झारखंड में सत्तारूढ़ झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) नीत गठबंधन सहयोगियों ने भाजपा के कांके से विधायक समरी लाल को अयोग्य घोषित करने की मांग की है. उनका दावा है कि समरी लाल का जाति प्रमाण पत्र राज्य सरकार ने हाल में अवैध पाया है.
रांची: झारखंड में सत्तारूढ़ झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) नीत गठबंधन सहयोगियों ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कांके से विधायक समरी लाल को अयोग्य घोषित करने की मांग की है. उनका दावा है कि समरी लाल का जाति प्रमाण पत्र राज्य सरकार ने हाल में अवैध पाया है.
कांग्रेस और झामुमो नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने इस संबंध में झारखंड के राज्यपाल रमेश बैस को एक ज्ञापन सौंपा, जिसमें विधानसभा से भाजपा विधायक के रूप में लाल की सदस्यता तत्काल रद्द करने की मांग की गई.
समरी लाल 2019 में भाजपा के टिकट पर अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित सीट से चुने गए थे और राज्य सरकार ने इस महीने की शुरुआत में उन्हें जारी जाति प्रमाण पत्र रद्द कर दिया था. उन्होंने कांग्रेस के सुरेश बैठा को हराया था.
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, राज्यपाल से मिलने वाले समूह में श्रम मंत्री सत्यानंद भोक्ता (राजद), राज्य कांग्रेस प्रमुख राजेश ठाकुर, झामुमो प्रवक्ता और अन्य शामिल थे.
उन्होंने कहा कि चूंकि लाल का जाति प्रमाण पत्र, जिसे उन्होंने राजस्थान से स्थानांतरित करने के बाद झारखंड से बनाया था, रद्द कर दिया गया है, इसलिए उनके (विधायक) चुने जाने की बात निराधार हो जाती है.
कांग्रेस प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने कहा, ‘कांग्रेस और झामुमो का एक प्रतिनिधिमंडल हाल में राज्यपाल से मिला और एक ज्ञापन सौंपा. हमने मांग की कि झारखंड विधानसभा से समरी लाल की सदस्यता तत्काल प्रभाव से रद्द कर कांके सीट को रिक्त घोषित किया जाए.’
कांके सीट से कांग्रेस प्रत्याशी सुरेश बैठा ने 2019 के विधानसभा चुनाव में नामांकन के दौरान लाल के जाति प्रमाण पत्र को चुनौती देते हुए दावा किया था कि लाल राजस्थान के रहने वाले हैं और नौकरी की तलाश में रांची आए तो उनके पिता रांची में ही बस गए थे.
कांग्रेस अधिकारियों ने कहा, इसलिए वह झारखंड में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित सीट पर लाभ का दावा नहीं कर सकते.
इस संबंध में टिप्पणी के लिए भाजपा विधायक समरी लाल से संपर्क नहीं किया जा सका.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)