अडानी की कंपनी ने बांग्लादेश की बिजली आपूर्ति आधी की, पड़ोसी देश का दाम बढ़ाने का आरोप

ख़बरें हैं कि बकाया न चुकाए जाने के चलते अडानी पावर ने बांग्लादेश की बिजली आपूर्ति आधी कर दी है. हालांकि, पावर डेवलपमेंट बोर्ड के अधिकारी ने एक स्थानीय अख़बार से कहा कि पिछले बकाये का एक हिस्सा चुका दिया गया था, लेकिन जुलाई से अडानी पहले की तुलना में अधिक शुल्क ले रहे हैं.

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(फोटो साभार: वेबसाइट/अडानी पावर)

नई दिल्ली: उद्योगपति गौतम अडानी की पावर कंपनी ने बांग्लादेश की बिजली आपूर्ति आधी कर दी है.

बांग्लादेशी अख़बार द डेली स्टार के अनुसार, पावर ग्रिड बांग्लादेश के आंकड़ों से पता चला है कि अडानी के प्लांट ने गुरुवार (31 अक्टूबर) रात को आपूर्ति कम कर दी.

अडानी पावर की स्वामित्व वाली ‘अडानी पावर झारखंड लिमिटेड’ (एपीजेएल) ने 846 मिलियन अमेरिकी डॉलर के बकाया बिल के कारण बांग्लादेश को अपनी आधी बिजली आपूर्ति रोक दी है.

बता दें कि शेख हसीना के प्रधानमंत्री पद से हटने के बाद से ही अडानी अंतरिम सरकार पर बकाया भुगतान के लिए दबाव बना रहे हैं .

बकाया चुकाने के लिए बांग्लादेश को लिखा था पत्र

अडानी की कंपनी ने 27 अक्टूबर को ऊर्जा सचिव को पत्र लिखा था, जिसमें बांग्लादेश पावर डेवलपमेंट बोर्ड (पीडीबी) से 30 अक्टूबर तक बकाया राशि का भुगतान करने को कहा गया था.

पत्र में कहा स्पष्ट किया गया था कि यदि बिलों का भुगतान नहीं किया गया तो कंपनी को 31 अक्टूबर को बिजली आपूर्ति निलंबित करके पावर परचेज एग्रीमेंट (पीपीए) के तहत सुधारात्मक कार्रवाई करने के लिए बाध्य होना पड़ेगा.

कंपनी का कहना है कि पीडीबी न तो बांग्लादेश कृषि बैंक से 170.03 मिलियन अमेरिकी डॉलर की राशि के लिए ऋण पत्र (एलसी) प्रदान किया है और न ही 846 मिलियन अमेरिकी डॉलर की बकाया राशि का भुगतान किया है.

अडानी की कंपनी ने बढ़ाया बिजली का दाम: बांग्लादेश

डेली स्टार ने पीडीबी के एक अधिकारी के हवाले से छापा है कि उन्होंने पहले ही पिछले बकाये का एक हिस्सा चुका दिया था, लेकिन जुलाई से अडानी पिछले महीनों की तुलना में अधिक शुल्क ले रहे हैं.

अधिकारी का कहना है कि पीडीबी प्रति सप्ताह लगभग 18 मिलियन अमेरिकी डॉलर का भुगतान कर रहा है, जबकि शुल्क 22 मिलियन अमेरिकी डॉलर से अधिक है. ‘यही कारण है कि देय भुगतान में फिर से वृद्धि हुई है.’

अधिकारी ने आगे कहा है कि पीबीडी ने पिछले सप्ताह का भुगतान भी कृषि बैंक को सौंप दिया था, लेकिन डॉलर की कमी के कारण बैंक ऋण पत्र नहीं जारी कर सका.

बांग्लादेश को कितनी कम बिजली मिली?

डेली स्टार के अनुसार, बांग्लादेश में गुरुवार और शुक्रवार की मध्य रात्रि को 1,600 मेगावाट से अधिक की कमी दर्ज की गई. दरअसल, 1,496 मेगावाट का संयंत्र अब एक इकाई से 700 मेगावाट बिजली का उत्पादन कर रहा है.

बता दें कि बांग्लादेश में बिजली आपूर्ति करने वाला एपीजेएल, झारखंड के गोड्डा जिले में है.

बिजली कटौती का बांग्लादेश पर असर

माना जा रहा है कि बांग्लादेश के लिए बिजली आपूर्ति में कटौती का इससे बुरा समय नहीं हो सकता. आर्थिक मंदी से जूझ रहा बांग्लादेश खुद को संभालने के लिए तेजी से शहरीकरण और औद्योगिक विस्तार पर जो दे रहा है, जिसके लिए उसे बिजली की आवश्यकता है.

देश बिजली आपूर्ति के लिए बहुत हद तक आयातित ऊर्जा संसाधनों पर निर्भर है, लेकिन उच्च वैश्विक ऊर्जा कीमतों ने आयात को लगातार महंगा बना दिया है, जिससे बांग्लादेश के विदेशी मुद्रा भंडार पर दबाव बढ़ रहा है.

इंडिया टुडे के मुताबिक, अडानी पावर द्वारा अपनी आपूर्ति आधी कर दिए जाने के कारण बांग्लादेश में बिजली संकट गहरा गया है, जिससे ब्लैकआउट हो रहे हैं, जो उद्योगों, व्यवसाय और आमजनों को प्रभावित कर रहे हैं.