चारा घोटाले संबंधी मामले में चालीस महीने से जेल में बंद लालू प्रसाद यादव की रिहाई का आदेश

सीबीआई की विशेष अदालत ने चारा घोटाले के तीन विभिन्न मामलों में दिसंबर 2017 से जेल में बंद राजद प्रमुख व बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को न्यायिक हिरासत से रिहा करने का आदेश दिया है. 73 वर्षीय लालू यादव वर्तमान में दिल्ली के एम्स में भर्ती हैं.

/
जनवरी 2021 में रांची के रिम्स में लालू यादव. (फोटो: पीटीआई)

सीबीआई की विशेष अदालत ने चारा घोटाले के तीन विभिन्न मामलों में दिसंबर 2017 से जेल में बंद राजद प्रमुख व बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को न्यायिक हिरासत से रिहा करने का आदेश दिया है. 73 वर्षीय लालू यादव वर्तमान में दिल्ली के एम्स में भर्ती हैं.

जनवरी 2021 में रांची के रिम्स में लालू यादव. (फोटो: पीटीआई)
जनवरी 2021 में रांची के रिम्स में लालू यादव. (फोटो: पीटीआई)

रांची: चारा घोटाले के तीन विभिन्न मामलों में सजा पाने के बाद 23 दिसंबर, 2017 से जेल में बंद राष्ट्रीय जनता दल के मुखिया एवं बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को सीबीआई की विशेष अदालत ने गुरुवार शाम न्यायिक हिरासत से रिहा करने का आदेश दिया.

जमानत बॉन्ड और एक-एक लाख रुपये मूल्य के दो निजी मुचलके यहां केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की विशेष अदालत में प्रस्तुत किए गए जिसने लालू की रिहाई के आदेश दिए .

यद्यपि लालू अभी भी दिल्ली के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान(एम्स) में इलाजरत हैं इसलिए अस्पताल से उनकी छुट्टी के बारे में अब एम्स प्रशासन को निर्णय लेना है.

झारखंड के कारागार महानिरीक्षक वीरेंद्र भूषण ने बताया कि विशेष सीबीआई अदालत के रिहाई के आदेश के बाद गुरुवार शाम तक लालू यादव को न्यायिक हिरासत से रिहा कर दिया गया.

उन्होंने बताया कि लालू की रिहाई के आदेश की प्रति रांची स्थित बिरसा मुंडा जेल के अधिकारियों ने गुरुवार को नई दिल्ली स्थित एम्स के निदेशक एवं वहां के अन्य अधिकारियों को मेल कर दिए हैं तथा वहां स्थित सुरक्षा अधिकारियों को भी इसकी सूचना दे दी गई.

भारतीय विधिज्ञ परिषद् ने बुधवार को जारी अपने निर्देश में कहा था कि अदालतों से जमानत पाने के बाद भी न्यायिक हिरासत में किसी कैदी का बंद रहना न्याय विरुद्ध है. लिहाजा उसने देश की सभी विधिज्ञ परिषदों को निर्देश दिया था कि वह जमानत प्राप्त लोगों की रिहाई की प्रक्रिया पूरी करने की अधिवक्ताओं को अनुमति दें जिससे ऐसे लोगों की रिहाई सुनिश्चित कराई जा सके.

परिषद् के इस दिशा निर्देश के बाद राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद समेत जेल में बंद सैकड़ों लोगों को आज राहत मिली.

चारा घोटाले के दुमका कोषागार से गबन के मामले में 17 अप्रैल को झारखंड उच्च न्यायालय से जमानत मिलने के बावजूद राष्ट्रीय जनता दल के मुखिया बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव अब तक न्यायिक हिरासत से रिहा नहीं हो सके थे क्योंकि झारखंड राज्य अधिवक्ता परिषद झारखंड स्टेट बार काउंसिल ने राज्य में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए पूरे राज्य के अधिवक्ताओं को दो मई तक सभी प्रकार के न्यायिक कार्यों से दूर रहने का निर्देश जारी किया था, जिसके चलते सीबीआई की विशेष अदालत से जमानत बॉन्ड भरने और लालू की रिहाई के आदेश निर्गत करने आदि की कार्यवाही पूरी नहीं की जा सकी थी.

लालू प्रसाद यादव 23 दिसंबर, 2017 को देवघर कोषागार से लगभग 89 लाख रुपये की राशि के गबन के आरोप में यहां सीबीआई की विशेष अदालत द्वारा दोषी ठहराये जाने के बाद से जेल में थे. चारा घोटाले के अन्य तीन मामलों में उन्हें पहले ही जमानत मिल चुकी है.

यह मामला 1991 और 1996 के बीच पशुपालन विभाग के अधिकारियों द्वारा दुमका कोषागार से 3.5 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी से संबंधित था, उस वक्त लालू यादव बिहार के मुख्यमंत्री थे.

ट्रायल कोर्ट ने लालू यादव को आईपीसी और भष्ट्राचार निरोधक अधिनियम की धारा 120बी (आपराधिक साजिश), 420 (धोखाधड़ी), 409 (लोक सेवक द्वारा विश्वास का आपराधिक उल्लंघन, या फिर बैंकर, व्यापारी या एजेंट द्वारा), 467 (मूल्यवान प्रतिभूति, वसीयत आदि की जालसाजी), 468 (धोखाधड़ी के उद्देश्य के लिए जालसाजी), 471 (दस्तावेज या अभिलेख का असली के रूप में उपयोग में लाना) के तहत दोषी ठहराया गया था और सात साल की सजा सुनाई थी.

झारखंड उच्च न्यायालय में सत्रह अप्रैल को सीबीआई की ओर से केंद्र सरकार के अतिरिक्त महाधिवक्ता राजीव सिन्हा ने लालू यादव को फिलहाल जमानत देने का यह कहकर विरोध किया था कि दुमका कोषागार मामले में लालू को सीबीआई की अदालत ने कुल चौदह वर्ष की जेल की सजा सुनाई है लिहाजा जमानत के लिए आधी सजा पूरी करने का आधार तभी माना जायेगा, जब लालू इस मामले में न्यायिक हिरासत में सात वर्ष की अवधि पूरी कर लेंगे.

लेकिन लालू के लिए दिल्ली से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने सीबीआई की इस दलील का विरोध किया।

उन्होंने कहा कि 19 फरवरी को लालू यादव की इस मामले में दाखिल पहली जमानत याचिका को खारिज करते हुए उच्च न्यायालय ने स्वयं माना था कि लालू को जमानत देने के लिए सिर्फ एक माह, 17 दिनों की न्यायिक हिरासत की अवधि और पूरी करनी है.

सिब्बल ने कहा कि लालू ने दुमका मामले में तय सात वर्ष की कैद की सजा की आधी अवधि छह अप्रैल को ही पूरी कर ली है.

जस्टिस अपरेश कुमार सिंह ने भी इस मामले में सीबीआई की दलील को खारिज कर दिया था और कहा था कि लालू को इस मामले में सीबीआई अदालत से भारतीय दंड संहिता के तहत मिली सात वर्ष की कैद की सजा एवं भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मिली सात वर्ष की कैद की सजा एक साथ भुगतनी है अथवा एक के बाद एक भुगतनी है, इस मुद्दे पर अपील पर सुनवाई के दौरान बहस की जा सकेगी.

पीठ ने यह भी कहा था कि 19 फरवरी के न्यायालय के आदेश को सीबीआई ने सर्वोच्च न्यायालय में चुनौती भी नहीं दी है लिहाजा अब तक की परंपरा के अनुसार चारा घोटाले के किसी मामले में सजा की आधी अवधि न्यायिक हिरासत में पूरी कर लेने के चलते लालू को दुमका कोषागार से गबन के मामले में जमानत दी जाती है.

न्यायालय ने जमानत आदेश में लालू की 73 वर्ष की उम्र एवं बीमारियों का भी जिक्र किया. अदालत ने लालू यादव को जमानत के लिए दुमका मामले में जुर्माने की साठ लाख रुपये की राशि में से दस लाख रुपये की रकम निचली अदालत में जमा करवाने और एक-एक लाख रुपये के दो निजी मुचलके देने के भी निर्देश दिए थे.

लालू यादव के खिलाफ डोरंडा कोषागार से गबन के एक अन्य मामले में अभी सीबीआई की विशेष अदालत में रांची में बहस जारी है और इस मामले में फैसला आना अभी बाकी है.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)

pkv games bandarqq dominoqq pkv games parlay judi bola bandarqq pkv games slot77 poker qq dominoqq slot depo 5k slot depo 10k bonus new member judi bola euro ayahqq bandarqq poker qq pkv games poker qq dominoqq bandarqq bandarqq dominoqq pkv games poker qq slot77 sakong pkv games bandarqq gaple dominoqq slot77 slot depo 5k pkv games bandarqq dominoqq depo 25 bonus 25 bandarqq dominoqq pkv games slot depo 10k depo 50 bonus 50 pkv games bandarqq dominoqq slot77 pkv games bandarqq dominoqq slot bonus 100 slot depo 5k pkv games poker qq bandarqq dominoqq depo 50 bonus 50 pkv games bandarqq dominoqq