कर्नाटक: भूमि घोटाला विवाद के बीच सिद्धारमैया सरकार ने सीबीआई को दी आम सहमति वापस ली

कर्नाटक के क़ानून और संसदीय मामलों के मंत्री एचके पाटिल ने कहा कि ऐसा इसलिए किया गया है क्योंकि सीबीआई मामलों की जांच में पक्षपाती रुख़ अपनाती है. इसलिए हम हर मामले का सत्यापन करने के बाद जांच की अनुमति देंगे.

कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया. (फोटो साभार: फेसबुक/Chief Minister of Karnataka)

नई दिल्ली: कर्नाटक सरकार ने केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को पक्षपाती बताते हुए गुरुवार (26 सितंबर) को राज्य में मामलों की जांच के लिए एजेंसी को दी गई आम सहमति वापस लेने का फैसला किया.

हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, राज्य के कानून और संसदीय मामलों के मंत्री एचके पाटिल ने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया की अध्यक्षता में राज्य मंत्रिमंडल की बैठक के बाद मीडिया को इस फैसले की जानकारी दी.

मंत्री ने कहा, ‘दिल्ली विशेष पुलिस स्थापना अधिनियम, 1946 के तहत कर्नाटक राज्य में आपराधिक मामलों की जांच के लिए सीबीआई को आम सहमति देने वाली अधिसूचना वापस ले ली गई है.’

कानून के अनुसार, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को अपने अधिकार क्षेत्र में जांच करने के लिए संबंधित राज्य सरकारों से सहमति की आवश्यकता होती है.

मंत्री ने कहा, ‘ऐसा इसलिए किया गया है क्योंकि यह स्पष्ट है कि सीबीआई या केंद्र सरकार अपने संसाधनों का इस्तेमाल करते समय उनका विवेकपूर्ण तरीके से उपयोग नहीं कर रही है. इसलिए, मामले-दर-मामलं, हम सत्यापन करेंगे और सीबीआई जांच के लिए सहमति देंगे; आम सहमति वापस ले ली गई है.’

उन्होंने आगे कहा कि यह निर्णय मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण (एमयूडीए) मामले में मुख्यमंत्री को बचाने के लिए नहीं लिया गया है. उन्होंने कहा, ‘मुख्यमंत्री के मामले में लोकायुक्त जांच के लिए अदालत का आदेश है, इसलिए ऐसा कोई सवाल ही नहीं उठता.’

उन्होंने कहा कि कई मामलों में सीबीआई का दुरुपयोग किया गया. उन्होंने दावा किया कि एजेंसी ने कर्नाटक में कई मामलों में आरोपपत्र दाखिल नहीं किए हैं.

उन्होंने कहा, ‘उन्होंने (सीबीआई) आरोपपत्र दाखिल करने से इनकार कर दिया, उन्होंने कई खनन मामलों की जांच करने से इनकार कर दिया.’

इस बीच, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि वह एमयूडीए भूमि घोटाले के आरोपों के बीच अपने पद से इस्तीफा नहीं देंगे.

सीएम ने कहा, ‘मैं इस्तीफा नहीं दूंगा. मुझे क्यों इस्तीफा देना चाहिए? एचडी कुमारस्वामी के खिलाफ आरोप हैं, क्या उन्होंने इस्तीफा दिया? कुमारस्वामी को इस्तीफा देने दें. क्या मोदी ने कुमारस्वामी का इस्तीफा ले लिया है.’

उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने भी इस मामले पर टिप्पणी की. उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि यह सब एक राजनीतिक नाटक है जिसे वे करने की कोशिश कर रहे हैं. कई केंद्रीय मंत्रियों और भाजपा के अन्य नेताओं के खिलाफ कई मामले हैं. क्या उन सभी ने इस्तीफा दे दिया है? सीएम को इस्तीफा देने की कोई जरूरत नहीं है… पार्टी अध्यक्ष होने के नाते मैं आपको बता रहा हूं कि सीएम के इस्तीफे का कोई सवाल ही नहीं है.’