टीकाकरण प्रमाण पत्र पर पीएम की तस्वीर पर चुनाव आयोग ने स्वास्थ्य मंत्रालय से जवाब मांगा

पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने चुनाव आयोग को दी गई शिकायत में आरोप लगाया था कि पश्चिम बंगाल और अन्य चुनावी राज्यों में को-विन प्लेटफॉर्म के ज़रिये प्राप्त किए जाने वाले कोविड-19 टीकाकरण प्रमाण-पत्र पर प्रधानमंत्री मोदी की तस्वीर होना आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है.

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The Prime Minister, Shri Narendra Modi took his first dose of the COVID-19 vaccine, at AIIMS, in New Delhi on March 01, 2021.

पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने चुनाव आयोग को दी गई शिकायत में आरोप लगाया था कि पश्चिम बंगाल और अन्य चुनावी राज्यों में को-विन प्लेटफॉर्म के ज़रिये प्राप्त किए जाने वाले कोविड-19 टीकाकरण प्रमाण पत्र पर प्रधानमंत्री मोदी की तस्वीर होना आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है.

The Prime Minister, Shri Narendra Modi took his first dose of the COVID-19 vaccine, at AIIMS, in New Delhi on March 01, 2021.
बीते एक मार्च को नई दिल्ली स्थित एम्स में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कोविड-19 टीके की पहली खुराक ली. (फोटो साभार: पीआईबी)

नई दिल्ली: कोविड-19 टीकाकरण प्रमाण पत्र पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर को लेकर तृणमूल कांग्रेस ने भारतीय चुनाव आयोग से आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत दर्ज कराई थी. चुनाव आयोग ने प्रधानमंत्री की तस्वीर के इस्तेमाल को लेकर स्वास्थ्य मंत्रालय से जवाब मांगा है.

तृणमूल कांग्रेस ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि कोविड-19 टीकाकरण प्रमाण-पत्र पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर होना चुनावी आचार संहिता का उल्लंघन है.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, चुनाव आयोग के एक अधिकारी ने नाम न बताने की शर्त पर कहा, ‘हम पहले तथ्यों का पता लगाना चाहते हैं. जैसे क्या ये प्रमाण पत्र वास्तव में स्वास्थ्य मंत्रालय के निर्देशों पर जारी किए गए हैं. इस तरह की शिकायतों में हम हमेशा संबंधित पक्षों से जवाब मांगते हैं.’

चुनाव आयोग ने इस संबंध में पश्चिम बंगाल के मुख्य निर्वाचन अधिकारी से भी रिपोर्ट मांगी है.

आयोग के पदाधिकारी ने बृहस्पतिवार को बताया कि राज्य निर्वाचन कार्यालय से तृणमूल कांग्रेस की शिकायत का सत्यापन करके रिपोर्ट देने को कहा गया है. उन्होंने बताया कि निर्वाचन कार्यालय की रिपोर्ट के आधार पर ही चुनाव आयोग आगे की कार्रवाई करेगा.

पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने मंगलवार को चुनाव आयोग को दी गई शिकायत में आरोप लगाया था कि पश्चिम बंगाल और अन्य चुनावी राज्यों में को-विन प्लेटफॉर्म के जरिये प्राप्त किए जाने वाले कोविड-19 टीकाकरण प्रमाण-पत्र पर प्रधानमंत्री मोदी की तस्वीर होना आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है.

पार्टी ने तस्वीर को प्रधानमंत्री द्वारा अधिकार का दुरुपयोग करार दिया है.

बीते तीन मार्च को कोलकाता में चुनाव अधिकारियों के साथ बैठके बाद पश्चिम बंगाल के मंत्री फिरहाद हाकिम ने पत्रकारों से कहा था, ‘इस विधानसभा चुनाव के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भाजपा के स्टार प्रचारक हैं. एक राजनेता के तौर पर वह रैलियों के दौरान अपनी पार्टी के लिए समर्थन मांग रहे हैं. ऐसी स्थिति में टीकाकरण प्रमाण पत्रों पर उनकी तस्वीर मतदाताओं को प्रभावित करने के समान है और आचार संहिता का उल्लंघन करती है.’

इस आरोपों को आधारहीन करार देते हुए भाजपा के पश्चिम बंगाल अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा कि टीकाकरण अभियान मतदान की तारीखों की घोषणा से पहले शुरू हुआ है.

घोष ने कहा, ‘अगर सरकार चुनाव की घोषणा से पहले कोई परियोजना शुरू करती है तो यह उसी तरह जारी रह सकता है. पेट्रोल पंपों पर केंद्र की कल्याणकारी योजनाओं का प्रचार से संबंधित होर्डिंग लगाए गए हैं. ये सब निजी जमीन पर लगाए गए हैं.’

इससे पहले आयोग ने बीते तीन मार्च को सभी पेट्रोल पंप डीलरों एवं अन्य एजेंसियों को 72 घंटे के भीतर अपने परिसर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर वाले केंद्रीय योजनाओं के होर्डिंग हटाने का निर्देश दिया.

पश्चिम बंगाल में मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) कार्यालय के एक अधिकारी ने कहा था कि ऐसे होर्डिंग में प्रधानमंत्री की तस्वीर का इस्तेमाल करना आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है.

इससे पहले दिन में तृणमूल कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने निर्वाचन आयोग के अधिकारियों से मुलाकात की और आरोप लगाया था कि लोगों को केंद्रीय योजनाओं की जानकारी देने के लिए लगाए गए होर्डिंग में प्रधानमंत्री की तस्वीर का उपयोग करना आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है.

चुनाव आयोग द्वारा बीते 26 फरवरी को पश्चिम बंगाल, असम, तमिलनाडु, केरल और पुदुचेरी में विधानसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान के साथ ही आदर्श आचार संहिता लागू है.

पश्चिम बंगाल की 294 सीटों के लिए पहले चरण के तहत 27 मार्च, दूसरे चरण के तहत एक अप्रैल, तीसरे चरण के तहत छह अप्रैल, चौथे चरण के तहत 10 अप्रैल, पांचवें चरण के तहत 17 अप्रैल, छठे चरण के तहत 22 अप्रैल, सातवें चरण के तहत 26 अप्रैल और आठवें चरण के तहत 29 अप्रैल को चुनाव होंगे. नतीजे दो मई को घोषित किए जाएंगे.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)