गुजरात: हिंसा के बाद यूपी-बिहार वालों का पलायन जारी, 431 लोग गिरफ्तार

बीते 28 सितम्बर को एक बच्ची के साथ बलात्कार करने के आरोप में बिहार के एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया था. इसके बाद से ही गैर-गुजरातियों को निशाना बनाया जा रहा और सोशल मीडिया पर घृणा संदेश फैलाए गए.

Ahmedabad: Migrant workers prepare to board the Sabarmati Express in view of protests which broke out over an alleged rape of a 14-month-old girl, in Ahmedabad, Monday, October 8, 2018. (PTI Photo) (PTI10_8_2018_000158B)

बीते 28 सितम्बर को एक बच्ची के साथ बलात्कार करने के आरोप में बिहार के एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया था. इसके बाद से ही गैर-गुजरातियों को निशाना बनाया जा रहा और सोशल मीडिया पर घृणा संदेश फैलाए गए.

Ahmedabad: Migrant workers prepare to board the Sabarmati Express in view of protests which broke out over an alleged rape of a 14-month-old girl, in Ahmedabad, Monday, October 8, 2018.  (PTI Photo)  (PTI10_8_2018_000158B)
गुजरात से वापस लौटते यूपी-बिहार के लोग (फोटो: पीटीआई)

अहमदाबाद: साबरकांठा जिले में 14 माह की बच्ची से बलात्कार की घटना के बाद यूपी-बिहार के लोगों का पलायन जारी है. गैर-गुजरातियों पर कथित तौर पर हमला करने के मामलों में गुजरात के विभिन्न भागों से पुलिस ने अब तक 431 लोगों को गिरफ्तार किया है.

इस घटना के बाद राज्य के कई हिस्सों में गैर- गुजरातियों, खासतौर पर उत्तर प्रदेश और बिहार के रहने वाले लोगों को निशाना बनाया जा रहा है.

बीते 28 सितम्बर को एक बच्ची के साथ कथित रूप से बलात्कार करने के लिए बिहार के एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया था. इसके बाद से ही गैर-गुजरातियों को निशाना बनाया गया और सोशल मीडिया पर घृणा संदेश फैलाए गए.

पुलिस महानिदेशक शिवानंद झा ने बताया, ‘मुख्य रूप से छह जिले (हिंसा से) प्रभावित हुए हैं. मेहसाणा और साबरकांठा सबसे अधिक प्रभावित हुए हैं. इन जिलों में, 42 मामलें दर्ज किये गये हैं. जांच के दौरान आरोपियों के नाम सामने आने के बाद और लोगों को गिरफ्तार किया जायेगा.’

उन्होंने बताया कि प्रभावित क्षेत्रों में राज्य रिजर्व पुलिस (सीआरपी) की 17 कंपनियों को तैनात किया गया है.

उन्होंने कहा, ‘गैर-गुजराती के निवास क्षेत्रों और उन कारखानों में जहां वे काम करते हैं, वहां सुरक्षा बढ़ा दी गई है. पुलिस ने इन इलाकों में गश्त भी बढ़ा दी है.’

डीजीपी ने बताया कि सोशल मीडिया पर अफवाहें फैलाने के लिए दो मामलें दर्ज किए गए हैं.

हमलों के बाद गैर-गुजरातियों के पलायन के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में झा ने कहा कि आने वाले त्योहारों के मद्देनजर वे अपने मूल राज्यों के लिए रवाना हो सकते है.

उन्होंने कहा कि सबसे अधिक प्रभावित जिले गांधीनगर में पुलिस अधिकारिओं को शिविरों का आयोजन करने और स्थानीय नेताओं के साथ संवाद करने के निर्देश दिये गये है. उन्होंने कहा कि जिलों में अतिरिक्त सुरक्षा बल और वाहन उपलब्ध कराये गये है.

इस बीच कांग्रेस विधायक अल्पेश ठाकोर ने घोषणा की कि इन हमलों के मद्देनजर उनके समर्थकों के खिलाफ दर्ज किए गए झूठे मामलों को यदि सरकार ने वापस नहीं लिया तो वह 11 अक्टूबर से सद्भावना उपवास करेंगे.

सोशल मीडिया पर अल्पेश ठाकोर का एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें तथाकथित रूप से वे कारखानों को बंद करने और बदला लेने की धमकी दे रहे हैं. उनके संगठन क्षत्रिय ठाकोर सेना पर उत्तर-भारतीयों पर हमले का आरोप लग रहा है.

इस मामले को लेकर विपक्ष ने राज्य की भाजपा और मोदी सरकार पर निशाना साधा है. बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा, ‘ये बेहद दुखद है कि जिन लोगों ने वोट दिया और मोदीजी को बनारस से जिताया, उन्हीं को गुजरात में निशाना बनाया जा रहा है. गुजरात की भाजपा सरकार को उन लोगों के खिलाफ सख्त कदम उठाया जाना चाहिए जिन्होंने लोगों पर हमला किया.’

वहीं राजद नेता तेजस्वी यादव ने कहा, ‘देश के विभिन्न राज्यों में रहने वाले बिहार के लोगों पर हर जगह हमला किया जा रहा है. बिहार के मुख्यमंत्री ने इसे रोकने के लिए क्या किया है? चाहे गुजरात हो या बिहार, हम भारतीय के रूप में कमाने के लिए देश में कहीं भी जा सकते हैं.’

हालांकि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का इस मामले में अलग ही रवैया देखने को मिला. उन्होंने कहा, ‘गुजरात के मुख्यमंत्री ने मुझे बताया कि पिछले तीन दिनों में कोई ऐसी घटना नहीं हुई है. जो लोग गुजरात के विकास से द्वेष रखते हैं, उन्होंने ये अफवाह फैलाई है. गुजरात सरकार द्वारा प्रभावी कदम उठाए गए हैं.’

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)