उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद ज़िले के कांठ कस्बे का मामला. प्रदेश में बीते 28 नवंबर को धर्मांतरण विरोध क़ानून लागू होने के बाद ऐसे कई केस दर्ज किए गए हैं. तीन दिसंबर को अलीगढ़ शहर में अंतर धार्मिक विवाह के लिए रजिस्ट्रेशन कराने जा रहे एक मुस्लिम युवक को गिरफ्तार किया गया था.
मुरादाबाद: मुरादाबाद में पुलिस ने धर्म-परिवर्तन से संबंधित उत्तर प्रदेश में लागू किए गए नए कानून के तहत एक मुसलमान युवक और उसके भाई को गिरफ्तार किया है. युवक हिंदू युवती के साथ किए गए विवाह को रजिस्ट्रार कार्यालय में दर्ज कराने पहुंचा था.
घटना का एक वीडियो सामने आया है जिसमें कथित तौर पर बजरंग दल के कार्यकर्ता युवक-युवती से पूछ रहे हैं कि क्या युवती ने धर्म-परिवर्तन के अपने इरादे को लेकर स्थानीय जिलाधिकारी को अवगत कराया है? जो कि नए कानून के मुताबिक आवश्यक है.
This happened in Moradabad, UP.
5 Months ago,a Hindu girl,22, married a Muslim boy Rashid with her consent, Bajrang Dal members brought girl to police station.
Moradabad Police filed case against Rashid and his brother. pic.twitter.com/jczR8RCOk3
— Md Asif Khan (@imMAK02) December 6, 2020
कांठ पुलिस थाने के एसएचओ अजय गौतम ने कहा कि युवती के परिजनों की शिकायत के आधार पर शुक्रवार को दो लोगों को गिरफ्तार किया गया.
जानकारी के मुताबिक, मुरादाबाद के 22 वर्षीय युवक राशिद अली की 22 वर्षीय पिंकी से उत्तराखंड में मुलाकात हुई थी, जो कि बिजनौर की हैं. राशिद के 25 वर्षीय भाई सलीम अली को भी गिरफ्तार किया गया है.
बजरंग दल के कार्यकर्ताओं द्वारा सूचित किए जाने पर पुलिस रजिस्ट्रार कार्यालय पहुंची थी. दोनों युवकों को गिरफ्तार कर मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया, जहां से दोनों को जेल भेज दिया गया.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, युवती ने कहा कि वह बालिग है और उसने अपनी इच्छा से कुछ महीने पहले युवक से विवाह किया था. वहीं, परिवार का आरोप है कि शादी करके उसका जबरन धर्मांतरण करवा दिया गया. हालांकि, तत्काल यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि उसने अपना धर्म परिवर्तन किया है अथवा नहीं.
रविवार को मीडियाकर्मियों के साथ बात करते हुए युवती ने कहा, ‘मेरा नाम पिंकी है और मैं बिजनौर से हूं. मेरी शादी 24 जुलाई को राशिद से हुई. हमारी शादी हुए पांच महीने हो गए हैं. मैं तब से मुरादाबाद के कांठ में रह रही हूं. मैं एक वयस्क हूं. मैंने अपनी इच्छा के अनुसार राशिद से शादी की.’
वहीं, पुलिस का कहना है कि उनकी शादी की योजना के बारे में पता चलने पर परिवार बिजनौर से कांठ आए और शादी को रोक दिया.
सर्कल अधिकारी (कांठ) बलराम ने कहा, ‘युवती की मां ने आरोप लगाया है कि मुरादाबाद के कांठ के निवासी राशिद अली ने उनकी बेटी पिंकी को उसके साथ शादी करने के लिए धोखे में रखा और उससे धर्म परिवर्तन करवा रहा था.’
पुलिस में दर्ज कराई गई शिकायत के अनुसार, अधिकारी ने युवती की मां बाला देवी के हवाले से कहा, ‘मेरी बेटी से शादी करने के लिए राशिद उसे कांठ ले आया और हमने यहां उनका पीछा किया. तब हमें पता चला कि युवक मुस्लिम है. उसने अपनी पहचान छिपाई. शनिवार (सात दिसंबर) को वह मेरी बेटी से शादी करने जा रहा था और उसे बुर्का पहनाने वाला था.’
सर्कल अधिकारी ने कहा कि युवक-युवती ने पुलिस को बताया कि वे शादी करने जा रहे थे और युवती धर्म परिवर्तन करवाने वाली थी.
उन्होंने आगे कहा, ‘कुछ लोगों और परिवार के सदस्यों ने युवती को पहचान लिया और शादी रुकवा दी. दोनों हरिद्वार में काम करते थे और ऐसे ही वे मिले थे. युवती के परिवार को किसी तरह से शादी के बारे में पता चल गया और वे बिजनौर से मुरादाबाद आ गए.’
बता दें कि बीते 24 नवंबर को उत्तर प्रदेश सरकार तथाकथित ‘लव जिहाद’ को रोकने के लिए शादी के लिए धर्म परिवर्तन पर लगाम लगाने के लिए ‘उत्तर प्रदेश विधि विरूद्ध धर्म संपविर्तन प्रतिषेध अध्यादेश, 2020’ ले आई थी.
इसमें विवाह के लिए छल-कपट, प्रलोभन देने या बलपूर्वक धर्मांतरण कराए जाने पर विभिन्न श्रेणियों के तहत अधिकतम 10 वर्ष कारावास और 50 हजार तक जुर्माने का प्रावधान किया गया है. उत्तर प्रदेश पहला ऐसा राज्य है, जहां लव जिहाद को लेकर इस तरह का कानून लाया गया है.
प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने 28 नवंबर को इस अध्यादेश को मंजूरी दी थी. इसी दिन एक युवती के पिता की शिकायत पर बरेली जिले में नए धर्मांतरण विरोधी कानून के तहत अपना पहला मामला दर्ज किया गया था. हालांकि इस मामले में यह भी आरोप लगा है कि पुलिस के दबाव में आकर यह केस दर्ज कराया गया था.
इसके बाद बीते 3 दिसंबर को अलीगढ़ शहर में अंतर धार्मिक विवाह के लिए रजिस्ट्रेशन कराने जा रहे एक युवक को पीटने का मामला सामने आया था.
पुलिस के मुताबिक, पीड़ित युवक अलीगढ़ के रहने वाले हैं और पंजाब के मोहाली शहर में काम करते हैं. यहां उनकी एक लड़की से मुलाकात हुई थी, जो कि नाबालिग हैं. दोनों बीते 3 दिसंबर को विशेष विवाह अधिनियम के तहत अलीगढ़ के जिला न्यायालय में अपनी शादी का रजिस्ट्रेशन कराने आए थे.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)