लौंडा नर्तक की अस्मिता सिर्फ नाच और आर्थिक पेशे से संबद्ध नहीं है. यह पुरुष के मन में औरत बनने की दबी आकांक्षा का साहसिक प्रकटीकरण है. एक लौंडा नर्तक अपने नाम, वेश-विन्यास, भाव और भंगिमाओं में पुरुष, औरत और किन्नर, तीनों लैंगिक पहचानों को एक साथ जीता है.
महाराष्ट्र के समाज में शिवाजी की छवि का मात्र एक संस्करण मौजूद नहीं है. महाराष्ट्र के दलितों के लिए शिवाजी 'मराठा शूद्र सम्राट' है, न कि बाल गंगाधर द्वारा प्रचारित किए गए 'चितपावन मराठा नरेश'.
देहरादून के नामी दून स्कूल में बुधवार को सनातन संस्कृति नाम के संगठन से जुड़े लोग दीवार फांदकर घुसे और कथित तौर पर मज़ार जैसी संरचना को ध्वस्त कर दिया. संगठन ने इसके लिए सरकारी अनुमति होने का दावा किया है, पर ज़िला प्रशासन का कहना है कि उन्होंने ऐसा कोई आदेश नहीं दिया.
बिहार में आश्रय गृह समाज कल्याण विभाग के अंतर्गत आते हैं. पटना के पटेल नगर स्थित आश्रय गृह में तीन लड़कियों की मौत और कई की तबीयत बिगड़ने के बाद राज्य सरकार ने शेल्टर होम की निरीक्षिका को निलंबित किया है, साथ ही वहां कार्यरत अन्य कर्मियों को भी हटा दिया गया है.
कुपोषण से जूझ रहे ओडिशा में सरकार ने 2018 में एक योजना के तहत महिलाओं को घर के पास के तालाबों की सफाई के लिए सब्सिडी देते हुए मछली पालन में प्रशिक्षण दिया और मछली के बीज उपलब्ध कराए. आज वे महिलाएं मछली पालन से आजीविका के साथ-साथ पोषण का लाभ भी ले रही हैं.
छत्तीसगढ़ की एक युवा सरपंच को निर्माण कार्य में कथित देरी के आधार पर हटा दिया गया था. सुप्रीम कोर्ट ने इसे महिलाओं के ख़िलाफ़ पूर्वाग्रह मानते हुए बहाली का आदेश दिया है. कोर्ट ने महिला को एक लाख रुपये मुआवज़ा देने का निर्देश देते हुए जोड़ा कि सरकार ज़िम्मेदार अधिकारियों से यह राशि वसूल सकती है.
उत्तराखंड के पिथौरागढ़ ज़िले के बेरीनाग इलाके में एक दक्षिणपंथी समूह ने स्थानीय लोगों के साथ मिलकर एक विरोध रैली कर मांग उठाई कि क्षेत्र के घर के अंदर अवैध रूप से बनाई गई मस्जिद को हटाया जाना चाहिए. प्रशासन का कहना है कि उसने इमारत के मालिक से इस बाबत स्पष्टीकरण मांगा है.
साल 2019 में उत्तर प्रदेश में सड़क चौड़ीकरण के नाम पर एक व्यक्ति का घर गिराए जाने के मामले में फैसला सुनाते हुए अदालत ने कहा कि नागरिकों की आवाज़ को उनकी संपत्ति और घरों को नष्ट करने की धमकी देकर नहीं दबाया जा सकता.
महिलाएं गोलगप्पे अधिक खाती हैं. लेकिन यह उनका कोई प्राकृतिक गुण नहीं, उनकी सामाजिक परिस्थिति का सूचक है.
महिलाओं को संभावित उत्पीड़न से बचाने के लिए उत्तर प्रदेश के राज्य महिला आयोग ने कई सिफ़ारिशें दी हैं, जिसमें महिलाओं के लिए दर्ज़ी से लेकर हेयरड्रेसर और जिम ट्रेनर तक के रूप में महिलाओं को ही रखने की सुझाव दिया गया है.
राजस्थान हाईकोर्ट ने एक पॉक्सो केस में आरोपी स्कूल शिक्षक और नाबालिग पीड़िता के पिता के बीच हुए समझौते के बाद मामले को रद्द कर दिया था. सुप्रीम कोर्ट ने इस निर्णय को पलटते हुए कहा कि ऐसे मामले समझौते से बंद नहीं हो सकते, क्योंकि इन अपराधों का समाज पर गंभीर प्रभाव पड़ता है.
सुप्रीम कोर्ट ने यौन उत्पीड़न के मामलों का फैसला करने वाले सत्र न्यायालयों को निर्देश दिया है कि वे पीड़ितों को मुआवज़ा देने का आदेश अनिवार्य रूप से दें, ख़ासकर ऐसे मामलों में जहां पीड़ित नाबालिग और महिलाएं हों.
एनजीटी ने अप्रैल में ऋषिकेश-देहरादून रोड के पास बड़कोट वन रेंज में लगी आग संबंधी कार्यवाही में वकील गौरव बंसल को न्याय मित्र नियुक्त किया था. अपनी रिपोर्ट में बंसल ने कहा है कि जंगलों की आग पर काबू पाने के लिए सरकार के पास समुचित अग्निशमन उपकरण और वाहन ही नहीं हैं.
मन्नार की खाड़ी के आसपास रहने वाले लोग, ख़ासतौर पर महिलाएं आजीविका के लिए समुद्री शैवाल चुनने का काम करती आई हैं. सरकारी प्रतिबंधों के चलते यह काम प्रभावित हुआ है. हालांकि, चुनौतियों से निपटती हुई महिलाओं का मानना कि समुद्र महज़ आजीविका का साधन नहीं, उनका घर भी है.
बैंक खाताधारकों को ‘नो योर कस्टमर’ (केवाईसी) की औपचारिकताओं का पालन कराने के लिए बड़े पैमाने पर बैंक खाते फ्रीज किए जा रहे हैं. दूरदराज़ के इलाकों में रहने वाले ग़रीब लोगों के लिए यह एक आपदा के समान है.