घटना फ़र्रुखाबाद ज़िले के कायमगंज के एक गांव की है, जहां 15 और 18 साल की दो दलित लड़कियां सोमवार रात जन्माष्टमी की झांकी देखने गई थीं और वापस नहीं लौटीं. अगली सुबह एक ही दुपट्टे से बंधे उनके शव पेड़ पर लटके मिले. परिवार ने आत्महत्या के दावे को ख़ारिज करते हुए हत्या का आरोप लगाया है.
उत्तर प्रदेश के महराजगंज ज़िले का मामला. भाजपा के अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के ज़िलाध्यक्ष राही मासूम रज़ा पर एक दलित लड़की के साथ बलात्कार और उसके पिता की हत्या का आरोप लगा है. अब बयान बदलने के लिए लड़की को एक कॉन्स्टेबल के द्वारा रिश्वत देने का मामला सामने आया है, जिसके बाद पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की गई. रज़ा फिलहाल फ़रार है.
राजस्थान के उदयपुर ज़िले के एक सरकारी उच्च प्राथमिक विद्यालय का मामला. पुलिस ने बताया कि रसोइया अपनी पसंद के उच्च जाति के छात्रों को मिड-डे मील परोसने को कहता था, लेकिन खाना ढंग से नहीं परोसे जाने की शिकायत के बाद एक शिक्षक ने दलित लड़कियों को खाना परोसने को कहा था.
उत्तर प्रदेश के हापुड़ स्थित एक सरकारी प्राथमिक स्कूल का मामला. दो महिला शिक्षकों पर 11 जुलाई को कथित तौर पर दो दलित छात्राओं को अपना यूनिफॉर्म उतारने के लिए मजबूर करने का आरोप है. दोनों शिक्षकों को 13 जुलाई को निलंबित कर दिया गया था.
बीते हफ्ते उन्नाव ज़िले के बबुरहा गांव में तीन लड़कियां अचेत अवस्था में मिली थीं, जिनमें से दो की मौत हो गई और एक अस्पताल में है. पुलिस के अनुसार मामले में गिरफ़्तार एक युवक ने स्वीकारा है कि उसने उपचाराधीन युवती के फोन नंबर देने से मना करने पर नाराज़ होकर पानी में कीटनाशक मिलाया, जिसे तीनों ने पिया था.
बीते 17 फरवरी को उन्नाव ज़िले के बबुरहा गांव में दलित समुदाय की तीन लड़कियां बेसुध अवस्था में मिली थीं, जिनमें से दो की मौत हो चुकी है, जबकि एक का इलाज चल रहा है. इससे पहले ट्विटर पर भ्रामक और अफ़वाह फैलाने वाली पोस्ट करने के आरोप में पूर्व सांसद एवं कांग्रेस नेता उदित राज के ख़िलाफ़ भी एफ़आईआर दर्ज की थी.
उन्नाव के बबुरहा गांव की दलित युवतियों को ज़हर देने के मामले को सुलझाने का दावा करते हुए पुलिस का कहना है कि आरोपी युवक उपचाराधीन 17 साल की युवती को पसंद करता था और युवती के फोन नंबर देने से मना करने से पर उसने नाराज़ होकर पानी में कीटनाशक मिला दिया, जिसे तीनों लड़कियों ने पी लिया.
उन्नाव ज़िले के बबुरहा गांव में दो किशोरियों की संदिग्ध मौत के मामले में पुलिस का कहना है कि मौत का कारण स्पष्ट नहीं हो पाया है और न ही उनके शरीर पर चोट का कोई निशान मिला है. हालांकि मृतकाओं के शरीर में ज़हरीला पदार्थ मिलने की पुष्टि हुई है. राज्य मानवाधिकार आयोग ने इस बारे में रिपोर्ट तलब की है.
घटना उन्नाव ज़िले के बबुरहा गांव की है, जहां चारा लेने गई एक परिवार की तीन युवतियों के घर न लौटने पर परिवार ने खोजबीन के दौरान उन्हें एक खेत में अचेत पाया. उनके हाथ भी बंधे थे. पुलिस का कहना है कि प्रथमदृष्टया मामला ज़हर खाने का लग रहा है. जांच के लिए छह टीमें बनाई गई हैं.