लोकसभा में कांग्रेस के नेता 10 जनवरी को हुई उच्चाधिकार प्राप्त चयन समिति की बैठक में आलोक वर्मा को हटना का कड़ा विरोध जाहिर करने वाले मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि जांच रिपोर्ट और बैठक के मिनट्स सार्वजनिक किए जाएं ताकि जनता अपने निष्कर्ष निकाल सके.
विशेष रिपोर्ट: एक रिपोर्ट के मुताबिक साल 2005 से लेकर अब तक देशभर में 79 आरटीआई कार्यकर्ताओं की हत्या की जा चुकी है, जिसमें क़रीब 20 फीसदी की हत्याएं केवल बिहार में हुई हैं. साल 2018 में बिहार में पांच आरटीआई कार्यकर्ताओं की हत्या के मामले सामने आए हैं.
कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग ने पिछले तीन वर्षों में मुख्य एजेंसियों द्वारा भर्ती के आंकड़े इकट्ठा किए हैं जिससे ये पता चलता है कि साल 2015 में कुल 1,13,524 कैंडिडेट का चयन और नियुक्ति हुआ था. जबकि 2017 में ये आंकड़ा गिरकर 1,00,933 पर आ गया.
पूर्व मुख्य न्यायाधीश टीएस ठाकुर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली चयन समिति को आलोक वर्मा को उनका पक्ष रखने का मौका देना चाहिए था और इसके बाद फैसला लेना चाहिए था.
जब प्रधानमंत्री कार्यालय पर ही सवाल हों, तब प्रधानमंत्री उससे जुड़े किसी मामले में फ़ैसला कैसे कर सकते हैं?
सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज जस्टिस एके पटनायक ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली समिति ने आलोक वर्मा को हटाने के लिए बहुत जल्दबाजी में फैसला लिया. सीवीसी जो कहता है वह अंतिम शब्द नहीं हो सकता है.
मशहूर फार्मा कंपनी जॉनसन एंड जॉनसन पर आरोप है कि उसकी हिप इंप्लांट डिवाइस की वजह से दुनिया भर के कई मरीजों पर काफी बुरा प्रभाव पड़ा है. भारत में कंपनी के गलत हिप इंप्लांट डिवाइस की वजह से लगभग 3600 मरीज प्रभावित हुए हैं और कम से कम चार लोगों की मौत हो गई है.
सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना पर आरोप है कि उन्होंने हैदराबाद के एक कारोबारी सना सतीश से पांच करोड़ रुपये की रिश्वत मांगी थी. दिल्ली हाईकोर्ट ने इस मामले में 10 हफ़्ते में जांच पूरी करने का निर्देश दिया है.
नागरिकता विधेयक को लेकर राज्य में प्रदर्शन जारी. हीरेन गोहेन के अलावा सामाजिक कार्यकर्ता अखिल गोगोई और पत्रकार मंजीत महंत पर भी राजद्रोह का मामला दर्ज.
सीबीआई निदेशक के पद से हटाए जाने के बाद आलोक वर्मा को अग्निशमन विभाग, नागरिक सुरक्षा और होम गार्ड्स का निदेशक नियुक्त किया गया था.
आलोक वर्मा के तबादले के बाद सीबीआई निदेशक का प्रभार फिलहाल अतिरिक्त निदेशक एम. नागेश्वर राव के पास है.
एक जुलाई, 2017 को स्वच्छता सेस को ख़त्म कर दिया गया था, लेकिन आरटीआई से मिली जानकारी बताती है कि जनता से अब भी यह सेस वसूला जा रहा है.
केंद्र और महाराष्ट्र सरकार में भाजपा की सहयोगी शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना के संपादकीय में कहा कि जब सत्ता में बैठे लोग रोज़गार और ग़रीबी दोनों मोर्चो पर विफल होते हैं तब वे आरक्षण का कार्ड खेलते हैं.
जीएसटी परिषद ने छोटे कारोबारियों को जीएसटी से राहत देते हुए छूट सीमा को 20 लाख से बढ़ाकर 40 लाख रुपये वार्षिक कर दिया है जबकि पूर्वोत्तर राज्यों के लिए इसे बढ़ाकर 20 लाख रुपये किया गया है.
नोबेल पुरस्कार विजेता अर्थशास्त्री अमर्त्य सेन ने कहा कि भाजपा समाज को बांटने वाली नीतियों को आगे बढ़ाने का काम कर रही है. उन्होंने नागरिकता बिल को भेदभावपूर्ण बताया है.