गुजरात के राजकोट में बीते 6 मार्च को चर्चित मल्टीप्लेयर ऑनलाइन गेम पबजी खेलने पर प्रतिबंध लगा दिया था. गिरफ़्तार किए गए युवकों में से छह अंडर ग्रेजुएट छात्र हैं.
राजकोट: राजकोट पुलिस ने पिछले दो दिनों में चर्चित मल्टीप्लेयर ऑनलाइन गेम पबजी खेलने के आरोप में छह अंडर ग्रेजुएट छात्रों के साथ कुल 10 लोगों को गिरफ्तार किया है. पुलिस ने यह कार्रवाई पबजी पर पाबंदी लगाने का नोटिफिकेशन जारी करने के एक सप्ताह बाद की है.
इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार, 6 मार्च को जारी नोटिफिकेशन में शहर में पबजी गेम पर पाबंदी लगाने वाले पुलिस आयुक्त मनोज अग्रवाल ने कहा, ‘अब तक 12 मामले दर्ज हो चुके हैं.’
उन्होंने कहा, ‘हालांकि यह जमानती अपराध है. लोगों के खिलाफ आरोप दर्ज किए गए हैं लेकिन गिरफ्तार करने जैसी कोई बात नहीं है. प्रक्रिया के तहत उन्हें जमानत दे दी जाएगी. इसके बाद नोटिफिकेशन का पालन नहीं करने के लिए उनके खिलाफ अदालत में मामला चलेगा.’
बुधवार को राजकोट विशेष अभियान समूह (एसजीओ) ने पुलिस मुख्यालय के पास से तीन युवकों को गिरफ्तार किया था. एसओजी पुलिस इंस्पेक्टर रोहित रावल ने कहा, हमारी टीम ने युवकों को रंगे हाथ पकड़ा. उन्हें पबजी गेम खेलते हुए पाया गया जिसके बाद उन्हें हिरासत में ले लिया गया.
उन्होंने कहा, ‘हमने पुलिस आयुक्त द्वारा जारी अधिसूचना का उल्लंघन करने के लिए आईपीसी की धारा 188 के तहत उनके खिलाफ दो मामले दर्ज किए हैं और राजकोट पुलिस की धारा 35 के तहत गुजरात पुलिस अधिनियम के बावजूद पबजी खेलने के लिए 10 लोगों को गिरफ्तार किया है.’
पुलिस ने कहा, ‘जांच के उद्देश्य से उन्होंने मोबाइल फोन को जब्त कर लिया है. रावल ने कहा, यह गेम बहुत ही लत लगाने वाला है और आरोपी गेम खेलने में इतने मशगूल हो हो गए थे कि उन्हें पता ही नहीं चला कि हम उन्हें पकड़ने आ रहे हैं.’
गिरफ्तार किया गया एक शख्स शहर में एक निजी कंपनी के साथ काम करता है, दूसरा मजदूर है जबकि तीसरा काम की तलाश में आया ग्रुेजुएट डिग्रीधारी है. बाद में रावल ने जानकारी दी कि वे उन्हें जमानत पर रिहा करने की तैयारी कर रहे हैं.
इन तीन युवकों की गिरफ्तारी का मामला राजकोट तालुका पुलिस के उस बयान के एक दिन बाद सामने आया जिसमें उन्होंने कहा था कि प्रतिबंधित गेम को खेलने के कारण उन्होंने मंगलवार को छह कॉलेज छात्रों को गिरफ्तार किया है.
राजकोट तालुका पुलिस इंस्पेक्टर वीएस वंजारा ने कहा, ‘विशेष अभियान के तहत पुलिस सब-इंस्पेक्टर एनडी डेमर ने मंगलवार को कलावड रोड पर स्थित कॉलेज के बाहर एक दुकान पर गेम खेलने वाले छह युवकों को गिरफ्तार किया.’
वंजारा ने कहा, ‘पुलिस ने उनके मोबाइल देखा कि क्या पबजी गेम चल रहा है? इसके साथ ही उन्होंने उनके मोबाइट की हिस्ट्री में जाकर भी देखा. हमने उनके खिलाफ छह अलग-अलग मामले दर्ज किए हैं.’ वंजारा ने कहा कि सभी छह छात्रों को जमानत दे दी गई.
वहीं, विश्वविद्यालय पुलिस ने भी कहा था कि उन्होंने कलावड रोड के पास पबजी गेम खेलने पर उन्होंने सट्टा बाजार निवासी एक 25 वर्षीय युवक को गिरफ्तार कर लिया. इसके बाद शाम को पुलिस ने दो अन्य मामले दर्ज किए.
6 मार्च को जारी नोटिफिकेशन में कहा गया था, ‘विभिन्न मीडिया के माध्यम से यह हमारे संज्ञान में आया कि पबजी गेम और मोमो चैलेंज युवाओं की हिंसक प्रवृत्ति को बढ़ा रहे हैं. ये गेम बच्चों और युवाओं की शिक्षा के साथ-साथ व्यवहार, आचरण और भाषा को भी प्रभावित कर रहे हैं.’
नोटिफिकेशन में पुलिस आयुक्त मनोज अग्रवाल ने कहा था, ‘लोगों की सुरक्षा और कानून एवं व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए मैं यहां पबजी गेम और मोमो चैलेंज को खेलने पर प्रतिबंध लगा रहा हूं.’
अग्रवाल ने कहा, ‘यह नोटिफिकेशन राज्य सरकार के दिशानिर्देशों के तहत जारी किया गया था.’
उन्होंने कहा, ‘इस नोटिफिकेशन में मुख्य तौर पर दो बातें थीं. पहला यह कि गेम खेलने वाला व्यक्ति नोटिफिकेशन के उल्लंघन का जिम्मेदार होगा. वहीं दूसरी तरफ वह व्यक्ति भी उतना ही जिम्मेदार होगा जो किसी के गेम खेलने की जानकारी होने के बाद भी प्रशासन को जानकारी नहीं देगा. यह राह चलते लोगों के लिए नहीं बल्कि खासतौर पर माता-पिता और शिक्षक के लिए है.’
उन्होंने कहा कि इसी तरह का प्रतिबंध ब्लू व्हेल चैलेंज गेम पर भी लगाया गया था.