लॉन्चिंग के अगले दिन ही वंदे भारत ट्रेन का इंजन फेल, यात्रियों को दूसरी ट्रेन से भेजना पड़ा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को हरी झंडी दिखाई थी. अधिकतम 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली यह ट्रेन सबसे तेज़ गति की ट्रेनों में से एक है.

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New Delhi: Prime Minister Narendra Modi flags off Vande Bharat Express, India's first semi-high speed train, at New Delhi Railway Station, Friday, Feb.15, 2019. The train will run between Delhi-Varanasi. (PIB Photo via PTI) (PTI2_15_2019_000042B)
New Delhi: Prime Minister Narendra Modi flags off Vande Bharat Express, India's first semi-high speed train, at New Delhi Railway Station, Friday, Feb.15, 2019. The train will run between Delhi-Varanasi. (PIB Photo via PTI) (PTI2_15_2019_000042B)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को हरी झंडी दिखाई थी. अधिकतम 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली यह ट्रेन सबसे तेज़ गति की ट्रेनों में से एक है.

New Delhi: Prime Minister Narendra Modi flags off Vande Bharat Express, India's first semi-high speed train, at New Delhi Railway Station, Friday, Feb.15, 2019. The train will run between Delhi-Varanasi. (PIB Photo via PTI) (PTI2_15_2019_000042B)
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर बीते 15 फरवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वंदे भारत एक्सप्रेस को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया था. यह ट्रेन दिल्ली से बनारस के बीच चलाई जाएगी. (फोटो: पीटीआई)

नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा हरी झंडी दिखाने के एक दिन बाद शनिवार को वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को तकनीकी दिक्कतों का सामना करना पड़ा. ट्रेन में यह गड़बड़ी दिल्ली से लगभग 200 किलोमीटर दूर उत्तर प्रदेश के टुंडला जंक्शन से महज 15 किलोमीटर की दूरी पर हुई.

एनडीटीवी के मुताबिक, ट्रायल रन के दौरान वंदे भारत एक्सप्रेस को पहले कमर्शियल संचालन के लिए वाराणसी से नई दिल्ली लाया जा रहा था लेकिन इसी दौरान ट्रेन के आखिरी कुछ डिब्बों के ब्रेक जाम हो गए. ब्रेक डाउन के बाद यात्रा कर रहे मीडिया कर्मियों को विक्रमशिला एक्सप्रेस से दिल्ली लाया गया.

ट्रेन के रुकने से पहले एक्सप्रेस का आखिरी डिब्बा आवाज करने लगा. कुछ गड़बड़ी का अंदेशा होने पर लोको पायलट ने ट्रेन की रफ्तार कुछ देर के लिए कम कर दी. ट्रेन से धुंआ निकलते भी देखा गया और ट्रेन के आखिरी चार डिब्बों से दुर्गंध आने लगी.

सभी डिब्बों की बिजली आपूर्ति ठप हो गई जिसके बाद इंजीनियरों ने 10 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से ट्रेन को दोबारा शुरू किया.

इस दौरान इंजीनियरों ने टॉर्च और अन्य उपकरणों की मदद से ट्रेन के डिब्बों के नीचे निरीक्षण करते रहे. इस गड़बड़ी के सही कारणों का अभी पता नहीं लग सका है. हालांकि, एक रेलवे प्रवक्ता ने कहा कि ऐसा लगता है कि रेलवे ट्रैक पर कुछ मवेशियों के आने पर ट्रेन की यात्रा बाधित हुई.

बता दें कि ट्रेन आम जनता के लिए आधिकारिक तौर पर रविवार से शुरू होनी है. हालांकि, इस ब्रेकडाउन की वजह से रविवार को आधिकारिक तौर पर शुरू हो रही इस ट्रेन के संचालन पर संशय है.

इंजीनियरों द्वारा जाम हो चुके ब्रेक को दुरुस्त करने के बाद ट्रेन को 10 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से चलाना शुरू किया गया लेकिन इसमें एक बार फिर दिक्कत आने पर वरिष्ठ अधिकारियों से सलाह ली गई और इसके बाद इसे 40 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से चलाने का फैसला किया गया.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को इस ट्रेन को हरी झंडी दिखाई थी. पुलवामा आतंकी हमले के बाद सरकार ने बहुत ही साधारण कार्यक्रम में इसे लॉन्च किया था. रेलवे बोर्ड के चेयरमैन वीके यादव ने कहा, ‘इस ट्रेन को हरी झंडी दिखाया जाना एक संदेश है कि आतंकवाद भारत के विकास में बाधक नहीं बन सकता.’

बता दें कि 17 फरवरी से आम यात्रियों के लिए उपलब्ध होने वाली यह ट्रेन वंदे भारत एक्सप्रेस सुबह छह बजे दिल्ली से रवाना होगी और दोपहर दो बजे वाराणसी पहुंचेगी. उसी दिन यह ट्रेन वाराणसी से तीन बजे चलेगी और रात 11 बजे दिल्ली पहुंचेगी. सोमवार और बृहस्पतिवार को छोड़कर ट्रेन सप्ताह में पांचों दिन चलेगी.

दिल्ली से वाराणसी जाने के लिए वातानुकूलित कुर्सीयान के टिकट का किराया 1760 रुपये है और एक्जीक्यूटिव श्रेणी का किराया 3310 रुपये है. जबकि, वापसी में वातानुकूलित कुर्सीयान के टिकट का किराया 1700 रुपये और एक्जीक्यूटिव श्रेणी का किराया 3260 रुपये है. दोनों किराये में खान-पान का भी शुल्क शामिल है.

यह ट्रेन अधिकतम 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल सकती है. शताब्दी ट्रेनों से भी बेहतर सुविधा इसमें होगी. इसका मकसद यात्रियों को बिल्कुल नया अनुभव देना है. इसमें 16 वातानुकूलित कोच होंगे जिसमें दो एक्जीक्यूटिव श्रेणी के होंगे. कुल 1128 यात्री इसमें सवार हो पाएंगे.