सीआरपीएफ ने पहली बार मानसिक स्वास्थ्य की समस्याओं से जूझ रहे जवानों की मदद के लिए कदम उठाया है. बताया गया है कि यहां जवानों को ट्रेनिंग दी जाएगी, ताकि वे अपनी भावनाओं और प्रतिक्रियाओं को अच्छी तरह समझ पाएं और परिवार एवं फोर्स के साथ बेहतर संबंध स्थापित कर पाएं.
आत्महत्या और मानसिक स्वास्थ्य को लेकर ज़ाहिर की जा रही चिंताओं के बीच एक आरटीआई के जवाब में पता चला है कि डब्ल्यूएचओ और मानसिक स्वास्थ्य देखभाल अधिनियम, 2017 के स्पष्ट निर्देशों के बावजूद देश के कुछ बड़े मेडिकल संस्थानों में आत्महत्या या इसके प्रयासों को रोकने की कोई महत्वपूर्ण रणनीति नहीं है.
वाराणसी पुलिस ने बताया कि युवक को मानसिक बीमारी को लेकर 16 अगस्त को बीएचयू के आपातकालीन वार्ड में भर्ती कराया गया था और कोविड-19 संक्रमित होने का पता चला था.
दक्षिणी दिल्ली के हौज़ ख़ास इलाके में किराये के मकान में शुक्रवार की दोपहर को एम्स के 40 वर्षीय डॉक्टर का शव छत से लटका हुआ मिला. इससे पहले एक महीने के अंदर एम्स के दो डॉक्टरों ने कथित तौर पर संस्थान की छत से कूदकर आत्महत्या कर ली थी.
पुलिस ने बताया कि बेंगलुरु के रहने वाले साल 2018 बैच के 22 वर्षीय एमबीबीएस छात्र विकास को अस्पताल के मनोरोग वार्ड में भर्ती कराया गया था. कुछ मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं को लेकर उनका इलाज चल रहा था.
पुलिस ने बताया कि 35 वर्षीय मृतक राजमणि सत्तार मध्य प्रदेश के सतना के रहने वाले थे. पांच-छह महीने पहले उनकी आंत का ऑपरेशन हुआ था. उसके बाद से ही वह एम्स में भर्ती थे. पिछले दो हफ्तों में एम्स में कथित तौर पर आत्महत्या की यह तीसरी घटना है.
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने बताया कि एम्स के 25 वर्षीय जूनियर रेज़िडेंट डॉक्टर अनुराग कुमार पिछले कुछ समय से अवसाद में चल रहे थे. इससे पहले कोरोना संक्रमित पत्रकार तरुण सिसोदिया ने एम्स ट्रॉमा सेंटर की चौथी मंज़िल से कथित तौर पर कूदकर जान दे दी थी.
आंकड़ों के मुताबिक छत्तीसगढ़ में 2017 में सबसे अधिक 36 जवानों ने आत्महत्या की. वहीं, 2009 में 13 जवानों ने, 2016 में 12 जवानों ने तथा 2011 में 11 जवानों ने आत्महत्या की है.
पुलिस के आंकड़ों के मुताबिक, 2007 से लेकिन अब तक कुल 115 सुरक्षाकर्मियों ने आत्महत्या की, इन दस सालों में 2017 में सबसे ज़्यादा 36 जवानों ने आत्महत्या कर ली.
भारत में क़रीब 14% लोगों को सक्रिय मानसिक स्वास्थ्य हस्तक्षेप की ज़रूरत है. क़रीब 2% लोग गंभीर मानसिक विकार से ग्रस्त हैं. क़रीब 2 लाख लोग आत्महत्या जैसे क़दम उठाते हैं.
आज विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस है. देश की कुल आबादी के 9 फ़ीसदी लोग दिमाग़ी मरीज़ हैं. भारत में 66 हज़ार से ज़्यादा मनोचिकित्सक चाहिए, पर हैं लगभग 4000. ऐसे में बुनियादी ढांचे को मज़बूत करना सबसे ज़रूरी है.
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के अध्यक्ष केके अग्रवाल के मुताबिक भगवान शिव ने क्रोध को काबू में रखने का बेहद वैदिक तरीका सुझाया है.
अख़बारों के पन्नों से झांकती ये कहानियां बताती हैं कि हम कितने अकेले हो गए हैं और हमारे भीतर का इंसान टूटता जा रहा है.
शीर्ष अदालत ने कहा कि ठीक होने के बावजूद लोगों को उनके परिवार वाले घर नहीं ले जाते ऐसे में सरकार को उनकी उचित देख-रेख की व्यवस्था करनी चाहिए.