‘द क्विंट’ के संस्थापक संपादक राघव बहल के ख़िलाफ़ ईडी ने दर्ज किया मनी लॉन्ड्रिंग का मामला

ईडी द्वारा दर्ज यह मामला राघव बहल के ख़िलाफ़ आयकर विभाग द्वारा कालाधन-निरोधक कानून के तहत दाखिल आरोपपत्र पर आधारित है.

राघव बहल. (फोटो साभार: फेसबुक)

ईडी द्वारा दर्ज यह मामला राघव बहल के ख़िलाफ़ आयकर विभाग द्वारा कालाधन-निरोधक कानून के तहत दाखिल आरोपपत्र पर आधारित है. बहल ने आरोप लगाया कि केंद्रीय वित्त मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले इन दोनों विभागों की कार्रवाई से उन्हें लगता है कि ईमानदारीपूर्वक और तत्परता से कर चुकाने के बाद भी बिना किसी गलती के उन्हें परेशान किया जा रहा है.

राघव बहल. (फोटो साभार: फेसबुक)
राघव बहल. (फोटो साभार: फेसबुक)

नई दिल्ली : प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने अघोषित विदेशी संपत्ति खरीदने के लिए कथित मनी लॉन्ड्रिंग को लेकर मीडिया कारोबारी राघव बहल के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया है. अधिकारियों ने यह जानकारी दी.

हालांकि बहल ने किसी भी गड़बड़ी से इनकार किया और कहा कि उन्होंने कर अधिकारियों के सामने सभी रिकार्ड समय से पेश किए थे.

संघीय जांच एजेंसी के सूत्रों ने बताया कि उनके और अन्य के खिलाफ आयकर विभाग की शिकायत का संज्ञान लेते हुए ईडी ने इस हफ्ते के शुरू में प्रवर्तन मामला सूचना रिपोर्ट (ईसीआईआर) दर्ज की. ईसीआईआर पुलिस प्राथमिकी के समान है. यह मामला धनशोधन रोकथाम अधिनियम के तहत दर्ज किया गया है.

सूत्रों के अनुसार आयकर विभाग के आरोप पत्र और उसमें दर्ज किए गए सबूतों के गुण-दोष के आधार पर ईसीआईआर दर्ज की गई है.

बता दें कि, राघव बहल समाचार पोर्टल ‘द क्विंट’ और ‘नेटवर्क 18’ समूह के संस्थापक और जाने-माने मीडिया कारोबारी हैं. बहल क्विंटिलिअन मीडिया प्राइवेट लिमिटेड के मालिक हैं. इसी से ‘द क्विंट’ वेबसाइट चलती है. क्विंटिलिअन कंपनी का ‘द न्यूज़ मिनट’ वेबसाइट में भी हिस्सेदारी है.

आयकर विभाग ने हाल ही में बहल के खिलाफ मेरठ की एक अदालत में कालाधन-निरोधक कानून या कालाधन (अज्ञात विदेशी आय और संपत्ति) एवं कर आरोपण कानून, 2015 के प्रावधानों के तहत आरोप पत्र दायर किया था.

बहल ने प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई की बात कबूली है. उन्होंने कहा कि जांच एजेंसी ने लंदन में एक संपत्ति की खरीद के लिए भुगतान किए गए 2.73 लाख पाउंड (करीब 2.38 करोड़ रुपये) का कथित रूप से खुलासा नहीं करने को लेकर आयकर विभाग द्वारा दायर किए गए आरोप पत्र का संज्ञान लेने के बाद ऐसा किया है.

उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्रीय वित्त मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले इन दोनों विभागों की कार्रवाई से उन्हें लगता है कि ईमानदारीपूर्वक और तत्परता से कर चुकाने के बाद भी बिना किसी गलती के उन्हें परेशान किया जा रहा है.

उन्होंने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और सीबीडीटी एवं ईडी के प्रमुखों को भेजे ई-मेल में कहा, ‘जब मेरे और मेरी कंपनियों की ओर से कर्ज चुकाने की बात आती है, तब मेरी तरफ से कोई चूक नहीं की गई है.’

बहल ने अपने पत्र (ईमेल) में लिखा कि वह और उनकी पत्नी ने अपने टैक्स रिटर्न में पूरा खुलासा किया है, जो आयकर विभाग द्वारा उन्हें भेजे गए नोटिसों के कानूनी मुद्दों का निराकरण करता है.

नोटिसों में कहा गया है कि कालाधन से लंदन में अघोषित संपत्ति खरीदी गई. उन्होंने कहा, ‘मैंने 2.73 लाख पाउंड से जुड़े सीमित आरोपों पर सफाई पेश करते हुए सभी सामग्री और जरूरी सबूत आयकर विभाग को दे चुका हूं.’

उन्होंने कहा, ‘मैं पहले ही कारण बताओ नोटिस और बाद की कार्रवाइयों को इलाहाबाद उच्च न्यायालय में चुनौती दे चुका हूं, जो आयकर विभाग का जवाब मिलने के बाद 25 जून को सुनवाई करेगा.’

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