कर्नाटक के मंत्री के​ ठिकानों पर छापा, कांग्रेस बोली- चुनाव जीतने के लिए डरा रही सरकार

कांग्रेस ने कहा, गुजरात में एक सीट जीतने के लिए सरकार जांच एजेंसियों का इस्तेमाल कर रही है.

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कांग्रेस ने कहा, गुजरात में एक सीट जीतने के लिए सरकार जांच एजेंसियों का इस्तेमाल कर रही है.

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सोनिया गांधी और अहमद पटेल. (फाइल फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली: आयकर विभाग ने कर चोरी के एक मामले में कर्नाटक के ऊर्जा मंत्री डीके शिवकुमार की कई संपत्तियों पर बुधवार को छापे मारे. शिवकुमार की मेजबानी में बेंगलुरु के एक रिसॉर्ट में गुजरात के 44 कांग्रेस विधायक ठहरे हुए हैं.

कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि भाजपा गुजरात में राज्यसभा की एक सीट जीतने के लिए अभूतपूर्व तरीके से विपक्षी विधायकों को परेशान कर रही है. इसे लेकर संसद में हंगामा हुआ और राज्यसभा की कार्रवाई दो बजे तक स्थगित हो गई.

आयकर अधिकारियों ने बताया कि मंत्री की संपत्तियों पर मारे गए छापे के दौरान 7.5 करोड़ रुपए नकद बरामद किए गए. आयकर टीम उन्हें रिसॉर्ट से उनके आवास ले गई है.

बुधवार तड़के की गई छापेमारी से जुडे़ अधिकारियों ने बताया कि आयकर विभाग के अधिकारियों की एक टीम मंत्री से पूछताछ के लिए समीपवर्ती ईगलटन रिसॉर्ट पहुंची. कांग्रेस नेता रात को रिसॉर्ट में यहीं ठहरे हुए थे.

आयकर अधिकारियों ने बताया कि शिवकुमार यहां ठहरे 44 विधायकों की मेजबानी कर रहे थे. विधायकों को इसलिए यहां एक साथ रखा गया है ताकि भाजपा उन्हें अपनी पार्टी में शामिल करने की कोशिश नहीं कर पाए. जब छापे मारे गए, उस समय शिवकुमार रिसॉर्ट में ही थे.

छापेमारी की कार्रवाई पर कांग्रेस के नाराजगी के बीच आयकर विभाग ने कहा कि रिसॉर्ट पर छापा नहीं मारा गया है. उन्होंने बताया कि रिसॉर्ट में केवल मंत्री के कमरे की तलाशी ली गई और गुजरात के विधायकों के कमरों में छापा नहीं मारा गया.

विभाग ने एक बयान में कहा, छापे मारने वाले दल का विधायकों से कोई लेना देना नहीं है और विधायकों एवं तलाशी लेने वाले दल के बीच कोई संपर्क नहीं हुआ.

छापेमारी भाजपा की हताशा

गुजरात से राज्यसभा का चुनाव लड़ रहे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल ने कर्नाटक के मंत्री के ठिकानों पर छापेमारी की आलोचना करते हुए भाजपा पर राज्यसभा की एक सीट जीतने के लिए अभूतपूर्व तरीके से परेशान करने का आरोप लगाया.

गुजरात से राज्यसभा का चुनाव लड़ रहे पटेल ने कहा कि कांग्रेस मंत्री के ठिकानों पर आयकर विभाग की छापेमारी से भाजपा की निराशा और हताशा का पता चलता है.

पटेल ने ट्वीट किया, राज्य के तंत्र और अन्य एजेंसियों के इस्तेमाल के बाद आयकर विभाग की छापेमारी उनकी निराशा और हताशा को दर्शाती है.

छापे में अर्धसैनिक बलों की मदद ली

आयकर अधिकारियों ने बताया कि केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की मदद से आयकर विभाग के करीब 120 अधिकारियों का दल मंत्री और उनके परिवार के 39 ठिकानों पर छापे मार रहा है.

आयकर विभाग चुनावों में धन बल के कथित इस्तेमाल और बड़े पैमाने पर धन के अवैध लेनदेन के आरोपों की भी जांच कर रहा है. आयकर विभाग ने कहा कि छापे मारने के समय के बारे में पहले की निर्णय ले लिया गया था.

विभाग ने एक बयान में कहा, यह तलाशी उस जांच के संबंध में की गई है जो काफी समय से जारी है. तलाशी लिए जाने के समय के संबंध में पहले की निर्णय ले लिया गया था. बयान में कहा गया है, किसी अन्य राज्य के विधायकों के कर्नाटक लाए जाने संबंधी कार्यक्रम अप्रत्याशित थे.

इस कार्रवाई को सबूत एकत्र करने की कवायद करार दिया गया है. यह छापेमारी आयकर विभाग की कर्नाटक जांच शाखा ने की थी.

आयकर विभाग ने कहा, आयकर कानून की धारा 132 के तहत ली गई यह तलाशी सबूत एकत्र करने की कवायद है जो सभी वैधानिक आवश्यकताओं के अनुरूप की जा रही है.

पार्टी छोड़ने वाले कांग्रेसी भाजपा में शामिल

कांग्रेस की गुजरात इकाई के छह विधायकों के पार्टी छोड़ने के बाद अन्य पार्टी विधायकों को यहां लाया गया. गौरतलब है कि पिछले कुछ दिनों में गुजरात के 57 में से छह कांग्रेस विधायकों ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया, जहां से वरिष्ठ पार्टी नेता अहमद पटेल चुनाव लड़ रहे हैं.

इनमें से तीन शुक्रवार को भाजपा में शामिल हो गए. पार्टी को आशंका है कि अधिक विधायकों के दल बदलने से पटेल की जीत की संभावनाओं पर असर पड़ेगा.

आवाज दबाने का प्रयास

कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्दारमैया ने कहा, आयकर का छापा भाजपा के खिलाफ उठी आवाज को दबाने का एक प्रयास है, हम दबाव में नहीं आएंगे. कांग्रेस प्रवक्ता शक्ति सिंह गोहिल ने कहा, आयकर विभाग का छापा गुजरात के विधायकों को डराने का प्रयास है.

शक्ति सिंह गोहिल ने रिसॉर्ट में छापे के दौरान एक सीआरपीएफ जवान का वीडियो भी शेयर किया. गोहिल ने ट्वीट किया, धमकी, छापा और हमला हमें हमारी आत्मा बेचने को मजबूर नहीं कर सकता. हम महात्मा गांधी के गुजरात से हैं. हम अहिंसक ढंग से लड़ेंगे.

छापे के विरोध में संसद में हंगामा

कांग्रेस ने कर्नाटक के मंत्री के ठिकानों पर आयकर विभाग की कार्रवाई को गुजरात से राज्यसभा चुनाव से जोड़ते हुए केंद्र सरकार पर सरकारी एजेंसियों के दुरुपयोग का और विपक्षी विधायकों को डराने, धमकाने का आरोप लगाया. हालांकि, सरकार ने इन आरोपों को पूरी तरह खारिज करते हुए कहा कि इन तलाशियों का गुजरात चुनाव या विधायकों से कोई लेना देना नहीं है और यह आर्थिक अपराध से संबंधित कार्रवाई है.

सरकार के जवाब से असंतुष्ट कांग्रेस सदस्यों ने कुछ समय आसन के समीप आकर नारेबाजी की और कुछ देर सदन से वाकआउट किया. लोकसभा में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने शून्यकाल में आरोप लगाया कि सरकार राजनीतिक फायदे के लिए केंद्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग कर रही है.

लोकतंत्र में कोई पार्टी नहीं बचेगी

मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि कांग्रेस के एक राज्यसभा सदस्य को जीतने से रोकने के लिए सरकार गुजरात के कांग्रेस विधायकों को डराने, धमकाने का प्रयास कर रही है और उन्होंने पांच सदस्यों को भी इसी तरह दल बदलने के लिए विवश किया है.

उन्होंने कहा कि इसलिए गुजरात के 42 कांग्रेस विधायकों को बेंगलूरु के एक रिसॉर्ट में सुरक्षित रखा गया लेकिन सरकार ने बुधवार सुबह आयकर विभाग के अधिकारियों को रिसॉर्ट में भेजकर विधायकों को डराने, धमकाने का प्रयास किया है.

खड़गे ने कहा कि कर्नाटक के कांग्रेस नेताओं पर भी छापेमारी की कार्रवाई की गई है. भाजपा की ओर से प्रतिशोध की राजनीति ऐसे ही चलती रही तो लोकतंत्र में कोई राजनीतिक पार्टी नहीं बचेगी.

कार्रवाई को आर्थिक अपराध से जोड़कर देखें

कांग्रेस के आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि शायद विपक्षी सदस्यों को पूरी जानकारी नहीं है. उन्होंने कहा कि मैंने स्वयं विभाग से जानकारी ली है और उनका सत्यापन किया है.

जेटली ने कहा कि आयकर विभाग के अधिकारियों ने किसी रिसॉर्ट पर गुजरात के किसी विधायक पर कोई तलाशी की कार्रवाई नहीं की है और ना ही उनसे किसी तरह की पूछताछ की गई है. इस कार्रवाई को कांग्रेस के लोग गुजरात चुनाव से नहीं जोड़ें बल्कि इसे आर्थकि अपराध से जोड़कर देखा जाए.

उन्होंने बताया कि आयकर विभाग ने कर्नाटक सरकार के एक मंत्री और उनके सहयोगियों पर कार्वाई की है और आज 39 ठिकानों पर अधिकारी इस तलाशी अभियान को चला रहे हैं.

वित्त मंत्री के अनुसार जब कांग्रेस सरकार के मंत्री को आयकर विभाग के छापे का पता चला तो वह उस रिसॉर्ट में चले गए. उन्होंने बताया कि आयकर विभाग के अधिकारियों के लिए मंत्री से बयान लेने के लिए उनसे संपर्क जरूरी था, इसलिए अधिकारी रिसॉर्ट पर गए और वहां से मंत्री को उनके घर पूछताछ के लिए लेकर आए. गुजरात के किसी विधायक से कोई पूछताछ नहीं की गई.

जेटली ने बताया कि जब अधिकारी रिसॉर्ट में पहुंचे तो कांग्रेस के संबंधित नेता कागजों को फाड़ रहे थे और अधिकारियों ने फटे हुए कागजों को ही लेकर पंचनामे में शामिल किया है.

‘ऐसे डराओ, धमकाओ मत’

कांग्रेस नेता खड़गे ने सरकार से कहा कि एक राज्यसभा के सदस्य को हराने के लिए इस तरह की कोशिशों में भाजपा कामयाब नहीं होगी. खड़गे ने सत्तारूढ़ पार्टी के लिए कहा, ऐसे डराओ, धमकाओ मत. नहीं तो आपको भी ऐसा ही भुगतना होगा.

वित्त मंत्री के जवाब पर असंतोष जताते हुए कांग्रेस के सदस्य आसन के समीप आकर नारेबाजी करने लगे. नारेबाजी कर रहे कांग्रेस सदस्यों से अपनी सीटों पर जाने का आग्रह करते हुए लोकसभा अध्यक्ष ने कहा कि मंत्री के स्पष्टीकरण के बाद आपको अब यह रवैया नहीं अपनाना चाहिए.

सोनिया, राहुल जवाब दें

शून्यकाल के दौरान ही कांग्रेस नेता मल्लकार्जुन खडगे ने कहा कि इस तरह से सत्ता पक्ष की ओर से इस तरह से राजनीतिक बदले की कार्रवाई ठीक नहीं है. हम सरकार के रुख से खिलाफ सदन से चले जाते हैं.

इस बीच, संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने कहा कि खड़गे जी हम पर अनाप शनाप के आरोप लगा रहे हैं. कर्नाटक के एक मंत्री के खिलाफ कालाधन के मामले में छापा मारा जा रहा है. अगर वहां गुजरात के विधायक छिपे हैं, तो यह समझना चाहिए कि गुजरात में लोग बाढ़ से त्राहि त्राहि कर रहे हैं और कांग्रेस के विधायक कर्नाटक में रिसॉर्ट में मौज मस्ती कर रहे हैं. सोनिया गांधी, राहुल गांधी को स्पष्टीकरण देना चाहिए.

खरीद-फरोख्त से पटेल की राह मुश्किल

खबरों के मुताबिक, कांग्रेस को आशंका है कि गुजरात में कुछ विधायकों के भाजपा के पाले में जाने के बाद पार्टी के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल का पुन: उच्च सदन में पहुंचना मुश्किल हो सकता है. इसलिए उसके विधायकों को कर्नाटक के रिसॉर्ट में ले जाया गया है. अहमद पटेल को 10 जनपथ का करीबी माना जाता है.

राज्यसभा स्थगित हुई

कर्नाटक के मंत्री के ठिकानों पर छापों को लेकर राज्यसभा में कांग्रेस ने हंगामा किया जिससे भोजनावकाश के पहले सदन की कार्यवाही बाधित हुई और दो बार के स्थगन के बाद बैठक दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई.

कांग्रेस सदस्यों का आरोप था कि केंद्र सरकार केंद्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग कर रही है और आयकर छापे का समय तथा जगह बताती है कि यह सब टॉरगेटेड है. कांग्रेस सदस्यों ने कहा कि उनकी पार्टी के गुजरात के विधायक जिस रिसॉर्ट में रुके हैं, वहां भी छापे मारे गए हैं.

उच्च सदन की सुबह बैठक शुरू होने पर कांग्रेस के उप-नेता आनंद शर्मा ने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार आयकर, प्रवर्तन निदेशालय और सीबीआई जैसी एजेंसियों को अनुचित तरह से उपयोग कर रही है. उन्होंने कहा कि छापेमारी की जगह और समय संयोग नहीं है.

‘यह चुनाव न तो स्वतंत्र है और न निष्पक्ष’

सदन में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा कि कोई भी चुनाव हों वे स्वतंत्र और निष्पक्ष होने चाहिए, लेकिन इस बार राज्यसभा के चुनाव में ऐसा नहीं हो रहा है. यह चुनाव न तो स्वतंत्र है और न निष्पक्ष ही है. इसके साथ ही डर और भय का माहौल भी है.

उन्होंने कहा कि इस छापे का सीधा संबंध गुजरात राज्यसभा चुनाव से है. आजाद ने कहा कि भय का माहौल पश्चिम से दक्षिण तक पहुंच गया है. उन्होंने छापे के समय पर सवाल खडे करते हुए कहा कि यह पहले भी हो सकता था या बाद में भी हो सकता था.

भाजपा ने बांटे 15 करोड़ रुपये

गुलाम नबी आजाद ने सरकार पर आरोप लगाया कि 15 करोड़ रुपये आपकी पार्टी के लोग बांट रहे थे और छापा वहां मारा जाना चाहिए. आजाद ने कहा कि चुनाव में सिर्फ तीन दिन रह गए हैं और केंद्र की एजेंसियों का इस्तेमाल किया जा रहा है. इसी दौरान कांग्रेस के सदस्य आसन के समीप आ गए और सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगे.

उधर सत्तारूढ भाजपा के भी कुछ सदस्य अपने स्थानों से आगे आ गए. उपसभापति पीजे कुरियन ने हंगामा कर रहे सदस्यों से अपनी सीटों पर जाने और शून्यकाल चलने देने की अपील की. सदन में हंगामा थमते नहीं देख कुरियन ने 11 बजकर 27 मिनट पर बैठक दस मिनट के लिए स्थगित कर दी.

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव पटेल गुजरात से एक बार फिर राज्यसभा के लिए चुनावी मैदान में हैं, जहां आठ अगस्त को चुनाव होना है.

कुछ दिनों पहले वरिष्ठ कांग्रेस नेता शंकर सिंह वाघेला के पार्टी से इस्तीफे के बाद से अब तक छह कांग्रेस विधायक पार्टी छोड़ चुके है. इसके बाद ही उन्हें बेंगलुरु के रिसॉर्ट में ठहराया गया है.

(समाचार एजेंसियों से इनपुट के साथ)