नई दिल्ली: बीते सप्ताह के अंत में शनिवार (20 जुलाई) और रविवार (21 जुलाई) को तीन राज्यों- उत्तर प्रदेश, राजस्थान और पश्चिम बंगाल में मालगाड़ियों के पटरी से उतरने के कारण रेल यातायात बाधित रहा.
द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, उत्तर प्रदेश में गोंडा से गाजियाबाद तक जा रही एक मालगाड़ी शनिवार शाम अमरोहा रेलवे स्टेशन के पास पटरी से उतर गई, जिससे लखनऊ-दिल्ली रेलवे ट्रैक पर रेल यातायात प्रभावित हुआ. इस घटना में किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है, लेकिन इस घटना के कारण 28 पैसेंजर ट्रेनों का मार्ग बदलना पड़ा और छह ट्रेनों को रद्द करना पड़ा.
रिपोर्ट के अनुसार, रविवार दोपहर तक सामान्य स्थिति बहाल हो गई.
वरिष्ठ मंडल वाणिज्यिक प्रबंधक आदित्य गुप्ता ने ट्रेन की पटरी से उतरने की वजह लोकोमोटिव दबाव में अचानक गिरावट को बताया, जिसके कारण ड्राइवरों को आपातकालीन ब्रेक लगाना पड़ा.
गुप्ता ने कहा, ‘उत्तर प्रदेश के गोंडा से गाजियाबाद जा रही एक मालगाड़ी के नौ डिब्बे मुरादाबाद खंड पर अमरोहा रेलवे स्टेशन के पास पटरी से उतर गए. ड्राइवर इकबाल और अमित ने कहा कि लोकोमोटिव में अचानक दबाव कम हो गया था, जिसके बाद उन्हें आपातकालीन ब्रेक लगाना पड़ा, जो शायद ट्रैन के पटरी से उतरने का कारण बना.’
राजस्थान के अलवर में रविवार तड़के 2.30 बजे एक मालगाड़ी के तीन डिब्बे पटरी से उतर गए, जिससे अलवर-मथुरा रेल मार्ग प्रभावित हुआ. इस घटना में भी किसी यात्री या मालगाड़ी को नुकसान नहीं पहुंचा.
इसी तरह, पश्चिम बंगाल के नादिया जिले के राणाघाट रेलवे स्टेशन पर रविवार शाम एक खाली मालगाड़ी पटरी से उतर गई, हालांकि घटना के कारण इसका रेल परिचालन पर कोई असर नहीं पड़ा.
गौरतलब है कि इससे पहले पिछले ही हफ्ते उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले में गुरुवार (18 जुलाई) की दोपहर चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस ट्रेन के आठ डिब्बे पटरी से उतर जाने के कारण तीन लोगों की मौत हो गई थी और 32 लोग घायल हुए थे. ट्रेन के लोको पायलट ने दावा किया था कि उन्हें ट्रेन के पटरी से उतरने के ठीक पहले एक विस्फोट की आवाज सुनाई दी थी.
करीब महीनेभर पहले ही पश्चिम बंगाल के दार्जिलिंग में 17 जून को सियालदह जाने वाली कंचनजंघा एक्सप्रेस न्यू जलपाईगुड़ी के पास एक मालगाड़ी से टकरा गई थी. इस ट्रेन हादसे में लोको पायलट समेत 15 लोगों के मारे गए थे.