छत्तीसगढ़: फ़सल ख़राब होने से परेशान किसान ने फ़ांसी लगाकर आत्महत्या की

मामला छत्तीसगढ़ के दुर्ग ज़िले का है. अधिकारियों ने बताया कि 35 वर्षीय किसान ने चार एकड़ ज़मीन लीज पर लेकर धान की फसल लगाई थी, लेकिन वह किसी बीमारी के कारण पूरी तरह ख़राब हो गई.

(फोटो सभार: भारतीय रेलवे वेबसाइट)

मामला छत्तीसगढ़ के दुर्ग ज़िले का है. अधिकारियों ने बताया कि 35 वर्षीय किसान ने चार एकड़ ज़मीन लीज पर लेकर धान की फसल लगाई थी, लेकिन वह किसी बीमारी के कारण पूरी तरह ख़राब हो गई.

(फोटो सभार: भारतीय रेलवे वेबसाइट)
(फोटो साभार: भारतीय रेलवे वेबसाइट)

दुर्ग: छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिले में फसल खराब होने से परेशान एक किसान ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली है. अधिकारियों ने यह जानकारी दी.

दुर्ग जिले के पुलिस अधिकारियों ने सोमवार को बताया कि जिले के उतई थाना क्षेत्र के अंतर्गत मातारोडीह गांव में दुर्गेश कुमार निषाद (35) ने अपने खेत में लगे पेड़ पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली.

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि जानकारी मिली है कि निषाद ने अन्य ग्रामीण से चार एकड़ जमीन को लीज पर लिया था और खेत में धान की फसल लगाई थी लेकिन वह किसी बीमारी के कारण पूरी तरह खराब हो गई.

उन्होंने बताया कि निषाद शनिवार को अपने खेत की तरफ गए और वापस नहीं लौटे. दूसरे दिन जब ग्रामीणों ने उन्हें फांसी पर लटके देखा तब उन्होंने इसकी सूचना पुलिस को दी.

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि निषाद से एक पत्र बरामद किया गया है जिसमें उन्होंने फसल खराब होने के कारण आत्महत्या करने की जानकारी दी है. पुलिस मामले की जांच कर रही है.

इधर राज्य शासन की ओर से गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू सोमवार को निषाद के घर पहुंचे तथा उन्होंने उनके परिजनों को चार लाख रुपये की सहायता राशि प्रदान की है.

बीते सोमवार को साहू ने ट्वीट कर बताया कि आज ग्राम मातारोडीह (मचांदूर) जिला दुर्ग में युवा किसान दुर्गेश निषाद के शोक संतप्त परिवारजनों से मुलाकात कर उन्हें शासन की ओर से चार लाख रुपये की सहायता राशि प्रदान की.

उन्होंने एक अन्य ट्वीट में कहा कि जिले के सभी अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि खेतों में फैली इस नई बीमारी के बारे में शीघ्र पता लगाएं और शासन स्तर पर इस समस्या का हल निकालें.

दैनिक भास्कर के मुताबिक, दुर्ग जिला में किसानों पर इस साल 16 करोड़ रुपये का कर्ज़ बढ़ा है. जिले के किसानों ने इस साल 250.83 करोड़ रुपया कर्ज लिए हैं जबकि साल 2019 में 234.51 करोड़ रुपये कर्ज लिए थे.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)