दिल्ली हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को ऑक्सीजन की कमी के कारण अस्पतालों के नर्सिंग होम में हुईं मौतों के संबंध में रिपोर्ट दाख़िल करने का निर्देश दिया. कोर्ट ने यह निर्देश भी दिया कि वह ऑक्सीजन सिलेंडरों और कोविड रोगियों के इलाज से जुड़ीं महत्वपूर्ण दवाओं की कालाबाज़ारी रोके तथा ऑक्सीजन वितरण से जुड़े मुद्दे का समाधान करे.
आज हमें जो क्षोभ हो रहा है, उसका कारण सरकार से की गई अपेक्षाएं हैं, जिन पर खरी उतरने में वो पूरी तरह नाकाम रही. ऐसा दस साल पहले भी होता तो हम इतने ही त्रस्त होते, पर मुद्दा ये है कि जिन्हें हमने ख़ुदा समझा, वे परीक्षा की घड़ी आई, तो मिट्टी के माधो साबित हुए. बेशक दूसरे भी नालायक ही थे, पर कोई उन्हें ‘तारणहार’ कहता भी नहीं था!
उत्तर प्रदेश में पंचायत चुनाव में ड्यूटी पर रहे कर्मचारियों की कोरोना संक्रमण से मौत की ख़बरों पर संज्ञान लेते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट ने राज्य चुनाव आयोग की आलोचना की और पूछा कि महामारी संबंधी नियमों का पालन करवाने में विफल होने पर क्यों उसके ख़िलाफ़ कार्रवाई नहीं की जानी चाहिए.
कोरोना संक्रमण से हुईं मौतों के आंकड़े कम करके दिखाए जाने को लेकर पूछे गए एक सवाल के जवाब में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर ने कहा कि हमारा ध्यान इस पर होना चाहिए कि कैसे लोग संक्रमण से उबरें, कैसे हम उन्हें राहत प्रदान कर सकें. जो लोग मर गए हैं, विवाद खड़ा करने पर वे लौटकर नहीं आएंगे.
पंचायत चुनाव में ड्यूटी के बाद बड़ी संख्या में कोरोना संक्रमित हो रहे शिक्षकों की स्थिति के मद्देनज़र उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ की गोरखपुर इकाई ने ज़िला प्रशासन से मांग की है कि मतगणना में जिन प्राथमिक शिक्षकों की ड्यूटी लगी है, उनकी आरटी-पीसीआर जांच हो और उन्हें पीपीई किट दिए जाएं.
कोविड-19 मामलों में बेतहाशा वृद्धि को ‘राष्ट्रीय संकट’ बताते हुए सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को कहा कि हाईकोर्ट क्षेत्रीय सीमाओं के भीतर महामारी की स्थिति पर नज़र रखने के लिए बेहतर स्थिति में है और सुप्रीम कोर्ट पूरक भूमिका निभा रहा है तथा उसके ‘हस्तक्षेप को सही परिप्रेक्ष्य में समझना चाहिए’ क्योंकि कुछ मामले क्षेत्रीय सीमाओं से भी आगे हैं.
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डॉ. नवजोत सिंह दहिया ने कहा कि जहां मेडिकल बिरादरी लोगों को कोविड के नियम-क़ायदे समझाने के लिए जी-जान से लगी हुई है, वहीं महामारी से संबंधित सब नियमों को हवा में उड़ाते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने बड़ी-बड़ी चुनावी रैलियां करने से कोई गुरेज़ नहीं किया.
केंद्र सरकार ने ‘कोविशील्ड’ और ‘कोवैक्सीन’ के लिए 150 रुपये पर समझौता किया था, लेकिन जैसे ही सरकार ने वैक्सीन उत्पादकों को राज्यों और खुले बाज़ार के लिए कीमत तय करने की छूट दी, वैसे ही सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और भारत बायोटेक ने क्रमश: राज्यों के लिए 400 और 600 रुपये, जबकि निजी अस्पतालों के लिए 600 और 1200 रुपये प्रति खुराक कीमत तय कर दी. विभिन्न राज्यों ने इन कंपनियों पर संकट काल में मुनाफ़ाखोरी का आरोप लगाया
कोरोना वायरस संकट के दौर में पूर्व मुख्य निर्वाचन आयुक्त टीएस कृष्णमूर्ति ने कहा कि चुनाव के दौरान जनसभाओं और रोडशो पर पाबंदी नहीं लगाई जा सकती, लेकिन निर्वाचन आयोग इस प्रकार की सभाएं करने की अवधि और दिनों की संख्या में काफी हद तक कटौती करने पर गंभीरता से विचार कर सकता है, क्योंकि अब डिजिटल और सोशल मीडिया के ज़रिये प्रचार करने का विकल्प उपलब्ध हैं.
घटना ठाणे के समीप मुंब्रा इलाके में स्थित प्राइम क्रिटिकेयर हॉस्पिटल की है, जहां बुधवार तड़के आग लग गई. बताया गया है कि अस्पताल में कोई कोरोना संक्रमित मरीज़ नहीं था. स्थानीय विधायक जितेंद्र अव्हाड ने बताया कि मामले की जांच के लिए एक उच्च स्तरीय जांच समिति गठित की गई है.
दिल्ली में चाणक्यपुरी की एसडीएम गीता ग्रोवर ने अशोका होटल में 100 रूम अलग करने और एक कोविड हेल्थ केयर सुविधा केंद्र में तब्दील करने के लिए उन्हें प्राइमस अस्पताल को सौंपने का एक आदेश जारी किया था. दिल्ली सरकार ने अब इस आदेश को वापस ले लिया है.
वीडियो: देश में कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप के ख़िलाफ़ केंद्र की मोदी सरकार की तैयारियों और उसकी कार्यप्रणाली पर सवाल उठा रही हैं आरफ़ा ख़ानम शेरवानी.
उत्तर प्रदेश में पंचायत चुनाव के तीन चरण बीतने के बाद चुनावी ड्यूटी करने वाले कर्मचारी बड़ी संख्या में कोरोना संक्रमित हुए हैं. ख़बरों के अनुसार, चुनाव में ड्यूटी कर चुके 135 शिक्षक, शिक्षा मित्र और अनुदेशक कोविड संक्रमण के चलते जान गंवा चुके हैं, वहीं अन्य कई विभागों के कर्मचारी भी इस संक्रमण से जूझ रहे हैं.
एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, कोविड-19 की दूसरी लहर के बीच दिल्ली में लगाए गए लॉकडाउन के कारण अगर कर्मचारी साइट पर नहीं रह रहे हैं तो निर्माण की अनुमति नहीं है, लेकिन सेंट्रल विस्टा परियोजना स्थल तक मज़दूरों को लाने के लिए 180 वाहनों को मंज़ूरी दी गई है.
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के मोहनलालगंज से भाजपा सांसद कौशल किशोर ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को लिखे गए एक पत्र में किंग जॉर्ज अस्पताल मेडिकल यूनिवर्सिटी के कई विभागाध्यक्षों ने वार्डों में कभी ड्यूटी ही नहीं की और मीडिया में अपनी छवि चमकाने में व्यस्त रहे. इससे पहले कानून मंत्री बृजेश पाठक ने ख़राब होती स्वास्थ्य व्यवस्था की ओर ध्यान दिलाया था.