भाजपा की वरिष्ठ नेता उमा भारती ने महिला आरक्षण विधेयक में ओबीसी कोटे पर चर्चा के लिए पिछड़े वर्ग के नेताओं की एक बैठक भी बुलाई थी. भारती ने कहा कि मध्य प्रदेश में चुनाव आ रहे हैं, राजनीतिक दल बिना आरक्षण ही पिछड़ी जातियों की महिलाओं को टिकट दें. आरक्षण की कोई ज़रूरत नहीं है.
नई दिल्ली: मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने महिला आरक्षण विधेयक में ओबीसी उप-कोटा दिए जाने की वकालत की है.
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, शनिवार को एक कार्यक्रम में उन्होंने कहा, ‘मध्य प्रदेश में चुनाव आ रहे हैं, इसलिए इसे अभी लागू किया जा सकता है. आप (राजनीतिक दल) बिना आरक्षण ही पिछड़ी जातियों की महिलाओं को टिकट दें. आरक्षण की कोई जरूरत नहीं है, केवल आपकी इच्छाशक्ति की जरूरत है.’
भारती ने इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया कि वह कांग्रेस पार्टी की भाषा बोल रही हैं. उन्होंने कहा, ‘लोग कहते हैं कि मैं कांग्रेस के सुर में बोल रही हूं, लेकिन ऐसा नहीं है. कांग्रेस मेरे सुर में बोल रही है. एक समय था जब कांग्रेस और भाजपा एक ही भाषा बोलते थे कि ओबीसी को आरक्षण नहीं मिलना चाहिए. आज कांग्रेस ने मजबूरी में अपना रुख बदला है क्योंकि बिहार और उत्तर प्रदेश में उनका सफाया हो गया है.’
उन्होंने कहा कि ओबीसी वर्ग को हिंदुत्व के साथ रहना चाहिए और हिंदुत्व का विरोध करने वाले नेताओं के पास नहीं जाना चाहिए, और आरक्षण इसे हासिल करने का तरीका है.
भारती ने कहा, ‘अगर आप चाहते हैं कि भारतमाता मजबूत हों तो आपको ओबीसी वर्ग को उसका स्थान देना होगा, उनका अपमान न करें.’
इससे पहले भारती ने सोशल मीडिया पर अपील करके शनिवार को पिछड़े वर्ग के नेताओं की एक बैठक बुलाई थी.
आज राज्यसभा में भी महिला आरक्षण बिल पूर्ण बहुमत से पारित हो गया।अब यदि पिछड़े वर्गों को स्थान देने के लिए एक और संशोधन का मार्ग निकालना है इसलिए भोपाल शहर के एवं उसके आसपास के पिछड़े वर्ग के प्रमुख नेताओं के साथ विचार विमर्श हुआ।
23 सितंबर को एक और बड़ी बैठक बुलाने का फैसला हुआ। pic.twitter.com/jYp3iwd4lC— Uma Bharti (@umasribharti) September 21, 2023
पत्रिका के मुताबिक, उन्होंने इससे पहले कहा था, ‘हमारी पार्टी की सरकार ने इसको जिस भी रूप में पारित किया वह स्वीकार है, लेकिन जब तक यह विधेयक लागू नहीं होता तब तक ओबीसी आरक्षण के संशोधन के लिए दृढ़निश्चयी बने रहेंगे. यह आरक्षण संविधान में विशेष संशोधन है तो, देश की 60 फीसदी आबादी ओबीसी के लिए एक संशोधन और किया जा सकता है.’
नई दुनिया के मुताबिक, शनिवार की बैठक में उन्होंने कहा कि मैं 33 फीसदी महिला आरक्षण में ओबीसी आरक्षण को लेकर सरकार के ऊपर दबाव बनाऊंगी.
बता दें कि राज्य में विधानसभा चुनावों के नजदीक आने के साथ ही भारती कई मुद्दों पर भाजपा सरकार के विपरीत रुख दिखाती नजर आई हैं.
भाजपा नेतृत्व के साथ उनका टकराव तब शुरू हुआ जब उन्होंने हाल ही में ऐसे 19 नामों की एक लिस्ट भाजपा नेतृत्व को भेजी, जिन्हें वह आगामी विधानसभा चुनाव में पार्टी उम्मीदवार के तौर पर देखना चाहती थीं.
इसके बाद, उनके एक समर्थक प्रीतम सिंह लोधी को पिछोर से भाजपा उम्मीदवार के रूप में नामित भी किया गया है. वहीं, उनके भतीजे राहुल सिंह लोधी को भी पूर्व में चौहान सरकार में मंत्री बनाया गया था, जिसे भारती को खुश करने के कदम के रूप में देखा गया था.
हालांकि, ये सारे प्रयास तब खराब हो गए जब 4 सितंबर को उन्हें पार्टी की जन आशीर्वाद यात्रा में आमंत्रित नहीं किया गया. उन्होंने तब कहा था, ‘हो सकता है कि वे (भाजपा नेता) घबरा गए हों कि अगर मैं वहां रहूंगी तो जनता का पूरा ध्यान मुझ पर होगा.’