भारत में कोविड-19 से बचाव के लिए टीके की अब तक 103.99 करोड़ खुराक दी जा चुकी हैं. इसमें से क़रीब 77 फीसदी वयस्कों को पहली डोज़ और सिर्फ 34 फीसदी वयस्कों को ही दोनों डोज़ लग पाई है.
नई दिल्ली: केंद्र ने बीते बुधवार को राज्यों को बताया कि देश भर में लगभग 10.34 करोड़ लोगों ने निर्धारित अंतराल के बाद कोविड-19 वैक्सीन की दूसरी खुराक नहीं ली है.
कोविशील्ड की पहली और दूसरी खुराक के बीच 12 सप्ताह और कोवैक्सीन के लिए चार सप्ताह का अंतराल निर्धारित किया गया है.
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने राज्य के स्वास्थ्य मंत्रियों के साथ एक समीक्षा बैठक में इस मुद्दे को उठाया और उन्हें दूसरी खुराक के कवरेज में तेजी लाने के लिए निर्देश दिया.
बैठक में मौजूद सूत्रों ने कहा कि केंद्र ने बताया है कि पहली खुराक के बाद दूसरी खुराक नहीं लेने वाले इन 10.34 करोड़ में से 85 फीसदी ने कोविशील्ड टीका लगवाया था, जबकि बाकी ने कोवैक्सीन लिया था.
मंडाविया ने राज्यों से नवंबर महीने के अंत तक सभी पात्र लोगों को कोविड-19 वैक्सीन की पहली खुराक लगाने का भी निर्देश दिया है.
उन्होंने कहा, ‘देश में वैक्सीन की पर्याप्त खुराक उपलब्ध है. 12 करोड़ से अधिक डोज राज्यों के पास हैं, जिसका इस्तेमाल अभी तक नहीं हुआ है. कोई भी जिला पूर्ण टीकाकरण से अछूता नहीं होना चाहिए.’
मंडाविया ने टीका न लगवाने वाले लोगों की संख्या को कम करने के लिए राज्यों से सभी स्टेकहोल्डर्स के साथ क्षेत्रीय और स्थानीय स्तर की योजना बनाने के लिए कहा है. सूत्रों के मुताबिक बिहार ने केंद्र को बताया कि उसने गांवों में टीकाकरण के लिए 279 मोबाइल वैन शुरू की हैं.
सूत्रों के अनुसार, ‘इसी तरह झारखंड ने कहा कि वह घर-घर टीकाकरण के लिए आशा कार्यकर्ताओं का उपयोग कर रहा है. गुजरात ने कहा कि वह टीकाकरण की दूसरी खुराक के लिए लोगों को जुटाने के लिए पंचायती राज और राजस्व कार्यकर्ताओं का उपयोग कर रहा है.’
भारत में कोविड-19 से बचाव के लिए टीके की अब तक 103.99 करोड़ खुराक दी जा चुकी है, जिनमें से 44 लाख खुराक बीते बुधवार को दी गई. इसमें से करीब 77 फीसदी वयस्कों को पहली डोज और सिर्फ 34 फीसदी वयस्कों को ही दोनों डोज लग पाई है.
गुजरात (53%), कर्नाटक (46%), राजस्थान (38%) और मध्य प्रदेश (35%) ने राष्ट्रीय औसत से ऊपर दूसरी खुराक टीकाकरण कवरेज की सूचना दी है। हालांकि, महाराष्ट्र (33%), उत्तर प्रदेश (18%), बिहार (21%) और पश्चिम बंगाल (26%) राष्ट्रीय औसत से नीचे हैं।
गुजरात ने 53 फीसदी, कर्नाटक ने 46 फीसदी, राजस्थान ने 38 फीसदी और मध्य प्रदेश ने 35 फीसदी वयस्क जनसंख्या को टीके की दोनों डोज लगाने का दावा किया है. वहीं मध्य प्रदेश में 33 फीसदी, उत्तर प्रदेश में 18 फीसदी, बिहार में 21 फीसदी और पश्चिम बंगाल में 26 फीसदी वयस्क नागरिकों को टीके की दोनों डोज लगी है.
गौरतलब है कि देश में कोविड-19 टीकाकरण की शुरुआत 16 जनवरी को स्वास्थ्यकर्मियों को खुराक देने के साथ शुरू हुई थी. दो फरवरी को इसका विस्तार किया गया और अग्रिम मोर्चे पर कार्यरत लोगों को भी टीका लगाने की शुरुआत की गई.
क्रमबद्ध तरीके से एक मई को देश में 18 साल से अधिक उम्र के सभी लोगों का टीकाकरण शुरू हुआ था.