खरगोन सांप्रदायिक हिंसा मामले में अब तक 175 लोग गिरफ़्तार: मध्य प्रदेश पुलिस

मध्य प्रदेश के खरगोन में रामनवमी के अवसर पर निकाली गई शोभायात्रा के दौरान पथराव के चलते दो समुदायों के बीच हिंसा भड़क गई थी, तब से खरगोन कर्फ्यू के साये में है. दो दिनों से कर्फ्यू में कुछ घंटों की ढील दी गई है. पुलिस के मुताबिक, मामले में अब तक 64 एफआईआर दर्ज की गई हैं.

(प्रती​कात्मक फोटो साभार: फेसबुक)

मध्य प्रदेश के खरगोन में रामनवमी के अवसर पर निकाली गई शोभायात्रा के दौरान पथराव के चलते दो समुदायों के बीच हिंसा भड़क गई थी, तब से खरगोन कर्फ्यू के साये में है. दो दिनों से कर्फ्यू में कुछ घंटों की ढील दी गई है. पुलिस के मुताबिक, मामले में अब तक 64 एफआईआर दर्ज की गई हैं.

(प्रती​कात्मक फोटो साभार: फेसबुक)

भोपाल/ खरगोन: मध्य प्रदेश के खरगोन शहर में पिछले पखवाड़े रामनवमी के अवसर पर निकाली गई शोभायात्रा पर पथराव के बाद हुई सांप्रदायिक हिंसा के सिलसिले में पुलिस ने अब तक 175 लोगों को गिरफ्तार किया है.

खरगोन जिले के प्रभारी पुलिस अधीक्षक रोहित काशवानी ने कहा कि खरगोन शहर में रात का कर्फ्यू जारी रहेगा. उन्होंने कहा कि शनिवार को कर्फ्यू में ढील के दौरान किसी अप्रिय घटना की सूचना नहीं मिली है.

काशवानी ने शनिवार को संवाददाताओं को बताया कि 10 अप्रैल को खरगोन शहर में हुई हिंसा के संबंध में अब तक 64 एफआईआर दर्ज की गई हैं और 175 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.

उन्होंने कहा कि खरगोन के पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ चौधरी पर गोली चलाने के मामले में गिरफ्तार मोहसिन उर्फ वसीम को शनिवार को स्थानीय अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे तीन दिन की पुलिस हिरासत में भेजा गया है.

काशवानी ने बताया कि आरोपी से पूछताछ की जा रही है और आगे की जानकारी जुटाई जा रही है.

उन्होंने कहा कि तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर खरगोन के पास के इलाकों और अन्य स्थानों पर अन्य आरोपियों की तलाश की जा रही है.

बता दें कि खरगोन में 10 अप्रैल को रामनवमी पर​ निकाले गए धार्मिक जुलूस के दौरान हुई हिंसा में दुकानों, घरों एवं वाहनों को नुकसान पहुंचाया गया था. इसके बाद पूरे शहर में कर्फ्यू लगा दिया गया था.

स्थानीय प्रशासन 14 अप्रैल से कुछ घंटों के लिए कर्फ्यू में ढील दे रहा है. अब तक इस हिंसा में एक मौत की भी पुष्टि हो चुकी है. वहीं, शासन-प्रशासन ने मामले में आरोपी बनाए लोगों के मकानों को अतिक्रमण बताकर गिरा दिया है.

इस हिंसा में खरगोन के पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ चौधरी को पैर में गोली लगी थी, वह फिलहाल छुट्टी पर हैं और उनका इलाज चल रहा है.

जिला प्रशासन के आदेश के अनुसार, कर्फ्यू में ढील स्थानीय अनाज मंडी, पेट्रोल पंपों और सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) की दुकानों से मिट्टी के तेल की बिक्री के लिए लागू नहीं होगी, केवल दूध, सब्जियों, दवाओं की दुकानों को खोलने की अनुमति दी गई है, लेकिन धार्मिक स्थल बंद रहेंगे.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)