पुलिस ने बताया कि किसान द्वारा कथित तौर पर छोड़े गए सुसाइड नोट में उनके द्वारा उठाए गए इस क़दम के लिए तीन कृषि क़ानूनों को जिम्मेदार ठहराया गया है. उन्होंने इसमें यह भी कहा है कि केंद्र को इन क़ानूनों को निरस्त करके उनकी आख़िरी इच्छा पूरी करनी चाहिए.
चंडीगढ़: हरियाणा के हिसार जिले के एक किसान ने रविवार को टिकरी बॉर्डर विरोध स्थल से लगभग सात किलोमीटर दूर एक पेड़ से फंदा लगाकर कथित तौर पर आत्महत्या कर ली.
पुलिस ने बताया कि केंद्र के नए कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन का समर्थन करने वाले 49 वर्षीय किसान ने कथित तौर पर एक सुसाइड नोट छोड़ा है.
बहादुरगढ़ शहर पुलिस थाने के एसएचओ विजय कुमार ने फोन पर बताया, ‘पीड़ित राजबीर हिसार जिले के एक गांव का रहने वाला था.’
कुछ किसानों ने उनका शव फंदे से लटकते हुए देखा और इसकी सूचना पुलिस को दी.
पुलिस ने बताया कि राजबीर द्वारा कथित तौर पर छोड़े गए सुसाइड नोट में उल्लेख किया गया है कि उसके द्वारा उठाए गए इस कदम के लिए तीन कृषि कानून जिम्मेदार हैं. उन्होंने (राजबीर) इसमें यह भी कहा है कि केंद्र को इन कानूनों को निरस्त करके उसकी आखिरी इच्छा को पूरा करना चाहिए.
बीते साल नवंबर के आखिरी सप्ताह से दिल्ली की सीमाओं- सिंघू, टिकरी और गाजीपुर पर लगातार किसानों की आत्महत्या की खबरें आ रही हैं.
मामलू हो कि इससे पहले गाजीपुर में उत्तर प्रदेश-दिल्ली सीमा पर केंद्र के नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे 75 साल के एक किसान ने बीते दो जनवरी को कथित रूप से फांसी लगा ली थी. उनकी पहचान उत्तर प्रदेश के रामपुर जिले में बिलासपुर निवासी सरदार कश्मीर सिंह के रूप में हुई थी.
इससे पहले बीते साल 28 दिसंबर को दिल्ली के टिकरी बॉर्डर पर आंदोलन स्थल से कुछ दूरी पर पंजाब के एक वकील ने कथित तौर पर जहर खाकर आत्महत्या कर ली थी. उनकी पहचान पंजाब के फाजिल्का जिले के जलालाबाद निवासी अमरजीत सिंह के रूप में हुई थी.
अमरजीत सिंह टिकरी बॉर्डर पर भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) उगराहां से जुड़े किसानों के साथ आंदोलन में शामिल थे.
सबसे पहले बीते 16 दिसंबर 2020 को हरियाणा के करनाल जिले के रहने वाले 65 वर्षीय एक सिख संत बाबा राम सिंह ने कुंडली बॉर्डर पर खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली थी.
केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन का समर्थन करने वाले हरियाणा में जींद के रहने वाले एक किसान ने पिछले महीने टिकरी बॉर्डर विरोध स्थल से मात्र दो किलोमीटर दूर एक पेड़ से फंदा लगाकर कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी.
इससे पहले हरियाणा के एक और किसान ने टिकरी बॉर्डर पर कथित तौर पर जहरीला पदार्थ खा लिया था. उसकी बाद में दिल्ली के एक अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई थी.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)