कांग्रेस की ‘भारत जोड़ो यात्रा’ शुरू, पार्टी ने कहा- संगठन को मिलेगी संजीवनी

पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ तमिलनाडु के कन्याकुमारी स्थित अगस्तीस्वरम से ‘भारत जोड़ो यात्रा’ की शुरुआत की. यात्रा कुल 3,570 किलोमीटर की दूरी तय कर कश्मीर में समाप्त होगी.

Kanyakumari: Congress leader Rahul Gandhi with Chhattisgarh CM Bhupesh Baghel and other party workers during the Bharat Jodo Yatra, in Kanyakumari, Thursday, Sept. 8, 2022. (PTI Photo/Atul Yadav) (PTI09 08 2022 000043B)

पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ तमिलनाडु के कन्याकुमारी स्थित अगस्तीस्वरम से ‘भारत जोड़ो यात्रा’ की शुरुआत की. यात्रा कुल 3,570 किलोमीटर की दूरी तय कर कश्मीर में समाप्त होगी.

‘भारत जोड़ो यात्रा’ की शुरुआत राष्ट्र ध्वज फहराकर हुई. (फोटो: Twitter/@INCIndia)

कन्याकुमारी/नई दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कन्याकुमारी से बृहस्पतिवार (8 सितंबर) सुबह कई वरिष्ठ पार्टी नेताओं के साथ ‘भारत जोड़ो यात्रा’ की विधिवत शुरुआत की. पार्टी इस यात्रा को व्यापक जनसंपर्क अभियान बता रही है तथा इससे संगठन को संजीवनी मिलने की उम्मीद कर रही है.

राहुल गांधी ने तमिलनाडु के कन्याकुमारी स्थित ‘विवेकानंद पॉलीटेक्निक’ से 118 अन्य ‘भारत यात्रियों’ और कई अन्य वरिष्ठ नेताओं एवं कार्यकर्ताओं के साथ पदयात्रा की शुरुआत की. पार्टी ने राहुल समेत 119 नेताओं को ‘भारत यात्री’ नाम दिया है, जो कन्याकुमारी से पदयात्रा करते हुए कश्मीर तक जाएंगे. ये लोग कुल 3,570 किलोमीटर की दूरी तय करेंगे.

राहुल गांधी ने भारत यात्रियों और देश भर के पार्टी नेताओं के साथ पदयात्रा की शुरुआत तमिलनाडु के कन्याकुमारी स्थित अगस्तीस्वरम से की.

इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, यात्रा शुरू करते ही उन्होंने एनईईटी की परीक्षार्थी एस. अनीता के रिश्तेदारों से मुलाकात की. अनीता ने पांच साल पहले परीक्षा में असफल होने के बाद कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी.

कांग्रेस नेता ने महिला कार्यकर्ताओं, दलित समूहों, पर्यावरणविदों और सिविल सोसाइटी के प्रतिनिधियों से भी मुलाकात की.

यात्रा के संबंध में ट्विटर पर पार्टी ने लिखा, ‘भारत जोड़ो का उद्देश्य किसी भी जाति या समुदाय से परे होकर इस देश के लोगों को एकजुट करना है और यह संवाद उस लक्ष्य को प्राप्त करने की दिशा में एक आशाजनक कदम है.’

गांधी ने जवाहर बाल मंच के बच्चों के साथ भी बातचीत की और संगठन द्वारा आयोजित राष्ट्रीय चित्रकला प्रतियोगिता के विजेताओं को पुरस्कार बांटे.

टाइम्स ऑफ इंडिया ने बताया कि रास्ते में राहुल गांधी लोगों से भी मिले, जिन्होंने उनसे अपनी बात कही.

करीब दोपहर दो बजे उन्होंने एक बच्चे के साथ अपनी फोटो ट्विटर पर साझा की और कहा, ‘देश के भविष्य की बुनियाद यही हैं, आने वाले कल की शुरुआत यही हैं. एक तेरा कदम, एक मेरा कदम, मिल जाए तो जुड़ जाए अपना वतन.’

यात्रा की शुरुआत के बाद कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने समाचार एजेंसी पीटीआई/भाषा से कहा कि भाजपा इस यात्रा को लेकर जिस तरह से हमले कर रही है, उससे स्पष्ट है कि सत्ताधारी दल परेशान है.

उन्होंने यात्रा को कांग्रेस के लिए संजीवनी बताते हुए कहा कि यह पार्टी को मजबूती देगी और उसमें नई जान फूंकेगी.

रमेश ने कहा, ‘मैं पूरी तरह आश्वस्त हूं कि यह यात्रा कांग्रेस के लिए संजीवनी है, जीवन रक्षक है.’

रमेश ने कहा कि 137 साल के इतिहास में कांग्रेस का कई बार कायाकल्प हुआ है. उन्होंने कहा, ‘अब इस यात्रा से नया अवतार होगा. कांग्रेस पहले से अधिक आक्रामक और सक्रिय होगी, जिसे हमारे मित्र और राजनीतिक विरोधी हल्के में नहीं ले सकेंगे.’

उन्होंने कहा कि कांग्रेस सबसे पुरानी पार्टी है और वह सत्ता में भले न हो, लेकिन वह हर मोहल्ले, कस्बे और गांव में मौजूद है.

इससे पहले बुधवार (7 सितंबर) को गांधी ने पार्टी के इस महत्वाकांक्षी मार्च को इस दावे के साथ हरी झंडी दिखाई थी कि वह नफरत के लिए अपना देश नहीं खोएंगे. उन्होंने भाजपा और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर देश को धार्मिक आधार पर बांटने की कोशिश करने का भी आरोप लगाया था.

इस मौके पर पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने एक लिखित संदेश के माध्यम से कहा था कि यह यात्रा भारतीय राजनीति के लिए परिवर्तनकारी क्षण है तथा यह कांग्रेस के लिए संजीवनी का काम करेगी.

बृहस्पतिवार को कन्याकुमारी में भारत जोड़ो यात्रा के दौरान छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और अन्य पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस नेता राहुल गांधी. (फोटो: पीटीआई)

राहुल गांधी यात्रा शुरू करने से पहले श्रीपेरंबदूर में पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के स्मारक पर एक प्रार्थना सभा में शामिल हुए. यहीं पर तीन दशक पहले एक आत्मघाती हमला करके राजीव गांधी की हत्या कर दी गई थी.

पिता के स्मारक पर आयोजित प्रार्थना सभा में शामिल होने के बाद कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कन्याकुमारी में एक कार्यक्रम में हिस्सा लिया था, जहां तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने उन्हें राष्ट्र ध्वज सौंपा था.

यात्रा शुरू करने से पहले राहुल गांधी कन्याकुमारी में विवेकानंद रॉक मेमोरियल, तिरुवल्लुवर स्टैच्यू और कामराज मेमोरियल भी गए थे.

बहरहाल, उन्होंने यह भी दावा किया था कि मोदी सरकार सीबीआई (केंद्रीय जांच ब्यूरो) और ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) का उपयोग करके विपक्षी नेताओं को डराने का प्रयास कर रही है, लेकिन कोई भी विपक्षी नेता भाजपा से डरने वाला नहीं है.

राहुल गांधी ने महंगाई, बेरोजगारी, जीएसटी, नोटबंदी का उल्लेख करते हुए यह भी कहा कि देश गहरे आर्थिक संकट से घिर गया है और अब त्रासदी और बर्बादी की तरफ बढ़ रहा है.

उन्होंने दावा किया, ‘आरएसएस और भाजपा हर संस्था पर आक्रमण कर रहे हैं. वे राष्ट्रीय ध्वज को अपनी निजी संपत्ति समझते हैं. भाइयों और बहनों, आज तिरंगे पर हमला हो रहा है.’

राहुल गांधी ने ‘नेशनल हेराल्ड’ मामले में खुद से हुई पूछताछ का परोक्ष रूप से हवाला देते हुए केंद्र सरकार पर निशाना साधा और कहा, ‘वे सोचते हैं कि सीबीआई और ईडी का उपयोग करके विपक्ष को डरा लेंगे. समस्या ये है कि वे भारत के लोगों को समझते नहीं हैं. आप कितनी भी पूछताछ कर लो, कोई भी विपक्षी नेता भाजपा से डरने वाला नहीं है.’

उन्होंने भाजपा की सोच को देश के लिए विभाजनकारी करार दिया, लेकिन कहा कि यह देश नहीं बंटेगा और एकजुट रहेगा. उन्होंने दावा किया कि भारत बहुत बड़े आर्थिक संकट से घिरा है और बर्बादी की तरफ बढ़ रहा है.

कन्याकुमारी में भारत जोड़ी यात्रा के शुभारंभ के दौरान एक कांग्रेस समर्थक पार्टी का झंडा लहराता हुए. (फोटो: पीटीआई)

राहुल गांधी ने कहा, ‘नोटबंदी, गलत जीएसटी, कृषि विरोधी तीन कानून, ये सब कुछ उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए उठाए गए कदम थे. यह वही विचार है, जो अंग्रेजों का हुआ था कि भारत को बांटो, भारत के लोगों को एक दूसरे से लड़ाओ और फिर भारत को लूटो.’

उनके अनुसार, अंग्रेजों के समय ‘ईस्ट इंडिया कंपनी’ होती थी और आज तीन-चार कंपनियां पूरे भारत को नियंत्रित कर रही हैं.

राहुल गांधी ने कहा था, ‘भारत जोड़ो यात्रा भारत की जनता को सुनने के लिए शुरू की गई है. हम आरएसएस और भाजपा की तरह भारत की आवाज को दबाना नहीं चाहते. हम भारत की जनता के विवेक को सुनना चाहते हैं.’

पदयात्रा 11 सितंबर को केरल पहुंचेगी और अगले 18 दिनों तक राज्य से होते हुए 30 सितंबर को कर्नाटक पहुंचेगी और उसके बाद उत्तर की तरफ अन्य राज्यों में जाएगी.

करीब पांच महीनों में यह यात्रा 12 राज्य और केंद्रशासित प्रदेशों तक पहुंचेगी. यात्रा दो बैच में सुबह 7 बजे से 10:30 बजे तक और फिर दोपहर 3:30 बजे से शाम 6:30 बजे तक चलेगी. प्रतिभागियों की योजना प्रतिदिन 22-23 किलोमीटर चलने की है.

प्रतिभागियों की औसत उम्र 38 साल है और इनमें करीब 30 फीसदी महिलाएं हैं.

कांग्रेस ने कहा है कि करीब 50,000 नागरिकों ने यात्रा में शामिल होने के लिए पंजीकरण कराया है.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)