का औचक निरीक्षण करते हुए 3,287 नमूने लिए गए.
विभिन्न गड़बड़ियों के मद्देनजर अब तक 623 विक्रेताओं का लाइसेंस निलंबित किया गया है, जबकि 517 विक्रेताओं को कारण बताओ नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया गया है.
उन्होंने बताया कि कालाबाजारी कर रहे 22 विक्रेताओं का लाइसेंस भी निरस्त किया गया, जबकि 35 दुकानों से बिक्री प्रतिबंधित कर संबंधित के खिलाफ सुसंगत धाराओं में मुकदमा भी दर्ज कराया गया है. साथ ही 17 दुकानों को सील भी किया गया है, जबकि 666 विक्रेताओं को चेतावनी दी गई है.
कृषि विभाग के अपर मुख्य सचिव देवेश चतुर्वेदी के मुताबिक, प्रदेश में कहीं भी खाद की कमी नहीं है, बल्कि पिछले वर्ष की तुलना में इस साल 20 प्रतिशत अधिक खाद उपलब्ध है. साथ ही पिछले साल के मुकाबले 30 फीसदी से ज्यादा वितरण भी किया गया है.
दैनिक जागरण के मुताबिक कांग्रेस ने राज्य में किसानों को खाद की किल्लत का आरोप लगाया था. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर बीते 19 अगस्त को आयोजित उच्चस्तरीय बैठक में कोरोना संक्रमण के साथ ही खाद वितरण व्यवस्था की जानकारी ली.
कांग्रेस द्वारा खाद की किल्लत का आरोप लगाए जाने के बाद कृषि मंत्री सूर्यप्रताप शाही ने आंकड़ों सहित स्थिति स्पष्ट करने के साथ ही सही तरीके से खाद वितरण की औचक पुष्टि की बात कही है.
कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही की अध्यक्षता में बीते 19 अगस्त को विधानभवन में एक उच्चस्तरीय बैठक हुई, जिसके बाद प्रदेश में यूरिया की कालाबाजारी और ओवर रेटिंग को रोकने के लिए डीलरों के यहां छापे मारने के निर्देश दिए गए थे.
शाही ने कहा था कि सहकारिता क्षेत्र में दो लाख मीट्रिक टन यूरिया उपलब्ध है. जिन जिलों में मांग ज्यादा है वहां पर 50 प्रतिशत तक यूरिया अवमुक्त करते हुए इसे साधन सहकारी समितियों के लिए उपलब्ध कराया जाएगा, ताकि किसानों को कोई दिक्कत न हो. इसके अलावा एग्री जंक्शन, आईएफएफडीसी, इफको ई- बाजार को भी इफको की यूरिया उपलब्ध कराई जाएगी.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)