राजस्थान के जोधपुर में गर्भवती महिला की आपातकाल सर्जरी के दौरान दो डॉक्टरों के बीच तीखी बहस हो गई, इसके चलते एक नवजात बच्चे की मौत हो गई.
राजस्थान के जोधपुर में स्थित उम्मेद अस्पताल में ऑपरेशन के दौरान दो डॉक्टरों की बहस का एक वीडियो सामने आया है. दरअसल मंगलवार को एक गर्भवती महिला का ऑपरेशन चल रहा था. उसी दौरान दोनों डॉक्टरों में तीखी बहस हो गई, जिसके चलते जन्मे बच्चे की मौत हो गई.
#WATCH Rajasthan: Verbal spat between two doctors in OT during the surgery of a pregnant woman in Jodhpur's Umaid Hospital (29.8.17) pic.twitter.com/eZfHHISQGB
— ANI (@ANI) August 30, 2017
समाचार न्यूज़ एजेंसी एएनआई के अनुसार अस्पताल के प्रिंसिपल एएल भट का कहना है कि फिलहाल दोनों डॉक्टरों को निलंबित कर दिया गया है.
Both doctors have been removed immediately and disciplinary action will be taken against them: AL Bhat, Principal #Jodhpur pic.twitter.com/zJ8McUVoIG
— ANI (@ANI) August 30, 2017
उम्मेद अस्पताल के अधीक्षक का कहना है, ‘जब महिला को आपात स्थिति में भर्ती कराया गया था, तब उनकी दिल की धड़कन भी कम थी. फिर भी नवजात की मौत के कारण की जांच होगी.’
When woman was admitted fetus was in distress,had low heartbeat, still will probe reason for newborn's death: Superintendent, Umaid Hospital
— ANI (@ANI) August 30, 2017
एनडीटीवी की ख़बर के अनुसार, राजस्थान हाईकोर्ट ने मामले पर संज्ञान लेते हुए रिपोर्ट की मांग की है. दोनों डॉक्टरों के झगड़े का वीडियो वहीं मौज़ूद एक कर्मचारी ने अपने फ़ोन में रिकॉर्ड कर लिया था.
दिल की धड़कन कमजोर होने के चलते महिला की आपातकालीन सर्जरी की गई. जिसके दौरान दो डॉक्टरों ऑब्सटेट्रीशियन डॉ अशोक नानीवाल और एनेस्थेटिस्ट डॉ एमएल टाक के बीच विवाद हो गया.
डॉ नानीवाल ने अन्य ऑब्सटेट्रीशियनों से पूछा कि मरीज़ ने ऑपरेशन से पहले क्या खाया था. डॉ टाक ने जूनियर डॉक्टर से इसका परीक्षण कराना चाहा, जिस पर डॉ नानीवाल सहमत नहीं थे.
हिंदुस्तान टाइम्स की ख़बर के अनुसार राज्य के चिकित्सा शिक्षा विभाग ने मगंलवार को डॉ नानीवाल को सहायक प्रोफेसर पद से बर्ख़ास्त कर दिया है और उन्हें मेडिकल और स्वास्थ्य विभाग में मेडिकल ऑफिसर (एमओ) पद पर वापस नियुक्त कर दिया गया है.
झगड़ा करने वाले दूसरे डॉक्टर, डॉ टाक के खिलाफ़ अस्पताल ने डीओपी को शिकायत की है.
प्रिंसिपल भट कहते हैं ‘डॉ नानीवाल को अस्थायी आधार पर सहायक प्रोफेसर नियुक्त किया गया था. चिकित्सा शिक्षा विभाग को ऐसी नियुक्तियों को समाप्त करने की शक्ति है. डॉ टाक, जो एक वरिष्ठ प्रोफेसर हैं, उनपर कार्रवाई डीओपी द्वारा की जाएगी.’
अस्पताल की अधीक्षक रंजना देसाई का कहना है कि उन्होंने ऑपरेशन थिएटर में मौज़ूद सभी लोगों का बयान दर्ज़ कर लिया है और इसकी जांच कर के रिपोर्ट प्रिंसिपल को सौंपी जाएगी.