अयोध्या: सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले 10 दिसंबर तक के लिए धारा 144 लगाई गई

अयोध्या मामले के संभावित फैसले के अलावा दीपोत्सव, चेहल्लुम और कार्तिक मेले को लेकर धारा 144 दो महीने तक अयोध्या जिले में लागू रहेगी.

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अयोध्या. (फोटो साभार: ​टूरिज़्म आॅफ इंडिया)

अयोध्या मामले के संभावित फैसले के अलावा दीपोत्सव, चेहल्लुम और कार्तिक मेले को लेकर धारा 144 दो महीने तक अयोध्या जिले में लागू रहेगी.

अयोध्या. (फोटो साभार: टूरिज़्म आॅफ इंडिया)
अयोध्या. (फोटो साभार: टूरिज्म ऑफ इंडिया)

अयोध्या: राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद जमीन विवाद के संभावित फैसले को लेकर अयोध्या के जिलाधिकारी ने जिले में धारा 144 लगा दी है. जिलाधिकारी अनुज झा के निर्देश के अनुसार अयोध्या में 10 दिसंबर तक धारा 144 लागू रहेगी.

अयोध्या मामले के संभावित फैसले के अलावा दीपोत्सव, चेहल्लुम और कार्तिक मेले को लेकर धारा 144 दो महीने तक अयोध्या जिले में लागू रहेगी.

दशहरा की हफ्ते भर की छुट्टी के बाद सुप्रीम कोर्ट में अयोध्या के राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद भूमि विवाद मामले की सुनवाई सोमवार को अंतिम चरण में प्रवेश कर गई और न्यायालय की संविधान पीठ 38वें दिन इस मामले की सुनवाई कर रही है.

शीर्ष अदालत इस समय अयोध्या में 2.77 एकड़ विवादित भूमि इस प्रकरण के तीनों पक्षकारों -सुन्नी वक्फ बोर्ड, निर्मोही अखाड़ा और राम लला – के बीच बराबर-बराबर बांटने का निर्देश देने संबंधी इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ दायर अपीलों पर सुनवाई कर रही है.

मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच जजों की संविधान पीठ ने इस जटिल मुद्दे का सौहार्दपूर्ण हल निकालने के लिए मध्यस्थता प्रक्रिया के नाकाम होने के बाद मामले में छह अगस्त से प्रतिदिन की कार्यवाही शुरू की थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट के 2014 के फैसले के खिलाफ शीर्ष न्यायालय 14 अपीलों पर सुनवाई कर रहा है.

पीठ ने इस मामले में न्यायालय की कार्यवाही पूरी करने की समय सीमा की समीक्षा की थी और इसके लिए 17 अक्टूबर की सीमा तय की है. पीठ के सदस्यों में जस्टिस एसए बोबडे, जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस एसए नजीर भी शामिल हैं.

न्यायालय ने अंतिम चरण की दलीलों के लिए कार्यक्रम निर्धारित करते हुए कहा था कि मुस्लिम पक्ष 14 अक्टूबर तक अपनी दलीलें पूरी करेंगे और इसके बाद हिंदू पक्षकारों को अपना प्रत्युत्तर पूरा करने के लिए 16 अक्टूबर तक दो दिन का समय दिया जाएगा. इस मामले में 17 नवंबर तक फैसला सुनाए जाने की उम्मीद है. इसी दिन मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई सेवानिवृत्त हो रहे हैं.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)