सेना भर्ती: अग्निपथ योजना के विरोध में कई राज्यों में हिंसक प्रदर्शन, आगज़नी-चक्काजाम

केंद्र सरकार की 4 साल के अनुबंध वाली सेना भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ का विरोध गुरुवार को और अधिक व्यापक व हिंसक हो गया. हरियाणा के पलवल में हिंसा के बाद इंटरनेट बंद. बिहार और मध्य प्रदेश में प्रदर्शनकारियों ने ट्रेन व रेलवे ट्रैक फूंक दिए. उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और दिल्ली में भी योजना के ख़िलाफ़ युवाओं का आक्रोश चरम पर रहा.

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Chapra: Smoke billows out after youngsters set on fire a train in protest against the Agnipath scheme, at Chapra Railway Station, in Saran district, Thursday, June 17, 2022. The government on Tuesday announced the short-term recruitment plan to enlist young citizens into the armed forces. (PTI Photo) (PTI06 16 2022 000091B)

केंद्र सरकार की 4 साल के अनुबंध वाली सेना भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ का विरोध गुरुवार को और अधिक व्यापक व हिंसक हो गया. हरियाणा के पलवल में हिंसा के बाद इंटरनेट बंद. बिहार और मध्य प्रदेश में प्रदर्शनकारियों ने ट्रेन व रेलवे ट्रैक फूंक दिए. उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और दिल्ली में भी योजना के ख़िलाफ़ युवाओं का आक्रोश चरम पर रहा.

दिल्ली में जंतर मंतर पर गुरुवार को अग्निपथ योजना के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान सुरक्षाकर्मियों ने भारतीय युवा कांग्रेस (आईवाईसी) के सदस्यों को हिरासत में लिया. (फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली/लखनऊ/फरीदाबाद: केंद्र सरकार ने दशकों पुरानी रक्षा भर्ती प्रक्रिया में आमूलचूल परिवर्तन करते हुए थलसेना, नौसेना और वायुसेना में सैनिकों की भर्ती संबंधी ‘अग्निपथ’ नामक योजना की मंगलवार को घोषणा की थी, जिसके तहत सैनिकों की भर्ती सिर्फ चार साल की कम अवधि के लिए संविदा आधार पर की जाएगी.

योजना के तहत तीनों सेनाओं में इस साल करीब 46,000 सैनिक भर्ती किए जाएंगे. चयन के लिए पात्रता आयु साढ़े 17 वर्ष से 21 वर्ष के बीच होगी और इन्हें ‘अग्निवीर’ नाम दिया जाएगा.

योजना की घोषणा के साथ ही सेना में भर्ती की तैयारी कर रहे युवाओं ने बुधवार को देश के विभिन्न राज्यों में इसके विरोध में प्रदर्शन शुरू कर दिए थे, जो कि गुरुवार को भी जारी रहे.

खबर लिखे जाने तक गुरुवार को राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली, बिहार, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश, हरियाणा, उत्तराखंड राज्यों के विभिन्न हिस्सों से आक्रोशित युवाओं द्वारा विरोध प्रदर्शन की तस्वीरें सामने आई हैं. कई-कई स्थानों पर विरोध ने हिंसक रूप भी अख्तियार कर लिया है.

मालूम हो कि ‘अग्निपथ’ योजना के तहत रोजगार के पहले वर्ष में एक ‘अग्निवीर’ का मासिक वेतन 30,000 रुपये होगा, लेकिन हाथ में केवल 21,000 रुपये ही आएंगे. हर महीने 9,000 रुपये सरकार के एक कोष में जाएंगे, जिसमें सरकार भी अपनी ओर से समान राशि डालेगी. इसके बाद दूसरे, तीसरे और चौथे वर्ष में मासिक वेतन 33,000 रुपये, 36,500 रुपये और 40,000 रुपये होगा. प्रत्येक ‘अग्निवीर’ को ‘सेवा निधि पैकेज’ के रूप में 11.71 लाख रुपये की राशि मिलेगी और इस पर आयकर से छूट मिलेगी.

यह भर्ती ‘अखिल भारतीय, अखिल वर्ग’ के आधार पर की जाएगी. इससे उन कई रेजींमेंट की संरचना में बदलाव आएगा, जो विशिष्ट क्षेत्रों से भर्ती करने के अलावा राजपूतों, जाटों और सिखों जैसे समुदायों के युवाओं की भर्ती करती हैं.

सशस्त्र बलों द्वारा समय-समय पर घोषित की गई संगठनात्मक आवश्यकता और सेना की नीतियों के आधार पर चार साल की सेवा पूरी होने पर ‘अग्निवीर’ को सशस्त्र बलों में स्थायी नामांकन के लिए आवेदन करने का अवसर प्रदान किया जाएगा.

योजना में नियमित सेवा के लिए हर बैच से 25 प्रतिशत सैनिकों को बरकरार रखने का प्रावधान किया गया है.

बताया जा रहा है कि इस योजना का मकसद रक्षा विभाग के बढ़ते वेतन और पेंशन खर्च को कम करना है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति (सीसीएस) की बैठक में योजना को मंजूरी मिलने के थोड़ी ही देर बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मीडिया को नई पहल के बारे में पूरा ब्योरा उपलब्ध कराया.

दिल्ली में युवाओं ने नांगलोई स्टेशन की पटरियों पर लेटकर रेल मार्ग बाधित किया

योजना के विरोध में बाहरी दिल्ली के नांगलोई रेलवे स्टेशन पर गुरुवार को एक दर्जन से अधिक सेना में भर्ती के आकांक्षी युवाओं ने पटरियों पर लेटकर रेल का मार्ग अवरुद्ध किया.

पुलिस के मुताबिक रेलवे भर्ती परीक्षाओं में देरी और अग्निपथ योजना के विरोध में सुबह करीब नौ बजकर 45 मिनट पर नांगलोई रेलवे स्टेशन पर करीब 15-20 लोग जमा हुए.

पुलिस ने कहा कि उन्होंने एक ट्रेन को रोका जो हरियाणा के जींद से पुरानी दिल्ली के लिए जा रही थी.

उन्होंने बताया कि पुलिस तत्काल मौके पर पहुंची, जहां जीआरपी के कर्मचारी भी मौजूद थे और अधिकारियों ने प्रदर्शनकारियों से शांतिपूर्वक रेलवे ट्रैक खाली करने को कहा.

पुलिस उपायुक्त (बाहरी) समीर शर्मा के अनुसार, ‘प्रदर्शनकारियों ने कहा कि उन्होंने दो-तीन साल पहले सरकारी नौकरियों के लिए आवेदन किया था, लेकिन भर्ती के लिए परीक्षाएं अभी तक आयोजित नहीं की गई हैं और उन्होंने अब न्यूनतम पात्रता उम्र पार कर ली है.’

अधिकारी ने कहा कि स्थिति नियंत्रण में है और सभी छात्रों को रेलवे ट्रैक से हटा लिया गया है.

हरियाणा: पलवल में हिंसा के बाद इंटरनेट बंद, गुड़गांव-जयपुर राजमार्ग पर जाम लगाया

सेना भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ के खिलाफ युवाओं का प्रदर्शन हरियाणा के पलवल में बृहस्पतिवार को हिंसक हो गया. इस दौरान पथराव और गाड़ियों में आगज़नी की गई. पुलिस ने हालात पर काबू पाने के लिए बल प्रयोग किया और प्रशासन ने इंटरनेट सेवा को बंद कर दिया है.

अधिकारियों ने बताया कि पलवल में प्रदर्शनकारियों ने उपायुक्त (डीसी) कार्यालय के सामने विरोध प्रदर्शन किया और राष्ट्रीय राजमार्ग 19 को जाम कर दिया.

अधिकारियों ने बताया कि घटना की सूचना मिलने पर पुलिस ने मौके पर पहुंच कर प्रदर्शनकारियों पर हल्का बल प्रयोग किया जिसके चलते प्रदर्शनकारी आक्रोशित हो गए और पुलिस पर पथराव कर दिया और पुलिस की पांच गाड़ियों को आग के हवाले कर दिया और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया.

वहीं, द क्विंट के मुताबिक पलवल में भी युवाओं का आक्रोश देखा गया. गुस्साए नौजवानों ने डीसी कैंप ऑफिस को घेर लिया और पथराव करने लगे. पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को खदेड़ने के लिए हवाई फायरिंग भी की.

ड्यूटी मजिस्ट्रेट नरेंद्र सिंह ने बताया, ‘प्रदर्शनकारियों द्वारा तोड़फोड़ व आगजनी कर सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया है. जिला प्रशासन एवं पुलिस प्रशासन ने प्रदर्शनकारियों के खिलाफ कार्यवाही शुरू कर दी गई है.’

उन्होंने बताया कि जिले में धारा 144 लागू कर दी गई है तथा इंटरनेट सेवा भी फिलहाल बंद कर दी गई है.

अधिकारियों ने बताया कि पथराव के दौरान पुलिसकर्मी घायल हो गए, जिन्हें अस्पताल भेजा गया है.

अधिकारियों ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने जिला उपायुक्त कैंप कार्यालय में भी पथराव कर दिया और कैंप कार्यालय के भीतर दाखिल हो गए और गार्ड कक्ष में आग लगा दी.

इसके बाद पुलिस अधीक्षक मुकेश मल्होत्रा भारी पुलिस बल के साथ घटना स्थल पर पहुंचे और प्रदर्शनकारियों को काबू करने का प्रयास किया लेकिन प्रदर्शनकारी पुलिस को देखकर कैंप मार्किट और आगरा चौक की तरफ भागने में कामयाब हो गए.

पलवल के पुलिस अधीक्षक मुकेश मल्होत्रा ने बताया कि इस बाबत दो एफआईआर दर्ज की गई हैं और दो विशेष जांच दल (एसआईटी) गठित किए गए हैं. उन्होंने कहा कि हिंसा में शामिल किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा.

पुलिस ने राष्ट्रीय राजमार्ग 19 को खाली कराकर यातायात को सुचारू रूप से चलाया.

वहीं इस घटना के बाद फरीदाबाद पुलिस भी सतर्क हो गई है. फरीदाबाद के पुलिस आयुक्त कमिश्रर विकास कुमार अरोड़ा ने सभी उपायुक्तों (डीसीपी), सहायक पुलिस आयुक्तों (एसीपी) थाना व चौकी प्रभारियों को अलर्ट रहने के निर्देश जारी किए है.

पलवल के अलावा गुड़गांव और रेवाड़ी में भी प्रदर्शन हुए हैं.

पुलिस प्रवक्ता सूबे सिंह के मुताबिक, पुलिस आयुक्त ने कहा है कि फरीदाबाद में किसी को भी कानून हाथ में लेने की इजाजत नहीं दी जाएगी.

गुरुवार को बड़ी संख्या में गुड़गांव और रेवाड़ी के बिलासपुर और सिधरावाली इलाकों के युवा सड़कों पर उतर आए तथा राजमार्गों को अवरुद्ध कर दिया.

प्रदर्शनकारियों ने गुड़गांव-जयपुर राजमार्ग पर बस अड्डे और सड़कों पर घेराबंदी करते हुए बिलासपुर चौक पर विरोध प्रदर्शन किया.

गुड़गांव यातायात पुलिस ने एक परामर्श में कहा, ‘स्थानीय विरोध के कारण बिलासपुर चौक (एनएच-48) पर यातायात को परिवर्तित किया गया है. इस मार्ग का उपयोग करने वाले सभी यात्रियों से वैकल्पिक मार्ग लेने का अनुरोध किया जाता है.’

पुलिस उपायुक्त (यातायात) रविंदर सिंह तोमर ने कहा, ‘हमारे यातायात अधिकारी कार्य पर हैं और यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि भीड़ अधिक न हो. जहां आवश्यक है, यातायात के मार्ग में बदलाव किए जा रहे हैं.’

ग्वालियर में तोड़-फोड़ और आगजनी

वर्षों से सेना भर्ती की राह देख रहे युवाओं ने मध्य प्रदेश के ग्वालियर शहर में गुरुवार को जमकर उत्पात मचाया. हजारों की संख्या में सड़कों पर उतरे युवाओं ने खूब तोड़-फोड़ और आगजनी की.

रेलवे ट्रैक को आग के हवाले कर दिया, गाड़ियों के कांच तोड़ दिए, यहां तक कि रेलवे स्टेशन के अंदर घुसकर भी खूब तोड़-फोड़ की. सड़कों पर चक्का जाम कर दिया और सरकार से योजना वापस लेने की मांग की.

दैनिक भास्कर के मुताबिक, ग्वालियर में नौबत यहां तक पहुंच गई कि पुलिस को लाठी चार्ज करना पड़ा और प्रदर्शनकारी युवाओं पर आंसू गैस के गोले भी छोड़े. फिर भी जब पुलिस से हालात नहीं संभले तो सेना को बुलाना पड़ा है.

नई दुनिया के मुताबिक, ग्वालियर से पहले इसके पड़ोसी जिले मुरैना में भी अग्निपथ योजना को लेकर प्रदर्शन हुआ था.

इस दौरान हुए पथराव में दस लोगों के घायल होने की भी खबरें हैं. कई ट्रेनें प्रभावित हुई हैं.

वहीं, मध्य प्रदेश के ही इंदौर में भी युवाओं ने तिरंगे झंडों के साथ सड़क पर उतरकर विरोध जताया. करीब 150 युवा गुरुवार को सड़क पर उतरे. उन्होंने शहर के एक व्यस्त चौराहे पर तिरंगा झंडों के साथ प्रदर्शन कर आक्रोश जताया.

मौके पर पहुंचे पुलिस बल में शामिल एक आला अफसर ने पुलिस की गाड़ी से उद्घोषणा करते हुए आक्रोशित प्रदर्शनकारियों से अपील की कि वे ज्ञापन देकर शांति से अपनी मांग रखें.

पुलिस की इस अपील के बाद प्रदर्शनकारियों ने मौके पर मौजूद अफसरों को ‘अग्निपथ’ योजना के खिलाफ ज्ञापन सौंपा.

प्रदर्शनकारियों में शामिल एक युवा ने कहा, ‘कोई लोकसभा सांसद केवल पांच साल पद पर रहकर जीवन भर पेंशन पाता है. फिर अग्निपथ योजना के तहत सेना में भर्ती होने वाले युवाओं के लिए पेंशन का प्रावधान क्यों नहीं है?’

सेना में भर्ती की तैयारी कर रहे युवा ने कहा कि अगर नौजवानों के भविष्य के फैसले सांसद ले रहे हैं, तो सांसदों को ही देश की सरहदों पर तैनात कर दिया जाए.

बिहार में भी प्रदर्शन हिंसक हुआ, प्रदर्शनकारियों ने ट्रेनों में लगाई आग

बिहार में ‘अग्निपथ’ योजना के खिलाफ लगातार दूसरे दिन गुरुवार को भी विरोध-प्रदर्शन जारी रहा. इस दौरान कई प्रदर्शनकारियों ने ट्रेनों में आग लगा दी और पथराव किया.

प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागे और रेलवे पटरियों पर धरना देने वाले युवाओं को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया.

वहीं, नवादा में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की विधायक अरुणा देवी एक अदालत जा रही थीं, तभी उनके वाहन पर प्रदर्शनकारियों ने पथराव किया, जिसमें विधायक सहित पांच लोग घायल हो गए.

अरुणा ने कहा, ‘प्रदर्शनकारी मेरी गाड़ी पर लगे पार्टी के झंडे को देखकर भड़क गए, उन्होंने झंडे को भी निकाल दिया. मेरे चालक, दो सुरक्षा कर्मी और निजी स्टाफ के कई सदस्यों को चोटें आई हैं.’

नई दुनिया की खबर के मुताबिक, नवादा के भाजपा जिला कार्यालय में भी प्रदर्शनकारियों ने आगजनी की. कार्यालय की कुर्सियां और फर्नीचर जला दिए गए.

बिहार के छपरा रेलवे स्टेशन पर गुरुवार को अग्निपथ योजना के विरोध में युवाओं द्वारा ट्रेन में आग लगा दी गई. (फोटो: पीटीआई)

सशस्त्र बलों में भर्ती की नई प्रणाली से नाराज प्रदर्शनकारियों ने रेलवे संपत्ति को भी नुकसान पहुंचाया. प्रदर्शनकारियों ने भभुआ और छपरा स्टेशन पर बोगियों में आग लगा दी और कई जगहों पर डिब्बों के शीशे तोड़ दिए.

भोजपुर जिला मुख्यालय आरा में बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारियों ने रेलवे स्टेशन को घेर लिया, जिसके बाद पुलिस ने उन्हें तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे.

हाजीपुर में पूर्व मध्य रेलवे के मुख्यालय से प्राप्त जानकारी के मुताबिक इस क्षेत्र में बड़े पैमाने पर रेल सेवाएं बाधित हुईं. पटना-गया, बरौनी-कटिहार और दानापुर-डीडीयू जैसे व्यस्त मार्ग सबसे ज्यादा प्रभावित हुए.

बक्सर स्टेशन के प्रबंधक राजन कुमार ने बताया कि कई ट्रेनें बाहरी सिग्नल पर फंसी हुई हैं, क्योंकि आंदोलनकारियों ने पटरियों को जाम कर दिया है. पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी आंदोलनकारियों को शांत करने की कोशिश कर रहे हैं.

प्रदर्शनकारियों द्वारा किए गए प्रदर्शनों के कारण जहानाबाद, बक्सर, कटिहार, सारण, भोजपुर और कैमूर जैसे जिलों में सड़क यातायात बाधित हुआ, जहां पथराव की घटनाओं में कई स्थानीय लोग घायल हो गए.

छपरा में भी प्रदर्शन हुए और वाहनों के साथ तोड़-फोड़ की गई.

पुलिस द्वारा इस संबंध में दर्ज की गई प्राथमिकी और गिरफ्तार किए गए लोगों के संबंध में अभी तत्काल कोई जानकारी नहीं मिल पाई है.

उत्तर प्रदेश में भी हुआ प्रदर्शन, अनेक ट्रेनों का संचालन प्रभावित

‘अग्निपथ’ योजना के विरोध में बृहस्पतिवार को उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों में युवाओं ने प्रदर्शन किया. इसकी वजह से वाराणसी रेल मंडल के विभिन्न खंडों की करीब 21 रेलगाड़ियों का संचालन प्रभावित हुआ.

अलीगढ़ में नौजवानों ने योजना के खिलाफ अलीगढ़-गाजियाबाद राजमार्ग पर रास्ता जाम किया, बलिया में युवाओं के प्रदर्शन के कारण स्वतंत्रता सेनानी एक्सप्रेस को रोकना पड़ा। वहीं, फिरोजाबाद और बुलंदशहर में नौजवानों ने सड़क पर उतरकर नारेबाजी की.

प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने कई लोगों को हिरासत में भी लिया. (फोटो: पीटीआई)

पूर्वोत्तर रेलवे द्वारा जारी बुलेटिन के मुताबिक ‘अग्निपथ योजना’ के खिलाफ धरना-प्रदर्शन के कारण वाराणसी मंडल के गोरखपुर-छपरा, छपरा-बलिया, सीवान-थावे, छपरा-मसरख-थावे, वाराणसी-गाजीपुर और वाराणसी-इलाहाबाद रेल खंडों पर 21 रेलगाड़ियों का संचालन ठप हो गया, जो समाचार लिखे जाने तक शुरू नहीं हो सका.

अलीगढ़ से प्राप्त रिपोर्ट के मुताबिक, गभाना थाना क्षेत्र में कुछ युवाओं ने अलीगढ़-गाजियाबाद राजमार्ग पर कुछ देर के लिए रास्ता जाम किया. मौके पर पहुंचे वरिष्ठ पुलिस अफसरों ने प्रदर्शनकारियों को आश्वासन दिया कि वे उनकी समस्या को संबंधित अधिकारियों तक पहुंचाएंगे.

पुलिस अधीक्षक (नगर) कुलदीप सिंह गुनावत ने बताया कि इसी तरह महुआखेड़ा इलाके में भी कुछ युवकों ने प्रदर्शन करते हुए रास्ता जाम किया. हालांकि कुछ ही देर बाद जाम समाप्त हो गया.

उधर, फिरोजाबाद के शिकोहाबाद क्षेत्र में छात्र सड़कों पर उतरे और सरकार विरोधी नारेबाजी करते हुए इस योजना को वापस लेने की मांग की.

पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) अखिलेश नारायण ने बताया कि केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना के विरोध में पालीवाल डिग्री कॉलेज के छात्र समूह बनाकर नारेबाजी करते हुए थाना शिकोहाबाद स्थित सुभाष चौराहे पर पहुंचकर रास्ता जाम करने का प्रयास कर रहे थे, मगर उन्हें पहले ही रोक लिया गया और समझा-बुझाकर वापस भेज दिया गया.

बलिया के रसड़ा इलाके में युवाओं के प्रदर्शन के कारण वाराणसी-छपरा रेल प्रखंड पर दिल्ली से जय नगर जा रही स्वतंत्रता संग्राम सेनानी एक्सप्रेस को बलिया रेलवे स्टेशन पर रोकना पड़ा.

पुलिस सूत्रों के अनुसार, रसड़ा कोतवाली क्षेत्र के कोटवारी मोड़ पर कुछ युवकों ने विरोध में प्रदर्शन और नारेबाजी की. प्रदर्शन की जानकारी मिलने पर उप जिलाधिकारी सर्वेश कुमार यादव प्रशासनिक व पुलिस टीम के साथ मौके पर पहुंचे.

उन्होंने प्रदर्शनकारी युवकों से बातचीत कर प्रदर्शन समाप्त कराया. प्रदर्शन कर रहे युवाओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबोधित ज्ञापन यादव को सौंपा.

पूर्वोत्तर रेलवे के जनसंपर्क अधिकारी अशोक कुमार ने बताया कि स्वतंत्रता संग्राम सेनानी एक्सप्रेस के अलावा लिच्छवी एक्सप्रेस व लखनऊ छपरा एक्सप्रेस का परिचालन भी प्रभावित हुआ है.

उधर, बुलंदशहर में स्थानीय लोगों के अनुसार, बुलंदशहर नगर और जिले के खुर्जा इलाके में युवाओं के समूह एकत्र हुए और अग्निपथ योजना को वापस लेने के लिए केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की.

बुलंदशहर के पुलिस अधीक्षक श्लोक कुमार ने कहा, ‘कुछ युवा सुबह विरोध प्रदर्शन करने के लिए एकत्र हुए। उन्होंने अधिकारियों के आश्वासन पर धरना समाप्त कर दिया.’

राजस्थान में भी युवाओं का प्रदर्शन

राजस्थान की राजधानी जयपुर के करधनी थाना क्षेत्र में युवाओं ने बुधवार को अजमेर-दिल्ली एक्सप्रेस वे राजमार्ग पर विरोध प्रदर्शन किया और जाम लगा दिया. पुलिस ने यह जानकारी दी.

उन्होंने बताया कि मामले में 10 युवाओं को शांति भंग करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है.

आक्रोशित युवाओं ने ‘अग्निपथ’ के अलावा सेना में लंबित भर्ती, लिखित परीक्षा आयोजित करने सहित अन्य भर्ती संबंधी मांगों को लेकर बुधवार को जयपुर-अजमेर राष्ट्रीय राजमार्ग पर विरोध प्रदर्शन किया.

करधनी थानाधिकारी बनवारी लाल ने बताया कि दोपहर में करीब 150-200 युवाओं ने अजमेर-दिल्ली एक्सप्रेस हाईवे पर सेना में लंबित भर्ती, सेना में भर्ती के लिए लिखित परीक्षा आयोजित नहीं करने संबंधी मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन किया.

उन्होंने बताया कि युवाओं के विरोध प्रदर्शन के कारण राजमार्ग पर पांच किलोमीटर लंबा जाम लग गया. सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे 10 नामजद लोगों को शांतिभंग के आरोप में गिरफ्तार किया और 150 अज्ञात लोगों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 283, 188, 143 के तहत मामला दर्ज किया है.

उत्तराखंड में भी युवाओं ने सरकार को दिखाए तेवर

वहीं, नई दुनिया के मुताबिक उत्तराखंड में भी बेरोजगार संगठनों के पदाधिकारियों, युवाओं ने राजधानी सहित प्रदेश के अलग-अलग जिलों में जमकर हंगामा किया.

युवाओं ने भाजपा की ओर से शहर के विभिन्न इलाकों में लगाए गए पोस्टरों, बैनरों को फाड़ डाला और केंद्र और राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. हंगामा कर रहे युवाओं ने अग्निपथ योजना को तत्काल प्रभाव से निरस्त करने की मांग की और कहा कि यह युवाओं के साथ धोखा है.

नवभारत टाइम्स के मुताबिक, पिथौरागढ़, खटीमा और चंपावत में विरोध देखा गया. चंपावत में प्रदशर्नकारियों ने सरकार का पुतला फूंका.बागेश्‍वर में भी युवाओं ने जिला मुख्‍यालय पर नारेबाजी और प्रदर्शन किया.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)