प्रधानमंत्री ने जनता से 60 महीने मांगे थे, 50 हवाबाज़ी में बिता दिए!

‘चतुर’ प्रधानमंत्री ने चुनाव के लिए निर्धारित समय से पहले ही ख़ुद को अपनी पार्टी के प्रचारक में बदल लिया है. सरकारी तंत्र व समर्थक मीडिया की जुगलबंदी के ज़रिये जनता को यह यकीन करने पर मजबूर किया जा रहा है कि उनकी सरकार खूब काम कर रही है.

चीनी सौर पैनल की डंपिंग से क़रीब दो लाख रोज़गार का नुकसान: संसदीय समिति

समिति ने कहा कि चीन द्वारा डंपिंग शुरू किए जाने से पहले भारत 2006 से 2011 के बीच सौर उत्पादों का बड़ा निर्यातक था. समिति ने घरेलू सौर उद्योग के हितों की रक्षा के लिए तत्काल उपाय किए जाने की ज़रूरत पर बल दिया.

संसद में दिए प्रधानमंत्री के भाषण में 2019 के चुनाव के लिए उनकी प्राथमिकताएं साफ दिखती हैं

2019 के आम चुनाव के लिए गांधी परिवार पर लगातार हमले करते हुए ख़ुद को राष्ट्रीय सुरक्षा के एकमात्र प्रहरी के तौर पर पेश करना ही नरेंद्र मोदी का सबसे बड़ा दांव होगा.

देश में नौकरियों की नहीं, नौकरी के आंकड़ों की कमी: नरेंद्र मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘नई अर्थव्यवस्था में पैदा होने वाली नौकरियों के हिसाब से नौकरियों को गिनने का हमारा तरीका पुराना है.’

30 हज़ार रुपये का पिज़्ज़ा खाने वालों को 12,000 की नौकरी नहीं दिखाई देती: गिरिराज सिंह

केंद्रीय लघु व मध्यम उद्योग राज्यमंत्री गिरिराज सिंह ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा, ‘मैं उन लोगों को दिखाना चाहता हूं कि नौकरी कैसे पैदा की जाती है. जिन लोगों ने गरीबी नहीं देखी वे कहते हैं कि रोज़गार नहीं है.’

मोदी द्वारा ज़ोर-शोर से शुरू की गईं विभिन्न योजनाओं की ज़मीनी हक़ीक़त क्या है?

मोदी सरकार द्वारा बीते चार सालों में बदलाव के बड़े दावों के साथ शुरू की गईं विभिन्न योजनाएं कोई बड़ी उपलब्धि हासिल कर पाने में नाकाम रही हैं.

जन गण मन की बात, एपिसोड 235: नरेंद्र मोदी के समर्थक और रोज़गार के झूठे दावे

जन गण मन की बात की 235वीं कड़ी में विनोद दुआ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समर्थकों और रोज़गार संबंधी झूठे दावों पर चर्चा कर रहे हैं.

मैन्युफैक्चरिंग क्षेत्र की 87 हज़ार नौकरियां गईं: श्रम मंत्रालय

श्रम मंत्रालय के एक सर्वेक्षण के अनुसार अप्रैल-जून 2017 के बीच मैन्युफैक्चरिंग क्षेत्र के संविदा और अस्थायी कर्मचारी सबसे ज़्यादा प्रभावित हुए.

पकौड़े! तुम होशियार रहना, मोदीजी ने तुम्हारा सहारा लेकर करोड़ों युवाओं को ठेंगा दिखाया है

​व्यंग्य: हे पकौड़ा! तुम चाय की तरह हमेशा के लिए अमर हो जाते अगर मोदीजी कह देते, ‘मैं चाय के साथ पकौड़ा भी बेचता था, इसलिए मैं चाहता हूं भाइयों-बहनों की पूरा हिंदुस्तान चाय-पकौड़ा बेचे’.

बेंगलुरू में मोदी के रैली स्थल के पास डिग्री लेने वाले परिधान पहन छात्रों ने बेचा पकौड़ा

छात्र-छात्राओं ने ‘मोदी पकौड़ा’, ‘अमित शाह’ पकौड़ा तथा ‘डॉ. येद्दि’ पकौड़ा बेचने के साथ इस संबंध में दिए गए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान की निंदा की.

​जन गण मन की बात, एपिसोड 189: मुद्दों से भटकाता मीडिया और स्वरा भास्कर का भंसाली को खुला ख़त

जन गण मन की बात की 189वीं कड़ी में विनोद दुआ मीडिया द्वारा असल मुद्दों से ध्यान भटकाने और फिल्म पद्मावत को लेकर अभिनेत्री स्वरा भास्कर के संजय लीला भंसाली को लिखे गए पत्र पर चर्चा कर रहे हैं.

नौकरियों के घटते और बदलते अवसरों पर चर्चा कीजिए

डिजिटल युग में नौकरी दो स्तर पर होगी. उच्चतम कौशल वाली और निम्नतम मज़ूदरी वाली. बहुत से दफ्तरों में सर छिपा कर काम करने वाले बीच के काबिल लोग ग़ायब हो जाएंगे. बल्कि हो भी रहे हैं.

1 4 5 6 7 8 9