आंध्र प्रदेश: निर्वाचन आयोग ने मुख्यमंत्री जगन रेड्डी पर कथित हमले को लेकर रिपोर्ट मांगी

13 अप्रैल को विजयवाड़ा में वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के चुनाव अभियान के दौरान एक अज्ञात व्यक्ति ने कथित तौर पत्थर फेंका, जिसमें आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगनमोहन रेड्डी को बाईं आंख के ठीक ऊपर चोट लगी. निर्वाचन आयोग ने इसे लेकर प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी को घटना और हमले के लिए जिम्मेदार व्यक्तियों पर एक विस्तृत रिपोर्ट भेजने का निर्देश दिया है. 

आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगनमोहन रेड्डी. (फोटो साभार:X/@YSRCParty)

हैदराबाद: भारत के चुनाव आयोग (ईसीआई) ने आंध्र प्रदेश में कथित पथराव की घटना, जिसमें प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगनमोहन रेड्डी को बाईं आंख के ठीक ऊपर चोट लगी थी, को गंभीरता से लिया है और शनिवार (13 अप्रैल) को इस पर रिपोर्ट मांगी.

ईसीआई ने आंध्र प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) मुकेश कुमार मीणा को घटना और हमले के लिए जिम्मेदार व्यक्तियों पर एक विस्तृत रिपोर्ट भेजने का निर्देश दिया है. इसके अलावा, मीणा ने विजयवाड़ा के पुलिस आयुक्त कंठी राणा टाटा से पूछताछ करने और विवरण प्रस्तुत करने को कहा है.

यह हमला तब हुआ जब शनिवार रात 8.10 बजे विजयवाड़ा (मध्य) विधानसभा क्षेत्र के सिंहनगर इलाके में भीड़ बढ़ने के कारण प्रचार वाहन धीमी गति से चल रहा था.

उस समय विजयवाड़ा में युवाजन श्रमिक रैयथू कांग्रेस पार्टी (वाईएसआर कांग्रेस पार्टी) के चुनाव अभियान के दौरान जगन रेड्डी अपने प्रचार वाहन की छत पर खड़े थे और हाथ उठाकर भीड़ का अभिवादन कर रहे थे. तभी पास की इमारत से पत्थर गिरा। उन्होंने बचने की कोशिश की, लेकिन वह उनके माथे पर आंख के ठीक ऊपर लगा. इसके बाद सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें तुरंत बस के अंदर पहुंचाया.

जगन से टकराने के बाद पत्थर निर्वाचन क्षेत्र के वाईएसआर कांग्रेस उम्मीदवार वी. श्रीनिवास राव पर भी गिरा.

पुलिस महानिदेशक केवी राजेंद्रनाथ रेड्डी ने संवाददाता को बताया कि जांच में अब तक कोई सुराग नहीं मिला है, हालांकि कुछ विशेष टीमें इलाके में सीसीटीवी नेटवर्क की तस्वीरों की जांच कर रही हैं. उन्होंने जल्द ही अपराधी की गिरफ्तारी की उम्मीद जताई.

इस घटना से राजनीतिक हलचल मच गई और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जगन के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की. इसी तरह, तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने कहा कि राजनीतिक मतभेद कभी भी हिंसा तक नहीं बढ़ना चाहिए.

जगन की बहन और आंध्र प्रदेश कांग्रेस कमेटी की अध्यक्ष वाईएस शर्मिला ने कहा कि यह घटना एक दुर्घटना हो सकती है, लेकिन अगर यह जानबूझकर किया गया प्रयास था तो सभी को इसकी निंदा करनी चाहिए.

वाईएसआर कांग्रेस पार्टी प्रमुख के कट्टर प्रतिद्वंद्वी और तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के अध्यक्ष एन. चंद्रबाबू नायडू ने भी घटना की निंदा की और निष्पक्ष जांच की मांग की. उन्होंने ईसीआई से यह भी आग्रह किया कि यदि जिम्मेदार अधिकारी लापरवाही बरतते पाए जाएं तो उन्हें दंडित किया जाए.

हालांकि, वाईएसआर कांग्रेस ने हमले के लिए प्रचार अभियान के दौरान नायडू के भड़काऊ भाषणों पर उंगली उठाई.

वाईएसआर कांग्रेस के महासचिव सज्जला रामकृष्ण रेड्डी ने रविवार को एक संवाददाता सम्मेलन के दौरान मीडियाकर्मियों से कहा कि टीडीपी सुप्रीमो हताश हो गए हैं और भड़काऊ भाषण देने लगे हैं क्योंकि बस यात्रा को भारी प्रतिक्रिया मिली है.

अपनी बात को साबित करने के लिए वाईएसआर कांग्रेस नेता ने नायडू द्वारा संबोधित एक सार्वजनिक बैठक का वीडियो भी चलाया, जिसमें नायडू ने लोगों से जगन पर पत्थरों या अन्य चीजों से हमला करने का आह्वान किया था. नायडू ने वीडियो में कहा था, ‘अगर आप (जनता) गुस्से में आंखें लाल कर लेंगे तो जगन राख में मिल जाएंगे.’

इस हमले ने लोगों के मन में कई संदेह पैदा कर दिए हैं क्योंकि यह घटना तब हुई जब बिजली बंद होने के कारण ब्लैकआउट हो गया था. हालांकि, इसे लेकर विजयवाड़ा के पुलिस आयुक्त टाटा ने स्पष्ट किया है कि जगन की बस को ओवरहेड तारों के संपर्क में आने से बचाने के लिए जानबूझकर बिजली हटा दी गई थी.

इसके अलावा, सुरक्षा व्यवस्था पर भी सवाल उठे क्योंकि तैनात किए गए सैकड़ों सुरक्षाकर्मी हमले को रोकने में विफल रहे. इसे एक गंभीर उल्लंघन माना जा रहा है क्योंकि मुख्यमंत्री की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए खुफिया सुरक्षा विंग, मुख्यमंत्री सुरक्षा समूह और स्थानीय पुलिस समेत कई स्तर के कर्मचारी मौजूद थे. यह भी बता दें कि यह घटना स्थानीय पुलिस स्टेशन से महज दो किलोमीटर की दूरी पर हुई.

ऐसा भी संदेह जताया जा रहा है कि जगन को जो चोट लगी, वह पत्थर नहीं बल्कि हमलावरों द्वारा एयर गन से चलाई गोली से लगी है.

इस बीच, सभी दलों के राजनीतिक कार्यकर्ताओं ने तर्क दिया है कि यह सुनिश्चित करना एक सामान्य बात है कि शाम को मुख्यमंत्री की सार्वजनिक उपस्थिति के दौरान कोई बिजली कटौती या रुकावट न हो. जनता पर ध्यान केंद्रित करने के लिए जनरेटर से चलने वाली फ्लड लाइटें भी नहीं थीं, जिससे घटना को टाला जा सकता था, जबकि प्रचार बस में लगी फ्लड लाइट जगन की ओर मुड़ी हुईं थीं, जिससे उन्हें निशाना बनाना आसान था.

बताया गया है कि घटना के बाद जगन को बस में प्राथमिक उपचार दिया गया और कुछ देर बाद यात्रा जारी रखने की अनुमति दी गई. रात 10.30 बजे जब बस कृष्णा जिले के केसरपल्ली शिविर पहुंची, तो जगन के साथ उनकी पत्नी वाईएस भारती भी थीं. वे दोनों विजयवाड़ा के सरकारी जनरल अस्पताल गए जहां उनकी चोट पर दो टांके लगाए गए. अस्पताल ने कहा है कि चोट गंभीर नहीं है और जगन दो या तीन दिनों में ठीक हो जाएंगे, हालांकि उनकी आंख के ऊपर सूजन है.

(इस रिपोर्ट को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें.)

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