पांच सितंबर को अरुणाचल प्रदेश के ऊपरी सुबनसिरी ज़िले से पांच लोगों को चीन की सेना द्वारा कथित तौर अपहृत करने का मामला सामने आया था. किरण रिजीजू के इस मुद्दे को चीन के सामने उठाए जाने के बाद चीन ने कहा था कि अरुणाचल प्रदेश उसका हिस्सा है और उसने अपने ही नागरिकों का अपहरण नहीं किया है.
नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्री किरण रिजीजू ने मंगलवार को कहा कि चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने इस बात की पुष्टि की है कि अरुणाचल प्रदेश के पांच लापता युवक उसकी तरफ मिले हैं.
इससे पहले केंद्रीय मंत्री किरण रिजीजू ने रविवार को कहा था कि भारतीय थल सेना ने युवकों के अपहरण का मुद्दा चीनी सेना के समक्ष उठाया है और उनके जवाब का इंतजार है.
मंगलवार को रिजीजू ने ट्वीट कर कहा, ‘चीन के पीएलए ने भारतीय सेना द्वारा भेजे गए हॉटलाइन मैसेज का जवाब दे दिया है. उन्होंने पुष्टि की है कि अरुणाचल प्रदेश से लापता युवक उनकी तरफ मिले हैं. उन्हें हमारे अधिकारियों सौंपने की आगे की प्रक्रिया पर काम किया जा रहा है.’
China's PLA has responded to the hotline message sent by Indian Army. They have confirmed that the missing youths from Arunachal Pradesh have been found by their side. Further modalities to handover the persons to our authority is being worked out.
— Kiren Rijiju (@KirenRijiju) September 8, 2020
हालांकि, इससे पहले रिजीजू के बयान पर टिप्पणी करते हुए सोमवार को चीन ने कहा था कि अरुणाचल प्रदेश उसका हिस्सा है और उसने अपने ही नागरिकों का अपहरण नहीं किया है.
चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स के मुताबिक, चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान ने कहा, ‘चीन ने कभी तथाकथित अरुणाचल प्रदेश को मान्यता नहीं दी, यह चीन के दक्षिणी तिब्बत का इलाका है. हमारे पास भारतीय सेना की ओर से इस इलाके से पांच लापता भारतीयों को लेकर सवाल आया है लेकिन अभी हमारे पास इसे लेकर कोई जानकारी नहीं है.’
टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार, चीन के आधिकारिक पक्ष को दोहराते हुए लिजियान ने कहा कि चीन ने अपने नागरिकों का अपहरण नहीं किया है.
China has never recognized so-called "Arunachal Pradesh," which is China's south Tibet region, and we have no details to release yet about question on Indian army sending a message to PLA about five missing Indians in the region: Chinese FM spokesperson Zhao Lijian pic.twitter.com/PqFdV5zp60
— Global Times (@globaltimesnews) September 7, 2020
बता दें कि बीते शनिवार को अरुणाचल प्रदेश पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा था कि चीन-भारत सीमा पर स्थित अरुणाचल प्रदेश के ऊपरी सुबनसिरी जिले के जंगल में शिकार करने गए पांच लोगों को चीन की पीएलए द्वारा कथित तौर पर अपहृत किए जाने की खबर आने के बाद राज्य पुलिस जांच शुरू कर दी है.
अपहृत लोगों के परिवारों ने बताया था कि यह घटना शुक्रवार को जिले के नाचो इलाके में हुई. लापता लोगों के साथ गए दो लोग किसी तरह बचकर आने में कामयाब हुए और उन्होंने पुलिस को घटना की जानकारी दी.
चीनी सेना द्वारा कथित तौर पर जिन लोगों का अपहरण किया गया है, उनकी पहचान तोच सिंगकम, प्रसात रिगलिंग, दोंगतू इबिया, तनू बाकर और नागरु दिरी के तौर पर की गई है और पांचों तागिन समुदाय के हैं. ये युवक सेना के लिए कुली और गाइड का काम करते थे.
अरुणाचल प्रदेश के पांच लोगों के अपहरण की खबर ऐसे वक्त आई है, जब भारतीय थल सेना ने पूर्वी लद्दाख में दोनों देशों के बीच सीमा विवाद के मद्देनजर 3,400 किमी लंबी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर अपनी तैनाती बढ़ा दी है.
उल्लेखनीय है कि इससे पहले मार्च में 21 वर्षीय युवक तोगली सिनकम को पीएलए ने मैकमहोन रेखा के नजदीक असापिला सेक्टर में पकड़ लिया था, जबकि उसके दो दोस्त बचकर भागने में कामयाब हुए थे.
पीएलएल ने करीब 19 दिन तक बंधक बनाए रखने के बाद युवक को रिहा किया था.